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ग्रामसभाओं का प्रचार-प्रसार सुनिश्चित करने हेतु प्रत्येक ग्रामसभा स्थल पर पोस्टर चस्पा करने के दिए निर्देश

एमसीबी : जिले में 02 अक्टूबर को सभी ग्राम पंचायतों में होगी ग्रामसभा का आयोजन ग्रामसभाओं का प्रचार-प्रसार सुनिश्चित करने हेतु प्रत्येक ग्रामसभा स्थल पर पोस्टर चस्पा करने के दिए निर्देश ग्रामसभा में पंचायत की आय-व्यय एवं  योजनाओं की प्रगति और मनरेगा कार्यों की होगी विशेष समीक्षा एमसीबी छत्तीसगढ़ पंचायत राज अधिनियम 1993 की धारा-6 के प्रावधान तथा शासन पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के 24 मार्च 2008 के निर्देशानुसार मनेंद्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर जिले की समस्त ग्राम पंचायतों एवं उनके आश्रित ग्रामों में 02 अक्टूबर 2025 को ग्रामसभा का आयोजन किया जाएगा। निर्धारित तिथियों 23 जनवरी, 14 अप्रैल, 20 अगस्त एवं 02 अक्टूबर के अतिरिक्त प्रतिवर्ष जून और नवम्बर माह में भी ग्रामसभा आयोजित की जाती है। जिला पंचायत सीईओ श्रीमती अंकिता सोम शर्मा ने समय सीमा की बैठक के दौरान जानकारी दी कि 02 अक्टूबर को आयोजित होने वाली ग्राम सभाओं का प्रचार-प्रसार सुनिश्चित करने हेतु प्रत्येक ग्राम सभा स्थल पर पोस्टर चस्पा करने के निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने बताया कि ग्रामसभा कार्यवाही में पंचायत की आय-व्यय समीक्षा, योजनाओं की प्रगति, मनरेगा कार्यों की स्थिति, सामाजिक अंकेक्षण, खाद्यान्न वितरण, जन्म-मृत्यु एवं विवाह पंजीयन, मौसमी बीमारियों की रोकथाम, पंचायत कर निर्धारण, आवारा मवेशियों से होने वाली दुर्घटनाओं पर नियंत्रण और पंचायत उन्नति सूचकांक (PAI) स्कोर सहित अनेक विषयों पर चर्चा होगी। इसके साथ ही एचआईवी/एड्स जागरूकता, धान उपार्जन हेतु  Agristack Portal पंजीयन, बाल विवाह मुक्त छत्तीसगढ़ अभियान, राष्ट्रीय पोषण माह 2025 और अंतर्राष्ट्रीय सहकारिता वर्ष से जुड़े बिंदुओं को भी एजेंडे में शामिल किया गया है। इस बार आयोजित होने वाली ग्रामसभा में ग्रामसभा की पूर्व बैठक में पारित संकल्पों के क्रियान्वयन संबंधी प्रतिवेदन, पंचायतों के विगत तिमाही आय-व्यय की समीक्षा एवं अनुमोदन, पिछली वर्ष की योजनाओं से स्वीकृत कार्यों की स्थिति, महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजनांतर्गत रोजगार की मांग और उपलब्धता की समीक्षा तथा आगामी कार्यों की सूची का वाचन किया जाएगा। सामाजिक सहायता कार्यक्रम अंतर्गत पेंशन योजनाओं का सामाजिक अंकेक्षण एवं हितग्राहियों का सत्यापन, जरूरतमंद व्यक्तियों हेतु खाद्यान्न वितरण और लाभान्वितों की सूची का वाचन, जन्म-मृत्यु एवं विवाह पंजीयन से संबंधित प्रकरणों की जानकारी, मौसमी बीमारियों की रोकथाम एवं चिकित्सकीय सुविधाओं पर चर्चा भी इस बैठक का हिस्सा होगी। ग्राम पंचायतों में कर अधिरोपण एवं संग्रहण को ऑनलाइन करने हेतु समर्थ पंचायत पोर्टल का उपयोग और वर्तमान वित्तीय वर्ष हेतु कर दर निर्धारण पर विचार, पंचायत पदाधिकारियों तथा अधिकारियों/कर्मचारियों से लेखा-हिसाब और बकाया राशि की जानकारी का वाचन, राज्य की सड़कों पर मवेशियों के कारण होने वाली दुर्घटनाओं की रोकथाम हेतु प्रभावी व्यवस्था, जनजागरूकता और संकल्प पारित करने पर भी चर्चा होगी। साथ ही पंचायत उन्नति सूचकांक (पीएआई) 1.0 परिणामों में सुधार के लिए पारदर्शिता, जवाबदेही और भागीदारी योजना को बढ़ावा देने हेतु ग्राम पंचायत स्तरीय प्रदर्शन डेटा भी साझा किया जाएगा। अन्य विभागीय एजेण्डा में एचआईवी के कारणों, बचाव उपायों और एचआईवी/एड्स एक्ट 2017 की जानकारी, गर्भवती महिलाओं को एचआईवी एवं सिफलिस जांच हेतु प्रोत्साहित करने पर चर्चा होगी। खरीफ विपणन वर्ष 2025-26 में समर्थन मूल्य पर धान विक्रय हेतु कृषकों के  Agristack Portal एवं एकीकृत किसान पोर्टल में पंजीयन से जुड़ी कार्यवाही, ग्रामवार धान के रकबा एवं कृषकवार डिजिटल क्रॉप सर्वे और गिरदावरी विवरण का पठन एवं पंचायत भवन में चस्पा कराने की कार्यवाही की जाएगी। इसके साथ ही बाल विवाह मुक्त छत्तीसगढ़ अभियान, 17 सितम्बर से 16 अक्टूबर तक आयोजित राष्ट्रीय पोषण माह 2025, भारत सरकार सहकारिता मंत्रालय द्वारा वर्ष 2025 को अंतर्राष्ट्रीय सहकारिता वर्ष के रूप में मनाने तथा सहकार से समृद्धि पहल की जानकारी और सहकारी समितियों की सदस्यता से अधिकतम संख्या में जुड़ने पर भी चर्चा होगी। ग्रामसभा में लिये गये निर्णयों की अधिकतम 15 मिनट की वीडियो रिकॉर्डिंग कर  "ग्राम सभा निर्णय" मोबाइल एप में अपलोड किया जाएगा। भारत सरकार पंचायती राज मंत्रालय द्वारा विकसित  "समासार" पोर्टल का उपयोग कर जिले की न्यूनतम 10 पंचायतों की कार्यवाही का एआई आधारित विवरण तैयार किया जाएगा। साथ ही ग्राम सभा की गतिविधियों को  Vibrant Gram Sabha Portal (https:@@meetingonline-gov-in)  एवं  GPDP  पोर्टल पर शत-प्रतिशत अपलोड करना सुनिश्चित किया जाएगा। कलेक्टर, जिला पंचायत, जनपद पंचायत एवं ग्राम पंचायत द्वारा स्थानीय आवश्यकताओं के अनुसार अतिरिक्त विषय भी इस ग्राम सभा के एजेण्डा में शामिल किये जा सकेंगे।

रायपुर में मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने किया मनरेगा दर्पण का लोकार्पण

रायपुर में मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने किया मनरेगा दर्पण का लोकार्पण मनरेगा की पारदर्शिता बढ़ाने मनरेगा दर्पण का शुभारंभ : मुख्यमंत्री साय  ग्रामीण क्यूआर कोड स्कैन कर पिछले तीन वर्षों में हुए मनरेगा के कार्यों का विवरण, व्यय और प्रगति रिपोर्ट देख सकेंगे रायपुर मुख्यमंत्री  विष्णु देव साय ने आज धमतरी जिले के करेली बड़ी गांव में आयोजित राज्य स्तरीय महतारी सदन लोकार्पण कार्यक्रम में मनरेगा दर्पण नागरिक सूचना पटल का विधिवत शुभारंभ‘ किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि मनरेगा दर्पण से आम जनता को मनरेगा कार्यों की पूरी जानकारी आसानी से उपलब्ध होगी। यह पहल पारदर्शिता और जवाबदेही की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि मनरेगा दर्पण छत्तीसगढ़ सरकार की अभिनव पहल है, जो न केवल पारदर्शिता की नई मिसाल है बल्कि हर ग्रामीण को योजनाओं से सीधे जोड़ने का माध्यम भी है। क्यूआर कोड और जीआईएस तकनीक आधारित यह कदम गांवों में डिजिटल सशक्तिकरण और सुशासन की दिशा में मील का पत्थर साबित होगा।  तीन साल में हुए मनरेगा कार्यो की रिपोर्ट देख सकेंगे ग्रामीण छत्तीसगढ़ में मनरेगा के अंतर्गत चल रहे कार्यों में पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए छत्तीसगढ़ सरकार ने डिजिटल क्रांति की दिशा में कदम बढ़ाया है। अब प्रदेश की सभी ग्राम पंचायतों में नागरिक सूचना पटल लगाए गए हैं। इन पर प्रदर्शित क्यूआर कोड को स्कैन करके कोई भी ग्रामीण पिछले तीन वर्षों में किए गए कार्यों का विवरण, व्यय की जानकारी और प्रगति रिपोर्ट देख सकता है। इस प्रणाली से अब गांव का हर व्यक्ति यह जान सकेगा कि मनरेगा के तहत उसके इलाके में कौन-कौन से कार्य स्वीकृत हुए हैं, कितनी राशि खर्च हुई है और काम की वर्तमान स्थिति क्या है। फाईल और दस्तावेज हटकर अब हर सूचना मोबाइल पर उपलब्ध हो सकेगी। ग्रामीणों को जानकारी के लिए किसी कार्यालय या अधिकारी पर निर्भर नहीं रहना पड़ेगा। मनरेगा दर्पण पोर्टल और सूचना पटल के माध्यम से सभी रिकॉर्ड डिजिटल रूप में सुरक्षित रहेंगे। ग्राम पंचायत स्तर पर संधारित जानकारी को समय-समय पर अपडेट किया जाएगा। इससे योजनाओं पर अनावश्यक भ्रम की स्थिति समाप्त होगी और जनता खुद निगरानी कर पाएगी। इस पहल से ग्रामीणों का विश्वास और अधिक मजबूत होगा। पारदर्शी व्यवस्था से न केवल भ्रष्टाचार पर अंकुश लगेगा बल्कि ग्रामीणों की सीधी भागीदारी भी सुनिश्चित होगी। इस अवसर पर कार्यक्रम में पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री  विजय शर्मा, राजस्व मंत्री  टंकराम वर्मा, सांसद मती रूप कुमारी चौधरी, विधायक  अजय चन्द्राकर, सचिव मती निहारिका बारिक सहित बड़ी संख्या में ग्रामीणजन और जिला स्तरीय अधिकारी उपस्थित थे।