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भूल जाएगा संयम: सेना प्रमुख ने पाकिस्तान को दिया सख्त संदेश

अनूपगढ़ सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने पड़ोसी देश पाकिस्तान को आतंकवाद रोकने की सख्त चेतावनी दी है और कहा है कि अगर पाकिस्तान दुनिया के नक्शे पर बना रहना चाहता है तो उसे हर हाल में आतंकवाद रोकना होगा, वरना हम संयम भूल जाएंगे और पाकिस्तान का नक्शे पर से नामोनिशां मिटा देंगे। उन्होंने दो टूक लहजे में कहा कि यह सोचना और तय करना अब पाकिस्तान का काम है कि उसे भूगोल और इतिहास में रहना है या नहीं? उन्होंने सख्त लहजे में कहा कि पश्चिमी पड़ोसी को हर हाल में राज्य प्रायोजित आतंकवाद रोकना ही होगा। राजस्थान के अनूपगढ़ में एक सैन्य चौकी पर बोलते हुए जनरल द्विवेदी ने कहा कि भारतीय सेना इस बार कोई संयम नहीं दिखाएगी। उन्होंने संकेत दिया कि अगर इस्लामाबाद आतंकवाद पर लगाम नहीं लगाता है और आतंकियों की सप्लाई बंद नहीं करता है, तो 'ऑपरेशन सिंदूर-2.0' दूर नहीं होगा और उस दौरान हम संयम भूल जाएंगे। ऑपरेशन सिंदूर-2.0 के लिए तैयार रहें जवान: सेना प्रमुख सेना प्रमुख ने कहा, "इस बार हम ऑपरेशन सिंदूर 1.0 जैसा संयम नहीं बरतेंगे। इस बार हम कुछ ऐसा करेंगे जिससे पाकिस्तान को सोचना पड़ेगा कि वह भूगोल में अपनी जगह बनाए रखना चाहता है या नहीं। अगर पाकिस्तान भूगोल में अपनी जगह बनाए रखना चाहता है, तो उसे राज्य प्रायोजित आतंकवाद रोकना होगा।" इसके साथ ही उन्होंने जवानों से भी तैयार रहने को कहा। सेना प्रमुख ने कहा, “अगर ईश्वर ने चाहा, तो आपको जल्द ही मौका मिलेगा। शुभकामनाएँ।” 5 पाक लड़ाकू विमानों को मार गिराने का एयर चीफ का दावा सेना प्रमुख जनरल द्विवेदी की यह चेतावनी एयर चीफ मार्शल एपी सिंह की उस टिप्पणी के बाद आई है, जिसमें सिंह ने कहा था कि भारतीय सेना ने मई में ऑपरेशन सिंदूर के दौरान अमेरिका निर्मित एफ-16 और चीन के जेएफ-17 सहित चार से पांच पाकिस्तानी लड़ाकू विमानों को मार गिराया था। वायु सेना प्रमुख ने कहा कि आतंकवादी पाकिस्तान में अपने ठिकाने भले ही कितनी दूर और कहीं भी बना लें भारतीय वायु सेना के पास उन्हें नष्ट करने की क्षमता है। एयर चीफ मार्शल सिंह ने वायु सेना दिवस से पहले शुक्रवार को अपने सालाना संवाददाता सम्मेलन में एक सवाल के जवाब में यह बात कही।  

पहलगाम अटैक के बाद कैसे बदली रणनीति? आर्मी चीफ ने बताई पूरी कहानी

नई दिल्ली.  सेना प्रमुख जनरल उपेन्द्र द्विवेदी ने 22 अप्रैल को हुए पाहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत की जवाबी कार्रवाई के बारे में विस्तार से बताया है। उन्होंने बताया कि हमले के अगले ही दिन सशस्त्र बलों को “फ्री हैंड” दे दिया गया था, ताकि वे अपनी रणनीति और विवेक के अनुसार कार्रवाई कर सकें। जनरल द्विवेदी ने कहा कि 23 अप्रैल को हुई बैठक में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने स्पष्ट शब्दों में कहा- “अब बहुत हो चुका”। इस बैठक में तीनों सेना प्रमुख मौजूद थे और यह सहमति बनी कि निर्णायक कार्रवाई की जानी चाहिए। उन्होंने कहा, “पहली बार हमने इस तरह का राजनीतिक आत्मविश्वास, स्पष्टता और दिशा देखी, जिसने हमारे कमांडरों का मनोबल बढ़ाया।” 25 अप्रैल को सेना प्रमुख ने उत्तरी कमान का दौरा किया, जहां विस्तृत योजना पर काम हुआ। नौ में से सात प्रमुख आतंकी ठिकानों को प्राथमिकता दी गई। लक्ष्य था कि पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) में सक्रिय आतंकवादी बुनियादी ढांचे को तबाह करना है। इन सात लक्ष्यों को सटीकता से नष्ट किया गया और बड़ी संख्या में आतंकियों को मार गिराया गया। पाहलगाम हमले के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से सेना प्रमुख की पहली बैठक 29 अप्रैल को हुई थी। जनरल द्विवेदी ने कहा, “ऑपरेशन सिंदूर सिर्फ एक नाम नहीं था, बल्कि यह पूरे राष्ट्र को जोड़ने वाला अभियान था। यही वजह थी कि लोग पूछ रहे थे- आपने क्यों रोका? और इस सवाल का पूरा जवाब दिया गया।” हमले के पंद्रह दिन बाद, 7 मई को भारत ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ शुरू किया। एयर चीफ मार्शल अमर प्रीत सिंह के अनुसार, इस ऑपरेशन में पाकिस्तान के 5 लड़ाकू विमान और एक बड़ा एयरबॉर्न अर्ली वॉर्निंग एंड कंट्रोल (AEW&C) विमान मार गिराया गया। 100 से अधिक आतंकियों को पाकिस्तान और PoK में ढेर किया गया। ‘ऑपरेशन सिंदूर’ को हाल के वर्षों की सबसे सटीक और सफल जवाबी सैन्य कार्रवाई माना जा रहा है। सेना प्रमुख के अनुसार, स्पष्ट राजनीतिक समर्थन और तीनों सेनाओं की संयुक्त योजना ने इसे संभव बनाया।