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लखनऊ में आयोजित कार्यक्रमों में रक्षा मंत्री ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की मुक्त कंठ से की प्रशंसा

विगत 8 वर्षों में किए गए कार्यों से यूपी ने दिखाया कि वो देश का ग्रोथ इंजन बनने की ओर अग्रसर हैः रक्षा मंत्री प्रदेश में लॉ एंड ऑर्डर सुधार और निवेशकों का विश्वास लौटाने के लिए सीएम योगी की थपथपाई पीठ लखनऊ,  रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने लखनऊ में शनिवार को ब्रह्मोस मिसाइलों के प्रथम बैच के फ्लैग ऑफ और पीटीसी इंडस्ट्रीज के भ्रमण के दौरान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की मुक्त कंठ से प्रशंसा की। अपने वक्तव्य में राजनाथ सिंह ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के दूरदर्शी नेतृत्व और विकासशील नीतियों की खुलकर सराहना की, जिससे प्रदेश की पहचान निवेश, सुरक्षा और रोजगार के क्षेत्र में भी नई ऊंचाइयों पर पहुंच रही है। उन्होंने खासकर प्रदेश के लॉ एंड ऑर्डर में हुए बड़े सुधार को रेखांकित करते हुए इसे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की सबसे बड़ी उपलब्धि करार दिया। योगी के नेतृत्व में यूपी में फिर लौटा विश्वास ब्रह्मोस मिसाइलों के फ्लैग ऑफ समारोह में राजनाथ सिंह ने कहा कि उत्तर प्रदेश के यशस्वी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी का विशेष आभार व्यक्त करना चाहता हूं, जिन्होंने इस परियोजना के लिए हर संभव सहयोग और समर्थन दिया। उन्होंने लखनऊ में हुए परिवर्तन और निवेशकों का भरोसा लौटाने के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की प्रशंसा करते हुए कहा कि कभी उत्तर प्रदेश की पहचान गुंडाराज और बिगड़े हुए लॉ एंड ऑर्डर से की जाती थी। लोग डर के माहौल में रहते थे और निवेशक यहां आने से कतराते थे। पर आज, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी के नेतृत्व में यह स्थिति बदल चुकी है। उनके दृढ़ नेतृत्व और नीतिगत निर्णयों ने प्रदेश में विश्वास लौटाया है। राजनाथ सिंह ने ब्रह्मोस फैसिलिटी की स्थापना में मुख्यमंत्री के योगदान की भी सराहना की। उन्होंने कहा कि यह ब्रह्मोस केवल हमारी सशस्त्र सेनाओं की शक्ति का प्रतीक नहीं है, बल्कि यह बताता है कि आज का उत्तर प्रदेश किसी भी चुनौती को संभालने के लिए तैयार है। इस फैसिलिटी की स्थापना में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के सहयोग की जितनी सराहना की जाए कम है। अब उत्तर प्रदेश पहले जैसा नहीं रहा पीटीसी इंडस्ट्रीज के भ्रमण कार्यक्रम और टाइटेनियम और सुपर एलॉय प्लांट के शुभारंभ के दौरान रक्षा मंत्री ने कहा कि लगभग 8-10 साल पहले, यह सोचना भी कठिन था कि उत्तर प्रदेश इस तरह के इंडस्ट्रियल रिवॉल्यूशन का नेतृत्व करेगा। इसके लिए सारी सुविधाएं और माहौल बनाने के लिए मुख्यमंत्री योगी जी ने जो प्रयास किए हैं, उसके लिए उनकी भूरि भूरि प्रशंसा करता हूं। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी की पहल और इंडस्ट्री-फ्रेंडली पॉलिसी ने प्रदेश में लॉ एंड ऑर्डर मजबूत किया और निवेशकों का भरोसा लौटाया। आज आप किसी से भी पूछिए कि सबसे बेहतर लॉ एंड ऑर्डर की व्यवस्था किस स्टेट की है तो सबसे पहले उत्तर प्रदेश का नाम आएगा। सब मानते हैं कि उत्तर प्रदेश पहले जैसा नहीं रहा है और इसका पूरा श्रेय मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को जाता है। सीएम योगी में विकास की एक नई सोच रक्षा मंत्री ने विकास की नई सोच और निवेशकों को आकर्षित करने में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के योगदान को भी हाईलाइट किया। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के अंदर विकास की एक नई सोच भी है और विकास करने की जो तड़पन और अकुलाहट चाहिए वो भी उनके अंदर देखने को मिलती है। देश और विदेश से इन्वेस्टर्स यहां आकर फैक्ट्री, आईटी हब्स और रिसर्च सेंटर खोल रहे हैं। लखनऊ, कानपुर, नोएडा, गोरखपुर, बनारस हर शहर में आज विकास की एक नई कहानी लिखी जा रही है। राजनाथ सिंह ने इस बात पर भी जोर दिया कि ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट और प्रदेश में निवेश का माहौल मुख्यमंत्री योगी जी के नेतृत्व का परिणाम है। उन्होंने कहा कि कुछ समय पहले जब उत्तर प्रदेश में ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट हुई थी तब किस उत्साह के साथ इन्वेस्टर्स ने हिस्सा लिया था उससे साफ था कि उत्तर प्रदेश अब देश का ग्रोथ इंजन बनने जा रहा है। इसी माहौल का असर है कि पीटीसी इंडस्ट्रीज ने लखनऊ को अपने प्रोजेक्ट के लिए चुना।

हनुमानगढ़ी-रामलला दर्शन के बाद बस्तीवासियों संग दीप जलाएंगे सीएम योगी

वार्ड देवकली में बच्चों संग दीपोत्सव की खुशियां साझा करेंगे योगी समरसता का संदेश देगा मुख्यमंत्री का दीपोत्सव कार्यक्रम अयोध्या, नौवां दीपोत्सव इस बार अयोध्या के इतिहास में एक नई सामाजिक परंपरा जोड़ने जा रहा है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने तय किया है कि दीपोत्सव के अगले दिन वे निषाद और मलिन बस्ती के परिवारों के बीच जाकर उनके साथ दिवाली का पर्व मनाएंगे। मुख्यमंत्री का यह कार्यक्रम इस संदेश के साथ आयोजित किया जा रहा है कि प्रभु श्रीराम की नगरी में किसी भी घर का दीपक बुझा न रहे। हनुमानगढ़ी और रामलला के दर्शन करेंगे मुख्यमंत्री दीपोत्सव के मुख्य दिन मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पहले हनुमानगढ़ी मंदिर पहुंचकर हनुमान जी का दर्शन-पूजन करेंगे, उसके बाद रामलला के दरबार में विशेष पूजा-अर्चना करेंगे। मुख्यमंत्री भगवान श्रीराम से प्रदेश की समृद्धि, शांति और लोकमंगल की कामना करेंगे। इसके पश्चात वे अयोध्या के प्रमुख संतों और मठ-महंतों से भेंटकर आशीर्वाद भी प्राप्त करेंगे व कारसेवक भी जाएंगे। निषाद बस्ती में फलाहार और दीप प्रज्वलन रामलला के दर्शन के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ वार्ड संख्या एक के अभिरामदास नगर (निषाद बस्ती) जाएंगे, जहां वे स्थानीय परिवारों के साथ दिवाली का पर्व मनाएंगे। इस दौरान मुख्यमंत्री सामुदायिक रूप से फलाहार करेंगे और लगभग 400 लोगों के साथ दीप जलाकर सामूहिक उत्सव में शामिल होंगे। मुख्यमंत्री निषाद परिवारों के घर जाकर दीप प्रज्वलित करेंगे, बच्चों को मिठाइयां और ट्रॉफियां वितरित करेंगे, तथा कुछ वरिष्ठ नागरिकों से संवाद कर दीपोत्सव की शुभकामनाएं देंगे। मलिन बस्ती देवकली में बच्चों संग मनाएंगे दिवाली इसके बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ वार्ड देवकली की मलिन बस्ती पहुंचेंगे, जहां वे बच्चों का उत्साह बढ़ाएंगे और उनके साथ दीप जलाकर दिवाली की खुशियां साझा करेंगे। मुख्यमंत्री का यह कार्यक्रम समाज के गरीब, वंचित और पिछड़े तबकों के बीच समरसता और सहभागिता का सशक्त संदेश देगा। प्रशासन ने की चाक-चौबंद तैयारियां जिलाधिकारी निखिल टीकाराम फुंडे ने बताया कि मुख्यमंत्री के इस विशेष कार्यक्रम के लिए प्रशासन ने पूरी तैयारी कर ली है। बस्तियों में सुरक्षा, स्वच्छता, रोशनी और सजावट के विशेष इंतजाम किए जा रहे हैं ताकि स्थानीय लोगों को किसी प्रकार की असुविधा न हो। नगर निगम, विद्युत विभाग और सफाई कर्मी लगातार सक्रिय हैं। जहां-जहां मुख्यमंत्री का भ्रमण प्रस्तावित है, वहां सड़कों की मरम्मत, दीपों की सजावट और सौंदर्यीकरण का कार्य तेजी से चल रहा है। अधिकारियों के अनुसार, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का यह कार्यक्रम दीपोत्सव की उस मूल भावना को जीवंत करता है, जिसमें हर वर्ग, हर बस्ती और हर व्यक्ति को शामिल करने का संकल्प निहित है। मुख्यमंत्री का उद्देश्य स्पष्ट है दीपोत्सव सिर्फ अयोध्या की झिलमिलाती सड़कों तक सीमित न रहे, बल्कि हर बस्ती, हर घर तक उसका प्रकाश पहुंचे।

मुख्यमंत्री ने जालौन को दी 1900 करोड़ से अधिक की 305 विकास परियोजनाओं की सौगात

सीएम ने बच्चों का किया अन्नप्राशन,  प्रदर्शनी का किया अवलोकन यह सरकार दंगाइयों के सामने नाक नहीं रगड़ती, बल्कि दंगाइयों की नाक रगड़ती हैः योगी जालौन, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जालौन की धरती पर समाजवादी पार्टी और उनके नेताओं को खूब धोया। सपा मुखिया अखिलेश यादव उनके निशाने पर रहे। सीएम ने बताया कि आज सपा मुखिया के बयान को पढ़ रहा था, उन्हें भारत के सामाजिक न्याय के पुरोधाओं और संत परंपरा में सांप्रदायिकता दिखती है और दंगाइयों में शांति के दूत नजर आते हैं, लेकिन डबल इंजन सरकार ने दंगा-फसाद करने वाले शांति के कथित दूतों, बेटियों व व्यापारी के सामने सुरक्षा का संकट खड़ा करने वालों की जगह बता दी है। यह भी तय कर दिया गया है कि दंगा और दंगाई, अपराध-अपराधियों के साथ खड़े होने वालों की जगह कहां होनी चाहिए। मुख्यमंत्री ने गुरुवार को 1900 करोड़ से अधिक की 305 विकास परियोजनाओं की सौगात जालौनवासियों को दी। साथ ही विभिन्न योजनाओं के लाभार्थियों को सम्मानित भी किया। सीएम ने दीपावली से पहले इन योजनाओं के लिए जालौन वासियों को शुभकामनाएं दीं। यह सरकार दंगाइयों के सामने नाक नहीं रगड़ती, बल्कि दंगाइयों को नाक रगड़वाती है सीएम ने कहा कि प्रदेश में त्योहार चल रहे हैं। कुछ लोगों को गलतफहमी हुई। उन्हें लगा कि जैसे सपा सरकार के समय उनके द्वारा उत्सव-त्योहारों के पहले दंगा किया जाता था, हिंदुओं के उत्साह पर पानी फेरने का कार्य होता था, यही कार्य वे अब भी कर लेंगे, लेकिन वे भूल गए कि यह भाजपा की डबल इंजन की सरकार है। यह सरकार दंगाइयों के सामने नाक नहीं रगड़ती, बल्कि दंगाइयों को नाक रगड़वाकर त्योहारों के उत्साह को सुरक्षा व सम्मान के साथ आगे बढ़ाती है। 2017 के पहले त्योहारों में दंगाई उत्साह को भंग करते थे। सपा के नेता कहते थे- लड़के हैं, गलती कर देते हैं सीएम ने कहा कि सपा को सामाजिक न्याय के पुरोधाओं के स्मारक अच्छे नहीं लगते थे। वे इन्हें तोड़ने की बात करती थी। समाजवादी पार्टी ने सत्ता में आते ही सामाजिक न्याय व दलित उत्थान से जुड़े महापुरुषों के नाम पर बने स्मारकों को समाप्त करने की घोषणा की थी। समाजवादी पार्टी ने 2012 में सत्ता में आते ही प्रदेश में एक जनपद, एक माफिया पैदा करके अराजकता फैलाना प्रारंभ कर दिया था। यह लोग नौजवानों के रोजगार पर डकैती और बेटी की सुरक्षा पर सेंध लगाते थे। उस समय इनके नेता कहते थे कि लड़के हैं, गलती कर देते हैं। जिस समाजवादी आंदोलन को लोहिया, जनेश्वर मिश्र, मोहन सिंह जैसे चिंतकों ने ऊंचाई दी थी, वह सपा आज माफिया, अपराधियों व गुंडों का जमावड़ा बन गई है जिस समाजवादी आंदोलन को डॉ. राम मनोहर लोहिया, आचार्य नरेंद्र देव, जनेश्वर मिश्र,  मोहन सिंह जैसे चिंतकों ने ऊंचाई दी थी, वह सपा आज गुंडे, पेशेवर माफिया व अपराधियों का जमावड़ा बन गई है। 2017 के पहले भी लोग कहते थे कि देख सपाई, बिटिया घबराई। यह भी कहते थे कि जिस गाड़ी में सपा का झंडा,  देखो होगा सपा का गुंडा। यह लोग गरीबों को लूट रहे थे। राशन, मकान, शौचालय, राहत कार्य, विकास, रोजगार नहीं मिल रहा था। डबल इंजन सरकार को आपने समर्थन दिया तो प्रदेश में गरीब उत्थान के अनेक कार्य हुए। सीएम ने डबल इंजन सरकार की विभिन्न योजनाओं के आंकड़े भी गिनाए। एमएसएमई में दो करोड़ से अधिक नौजवानों को रोजगार प्राप्त हुआ तो बड़े निवेश के माध्यम से 60 लाख नौजवानों को रोजगार व नौकरी की गारंटी मिली है। सपा की गुंडागर्दी की हरकतों से सावधान होइए, बंटेंगे तो कटेंगे- एक रहेंगे तो सेफ रहेंगे सीएम ने फिर कहा कि किसी किसान, गरीब, वंचित, कमजोर, बेटी, किसान, व्यापारी का शोषण- अत्याचार किया तो ऐसी कार्रवाई करेंगे कि कई पीढ़ियां याद करेंगी। जिस सपा ने पहचान का संकट दिया था। अराजकता का माहौल पैदा किया था। उसकी गुंडागर्दी की हरकतों से सावधान होइए। यह लोग जातीय संघर्ष की स्थिति पैदा करते हैं। आपस में लड़ाने की चेष्टा करते हैं। इनकी मंशा सफल न होने दीजिए। सीएम ने दोहराया- बंटेगे तो कटेंगे, एक रहेंगे तो सेफ रहेंगे। जातिवादी मानसिकता के लोगों के चक्कर में नहीं पड़ना है। अन्याय-अत्याचारियों के खिलाफ लड़ना है। यहां के लहलहाते खेतों को सबसे उर्वरा भूमि के रूप में बदलेंगे जालौन ऋषि जलवान की पावन साधना स्थली और भगवान वेदव्यास की पावन स्थली है। इसका पौराणिक महत्व है। फिरंगियों के दांत खट्टे करने में कालपी के स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों ने महत्वपूर्ण भूमिका का निर्वहन किया। कालपी के हस्तशिल्पियों द्वारा हैंडमेड कागज जनपद को नई पहचान दिलाती है। ओडीओपी के माध्यम से हमने उसे अलग पहचान दिया है। जालौन की विशेषता है कि यहां पांच नदियां (यमुना, चंबल, सिंध, क्वारी व पहूज) पंचनदा के रूप में हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे जालौन जनपद के बीच से निकली है तो पंचनदा का प्रोजेक्ट भी बनाकर जालौन जनपद के लहलहाते खेतों को सबसे उर्वरा भूमि के रूप में बदलेंगे। सीएम ने नागरिकों को धन्यवाद देते हुए कहा कि आपने सम-विषम परिस्थितियों का सामना करते हुए विकास के साथ सोच रखने वाले जनप्रतिनिधियों को विजयी बनाने में योगदान दिया। उन्हीं जनप्रतिनिधियों के परिश्रम के कारण 1900 करोड़ की परियोजना जालौन को उपहार के रूप में प्राप्त हो रही है। सुरक्षा, संरक्षण, खुशहाली व रोजगार के लिए संकल्पित है प्रदेश सरकार सीएम योगी ने कहा कि अच्छी सरकार विकास, रोजगार, सुरक्षा व स्वावलंबन लेकर आती है। आज भाजपा की डबल इंजन की सरकार है। किसी ने बेटी की सुरक्षा पर सेंध और गरीब की जमीन पर कब्जे का दुस्साहस किया तो अगले चौराहे पर यमदूत उसका इंतजार कर रहा होगा। अराजकता फैलाने या त्योहारों के रंग में भंग डाला तो ऐसे लोगों से सख्ती से निपटने के लिए पुलिस की जीरो टालरेंस की नीति कार्य कर रही है। अब प्रदेश में माफिया, अराजकता के लिए कोई जगह नहीं है। भाजपा की डबल इंजन सरकार बेटी की सुरक्षा, व्यापारी का संरक्षण, किसानों की खुशहाली, नौजवानों को रोजगार देने के लिए पूरी प्रतिबद्धता के साथ संकल्पित है। जिन लोगों ने यूपी को बीमारू बनाया था, उनकी मानसिकता बीमार थी सीएम ने कहा कि विकास के पैमाने पर यूपी नए प्रतिमान को स्थापित करता दिखाई दे रहा है। … Read more

गोरखपुर से मुख्यमंत्री योगी करेंगे स्वदेशी मेलों का भव्य शुभारंभ

  शहर के व्यवसायिक दृष्टि से महत्वपूर्ण और उपयुक्त स्थलों पर किया जा रहा है दस दिवसीय स्वदेशी मेलों का आयोजन, सुगमता से पहुंच सकेंगे आमजन प्रदेशभर में जनपद स्तर पर हो रहा स्वदेशी मेलों का आयोजन, स्थानीय उत्पादकों, स्वयं सहायता समूहों और उद्योग विभाग की योजनाओं को मिल रहा व्यापक मंच जीएसटी बचत उत्सव के रूप में भी मनाए जाएंगे मेले, सांस्कृतिक कार्यक्रमों और युवाओं की भागीदारी से बढ़ेगी उत्सव की गरिमा लखनऊ,  मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ शुक्रवार को गोरखपुर से स्वदेशी मेले का औपचारिक शुभारंभ करेंगे। स्वदेशी मेले का उद्देश्य स्थानीय उत्पादों को प्रोत्साहन देना, उद्योगों को बढ़ावा देना और ‘वोकल फॉर लोकल’ के संकल्प को जन-जन तक पहुंचाना है। हालांकि, कई जनपदों में गुरुवार को ही स्वदेशी मेले की अनौपचारिक शुरुआत हो गई है। हालांकि, इसकी औपचारिक शुरुआत मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के द्वारा शुक्रवार को की जाएगी। दस दिवसीय स्वदेशी मेलों का आयोजन शहर के व्यवसायिक दृष्टि से महत्वपूर्ण और उपयुक्त स्थलों पर किया जा रहा है, ताकि आम जनता सुगमता से पहुंच सके और सक्रिय रूप से सहभागिता कर सके। उल्लेखनीय है कि यूपी इंटरनेशनल ट्रेड शो 2025 के अंतर्गत जनपद स्तर पर स्वदेशी मेलों के आयोजन के निर्देश जारी किए गए हैं। आयोजन के दौरान जनपद के प्रभारी मंत्री समेत अन्य जनपद प्रतिनिधियों को अनिवार्य रूप से आमंत्रित किया गया है। प्रत्येक जनपद के उपायुक्त उद्योग नोडल अधिकारी के रूप में मेले की व्यवस्था देखेंगे और जिलाधिकारी से मार्गदर्शन प्राप्त करते हुए मेले की गरिमा एवं गुणवत्तापूर्ण आयोजन सुनिश्चित कर रहे हैं। उपलब्ध कराए गए निशुल्क स्टॉल स्वदेशी मेला में उद्योग विभाग, खादी एवं ग्रामोद्योग बोर्ड, माटी कला बोर्ड, हथकरघा एवं वस्त्रोद्योग विभाग, रेशम विभाग, ग्रामीण आजीविका मिशन, सीएम युवा, ओडीओपी, विश्वकर्मा श्रम सम्मान योजना, पीएमईजीपी, मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना के लाभार्थियों, वित्त पोषित इकाईयों, स्वयं सहायता समूहों और अन्य उत्पादकों को निःशुल्क स्टॉल उपलब्ध कराए गए हैं। इसके अतिरिक्त, पूर्व में उपलब्ध कराए गए जन उपयोगी योजनाओं/कार्यक्रमों के स्टॉल भी लगवाए गए हैं। मेले में वस्तुओं एवं सेवाओं के क्रय के लिए जेम पोर्टल का उपयोग अनिवार्य रूप से किया गया है। स्वदेशी मेले बनेंगे जीएसटी बचत उत्सव का आधार स्वदेशी मेले को जीएसटी बचत उत्सव के रूप में भी मनाया जा रहा है। केन्द्र और राज्य सरकार द्वारा की गई जीएसटी दरों में कमी की जानकारी आम जनता तक पहुंचाई जा रही है, ताकि वे दीपावली और अन्य अवसरों पर अपने दैनिक उपयोग की वस्तुएं खरीद सकें। कार्यक्रम को उल्लासपूर्ण और रोचक बनाने के लिए स्थानीय स्तर पर संस्कृति विभाग, युवक मंगल दल, नेहरू युवा केंद्र, विभिन्न शैक्षिक एवं स्वैच्छिक संस्थाओं के समन्वय और सहयोग से सामाजिक तथा सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। स्थानीय कारीगरों, उद्यमियों को मिलेगा मंच इन मेलों में स्थानीय कारीगरों, उद्यमियों, स्वयं सहायता समूहों, हस्तशिल्पियों और ग्रामीण उद्योगों को अपनी कला और उत्पाद प्रदर्शित करने का मंच मिलेगा। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश के 75 जिलों में सजने वाले ये मेले दिवाली के पूर्व “वोकल फॉर लोकल” अभियान को जन आंदोलन का स्वरूप देंगे, जिससे ग्रामीण और शहरी दोनों अर्थव्यवस्थाओं को नई दिशा मिलेगी। प्रदेश सरकार का उद्देश्य केवल उत्पादों की प्रदर्शनी तक सीमित नहीं है, बल्कि छोटे कारीगरों और उद्यमियों को आर्थिक सहयोग एवं बाजार से सीधा जुड़ाव दिलाना है।

सीएम ने बीडा सहित अन्य विकास परियोजनाओं को समयबद्ध तरीके से आगे बढ़ाने के दिए निर्देश

 झांसी जनपद झांसी के दौरे पर पहुंचे प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गुरुवार को कन्वेंशन सेंटर में स्थानीय अफसरों और जन प्रतिनिधियों के साथ बैठक कर कानून व्यवस्था और विकास कार्यों की समीक्षा की। बैठक में बुंदेलखंड के विकास की परियोजनाओं को लेकर सीएम ने खास तौर पर अफसरों से जानकारी ली। सीएम ने विकास कार्यों की समीक्षा करते हुए योजनाओं को गुणवत्तापूर्ण ढंग से समयबद्ध पूरा करने के निर्देश दिए। इस मौके पर अधिकारियों ने पावर पॉइंट प्रेजेंटेशन के जरिए जनपद के विकास कार्यों और कानून व्यवस्था की स्थिति का ब्यौरा सीएम के सामने रखा। मुख्यमंत्री ने पेयजल से संबंधित परियोजनाओं को पूर्ण करने में गुणवत्ता और समयबद्धता सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। सीएम ने कहा कि बीडा के अंतर्गत जमीन आवंटन कराने वाले निवेशक तीन वर्षों के भीतर निवेश की प्रक्रिया शुरू करें, इस बात को सुनिश्चित किया जाए। जमीनों के लिए प्रस्ताव आने से पूर्व भूमि अधिग्रहीत कर ली जाए। युवाओं के स्वावलंबन के लिए उन्हें प्रशिक्षण दिया जाए, जिससे इस क्षेत्र में लगने वाले उद्योगों में उन्हें नौकरी मिल सके। सीएम ने निर्देश दिए कि माफिया के खिलाफ पुलिस जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाते हुए सख्ती से कार्रवाई करे। उन्होंने कहा कि जनप्रतिनिधियों के साथ मिलकर अधिकारी बैठक करें। जन प्रतिनिधियों की समस्याओं का निराकरण किया जाए। मिशन शक्ति के अंतर्गत स्कूल जाने वाली बालिकाओं के साथ संवाद करने और उनके साथ किसी भी प्रकार की छेड़छाड़ की घटना को रोकने के लिए सख्ती से कार्रवाई सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। त्योहारों के मद्देनजर पुलिस को अधिक से अधिक फुट पेट्रोलिंग करने के निर्देश दिए। सीएम ने निर्देश दिए कि एक करोड़ से अधिक की धनराशि वाली विकास परियोजनाओं के लिए नोडल अधिकारी बनाया जाए जो नियमित रूप से निरीक्षण करें। जनपद के समस्त किसानों को अतिवृष्टि से हुए नुकसान की भरपाई तत्काल कराने और अनुदान राशि खातों में ट्रांसफर किए जाने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने स्वयं सहायता समूह की महिलाओं की आत्मनिर्भरता के लिए गोबर से बने पेंट से जनपद के सभी सरकारी भवनों को पेंट कराने के निर्देश दिए। प्रदेश के सभी सरकारी भवनों में गोबर से बने पेंट का उपयोग किए जाने का भी निर्देश दिया। सीएम ने जनपद में तुलसी उत्पादन से जुड़े किसानों को लाभान्वित करने के लिए अफसरों को उन्हें प्रेरित करने को कहा। सीएम ने कहा कि तुलसी के उत्पादन को स्थानीय वैद्यनाथ फर्म से जोड़ा जाए, जिससे किसानों को अधिक लाभ मिल सके। इसके साथ ही सीएम ने जनपद को टीबी मुक्त बनाने के अभियान में जन प्रतिनिधियों को अधिक से अधिक मरीजों को गोद लेने के लिए प्रेरित किया। इस अवसर पर प्रदेश सरकार के मंत्री स्वतंत्र देव सिंह, राज्यमंत्री मनोहर लाल पंथ उर्फ मन्नू कोरी, झांसी के मेयर बिहारी लाल आर्य, सदर विधायक रवि शर्मा, बबीना विधायक राजीव सिंह पारीछा, मऊरानीपुर विधायक डॉ रश्मि आर्य, गरौठा विधायक जवाहर लाल राजपूत, एमएलसी रमा निरंजन, एमएलसी रामतीर्थ सिंघल, एमएलसी डॉ बाबू लाल तिवारी, जिला पंचायत अध्यक्ष पवन गौतम, झांसी मंडल के कमिश्नर बिमल कुमार दुबे, डीआईजी आकाश कुलहरि, डीएम मृदुल चौधरी, एसएसपी बीबीजीटीएस मूर्ति आदि उपस्थित रहे।

बोले मुख्यमंत्री, फील्ड में वही अधिकारी तैनात हों जिनकी छवि साफ और लक्ष्य प्राप्ति के प्रति प्रतिबद्धता स्पष्ट हो

जीएसटी के ‘नेक्स्ट जेनरेशन रिफॉर्म’ से बाजार में तेजी, आने वाले महीनों में दिखेगा सकारात्मक असर: मुख्यमंत्री मुख्यमंत्री का निर्देश, धनतेरस व दीपावली पर अनावश्यक छापेमारी या जांच से बचें सितम्बर तक राज्य कर विभाग को ₹55,000 करोड़ की प्राप्ति बोगस फर्मों व फर्जी आईटीसी पर कार्रवाई जारी, अब तक ₹873.48 करोड़ के फर्जी दावे पकड़े गए लखनऊ,   मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि राज्य कर विभाग में तैनाती का आधार केवल ‘परफॉर्मेंस’ होगा। उन्होंने स्पष्ट निर्देश दिए कि फील्ड में वही अधिकारी तैनात किए जाएं जो लक्ष्य प्राप्ति के प्रति प्रतिबद्ध हों और जिनकी छवि पूरी तरह साफ हो। मुख्यमंत्री रविवार को राज्य कर विभाग की राजस्व प्राप्तियों की अद्यतन स्थिति की समीक्षा कर रहे थे। इस दौरान उन्होंने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जोनल अधिकारियों से सीधा संवाद किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि जीएसटी के ‘नेक्स्ट जेनरेशन रिफॉर्म’ के बाद बाजार में तेजी देखी जा रही है और आने वाले महीनों में इसके सकारात्मक परिणाम निश्चित रूप से दिखाई देंगे। उन्होंने निर्देश दिए कि धनतेरस और दीपावली के अवसरों पर अनावश्यक जांच अथवा छापेमारी की कार्रवाई से बचा जाए। व्यापारियों और उद्यमियों के उत्पीड़न की शिकायत कहीं से भी नहीं आनी चाहिए। बैठक के दौरान जोनवार समीक्षा में अवगत कराया गया कि बरेली (64.2%), सहारनपुर (63.7%), मेरठ (63.0%), गोरखपुर (62.5%) और झांसी (62.1%) जैसे जोनों का प्रदर्शन अपेक्षाकृत बेहतर रहा है। वहीं कुछ जोनों में लक्ष्य पूर्ति 55 से 58 प्रतिशत के बीच रही, जहां सुधार की आवश्यकता है। मुख्यमंत्री ने वाराणसी प्रथम व द्वितीय, गोरखपुर, प्रयागराज, अयोध्या, लखनऊ प्रथम व द्वितीय, कानपुर प्रथम व द्वितीय, इटावा, झांसी, आगरा, अलीगढ़, मुरादाबाद, मेरठ, गाजियाबाद प्रथम व द्वितीय, गौतमबुद्ध नगर और सहारनपुर सहित सभी जोनों की संभागवार और खंडवार समीक्षा की। उन्होंने सभी जोनल अधिकारियों से कहा कि 50 प्रतिशत से कम राजस्व संग्रह वाले खंडों की स्थिति का कारण स्पष्ट करें और सुधार की कार्ययोजना तत्काल तैयार करें। मुख्यमंत्री ने यह भी उल्लेख किया कि बरेली, झांसी और कानपुर प्रथम जोन में कोई भी खंड 50 प्रतिशत से कम संग्रह वाला नहीं है, जो संतोषजनक है। वहीं, असंतोषजनक प्रदर्शन करने वालों की जवाबदेही तय करने के निर्देश दिए गए। मुख्यमंत्री ने कहा कि राजस्व वृद्धि राज्य की आर्थिक प्रगति का प्रमुख आधार है। उन्होंने सभी अधिकारियों को निर्धारित लक्ष्यों की शत-प्रतिशत प्राप्ति का संकल्प लेकर कार्य करने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि वरिष्ठ अधिकारी स्वयं मार्केट मैपिंग करें, सामान्य रूप से बाजार में जाएं, व्यापारियों से मिलें और उनकी अपेक्षाओं को समझें। मुख्यमंत्री ने उदाहरण देते हुए कहा कि मंडी शुल्क में कमी से किसानों को राहत और राजस्व में वृद्धि दोनों हुई हैं। यह इस बात का प्रमाण है कि पारदर्शी और सरल कर प्रणाली हमेशा लाभकारी होती है। उन्होंने व्यापारियों से संवाद बनाए रखने पर बल देते हुए कहा कि जीएसटी पंजीकरण बढ़ाने और समय से रिटर्न फाइल कराने के लिए ठोस प्रयास किए जाएं। मुख्यमंत्री को अवगत कराया गया कि वित्तीय वर्ष 2025-26 में सितम्बर माह तक राज्य कर विभाग को कुल ₹55,000 करोड़ की प्राप्ति हुई है। इसमें ₹40,000 करोड़ जीएसटी तथा ₹15,000 करोड़ वैट/नॉन-जीएसटी से प्राप्त हुए हैं। गत वित्तीय वर्ष की समान अवधि में ₹55,136.29 करोड़ की प्राप्ति हुई थी। चालू वित्तीय वर्ष के लिए राज्य कर विभाग को ₹1.75 लाख करोड़ का लक्ष्य निर्धारित किया गया है, जो पिछले वर्ष के ₹1,56,982 करोड़ की तुलना में लगभग ₹18,700 करोड़ अधिक है। मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तर प्रदेश को राष्ट्रीय जीएसटी संग्रह में अग्रणी योगदान देना चाहिए और इसके लिए नियोजित प्रयास किए जाएं। बैठक में बोगस फर्मों और फर्जी इनपुट टैक्स क्रेडिट (आईटीसी) के मामलों पर विशेष चर्चा हुई। विभाग द्वारा अब तक 104 फर्मों में ₹873.48 करोड़ के फर्जी आईटीसी की पहचान की गई है, जिन पर जांच एवं कठोर दंडात्मक कार्रवाई की जा रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि राजस्व संग्रह में पारदर्शिता, उत्तरदायित्व और ईमानदारी सर्वोपरि है। जहां कमी दिखाई दे, वहां कारणों की समीक्षा कर तुरंत सुधारात्मक कदम उठाए जाएं। उन्होंने बकाया वसूली, फर्जी आईटीसी की रोकथाम और लंबित जीएसटी/वैट मामलों के त्वरित निस्तारण पर विशेष बल दिया। मुख्यमंत्री ने कहा कि करदाताओं की सुविधा और विश्वास अर्जन ही स्थायी राजस्व वृद्धि का आधार है। उन्होंने अधिकारियों से कहा कि करदाता-मित्रवत वातावरण तैयार करते हुए ई-गवर्नेंस प्रणाली को और सुदृढ़ किया जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि “राजस्व वृद्धि राज्य की अर्थव्यवस्था को गति देने का आधार है। विकसित उत्तर प्रदेश और विकसित भारत 2047 के लक्ष्य की दिशा में राज्य कर विभाग की भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण है। हर अधिकारी यह सुनिश्चित करे कि कर संग्रह का प्रत्येक रुपया प्रदेश के विकास में योगदान दे।” उन्होंने विभागीय अधिकारियों को राजस्व सृजन की गति और पारदर्शिता, दोनों पर समान ध्यान देने तथा करदाता जनसहजता बढ़ाने के निर्देश दिए।

कर्तव्य और कृतज्ञता पर योगी का विचार, कहा- यह सनातन धर्म का पहला संस्कार है

गोरखपुर गोरक्षपीठाधीश्वर एवं मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि कर्ता के प्रति कृतज्ञता का भाव प्रकट करना सनातन धर्म का पहला संस्कार है। भारतीय मनीषा के ज्ञान दर्शन में इस बात को प्रतिष्ठित किया गया है कि जीवन में हमारे, समाज और राष्ट्र के प्रति जिस किसी ने योगदान दिया हो, उसके प्रति कृतज्ञता का भाव होना ही चाहिए। मुख्यमंत्री योगी युगपुरुष ब्रह्मलीन महंत दिग्विजयनाथ जी महाराज की 56वीं तथा राष्ट्रसंत ब्रह्मलीन महंत अवेद्यनाथ जी महाराज की 11वीं पुण्यतिथि के उपलक्ष्य में आयोजित साप्ताहिक श्रद्धांजलि समारोह के अंतिम दिन गुरुवार को महंत अवेद्यनाथ की पुण्यतिथि पर श्रद्धासुमन अर्पित कर रहे थे। मुख्यमंत्री ने रामायणकाल में हनुमानजी और मैनाक पर्वत के बीच हुए संवाद के मुख्य उद्धरण ‘कृते च कर्तव्यम एषः धर्म सनातनः’ को समझाते हुए कहा कि यह भाव सनातन से ही मिलता है। सनातन की परंपरा में पूर्वजों के प्रति कृतज्ञता का भाव व्यक्त करने के लिए आश्विन माह का पूरा कृष्ण पक्ष ही समर्पित किया गया है। गोरक्षपीठ में ब्रह्मलीन पूज्य महंतद्वय की पुण्य स्मृति में साप्ताहिक आयोजन भी कृतज्ञता ज्ञापन का ही आयाम है। मुख्यमंत्री योगी ने अपने दादागुरु ब्रह्मलीन महंत दिग्विजयनाथ और गुरुदेव ब्रह्मलीन महंत अवेद्यनाथ का स्मरण करते हुए कहा कि महंतद्वय समाज, राष्ट्र और लोक जीवन से जुड़े हर मुद्दे पर सनातन धर्म और भारत के हितों के प्रति प्रतिबद्ध रहे। महंत दिग्विजयनाथ जी ने सनातन धर्म, शिक्षा, सेवा और राष्ट्रीयता के जिन मूल्यों और आदर्शों को स्थापित किया, उन्हें महंत अवेद्यनाथ जी ने आत्मसात कर आगे बढ़ाया। इन मूल्यों और आदर्शों के लिए, देश और धर्म के लिए महंतद्वय आजीवन समर्पित रहे। दोनों ने सदैव देश और धर्म को प्राथमिकता दी। गोरक्षपीठ आज भी उनके बताए मार्ग का अनुसरण कर रहा है। उन्होंने कहा कि गोरक्षपीठ के ब्रह्मलीन महंतद्वय ने गुणवत्तापूर्ण शिक्षा को सभ्य समाज और सशक्त राष्ट्र की आधारशिला माना। महंत दिग्विजयनाथ जी ने इसी ध्येय से देश की गुलामी के कालखंड में ही 1932 में महाराणा प्रताप जैसे वीर योद्धा के प्रति कृतज्ञता ज्ञापित करते हुए महाराणा प्रताप शिक्षा परिषद की स्थापना की थी। 1932 में पहली संस्था खुली और फिर यह श्रृंखला बढ़ती गई। गोरखपुर में जब पहले विश्वविद्यालय की स्थापना की बात आई तो उन्होंने महाराणा प्रताप महाविद्यालय और महाराणा प्रताप महिला विद्यालय दान में देकर विश्वविद्यालय की स्थापना का शुभारंभ कराया। यह कार्य श्रेय के लिए नहीं था। उन्होंने महिला शिक्षा, तकनीकी शिक्षा, आयुष शिक्षा सहित शिक्षा के हरेक क्षेत्र को आगे बढ़ाया। उनके बाद महंत अवेद्यनाथ जी ने भी इस सिलसिले को जारी रखा। उन्होंने अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि पर मंदिर निर्माण में गोरक्षपीठ के ब्रह्मलीन महंतद्वय के अविस्मरणीय योगदान का भी उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि श्रीराम मंदिर निर्माण के यज्ञ का शुभारंभ महंत दिग्विजयनाथ जी ने किया था। उनके बाद 1983 से लेकर जीवनपर्यंत महंत अवेद्यनाथ मंदिर निर्माण के लिए संघर्षरत रहे। ब्रह्मलीन महंत अवेद्यनाथ समाज को तोड़ने वाली ताकतों से चिंतित रहे। उन्होंने आजीवन सामाजिक समरसता को आगे बढ़ाया।  

नियुक्ति पत्र पाकर खुश हुए शिक्षक, मुख्यमंत्री योगी ने की प्रेरक बातें

लखनऊ मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को लोकभवन में राजकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान (आइटीआइ) में चयनित 1510 अनुदेशकों को नियुक्ति पत्र प्रदान किया। मुख्यमंत्री ने कुछ चुनिंदा अनुदेशकों को नियुक्ति पत्र प्रदान किया, जबकि सभी जिलों में आयोजित कार्यक्रम में सांसद और विधायक अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र दिया। प्रदेश के सभी जनपदों में भी भव्य कार्यक्रमों का आयोजन किया गया, जहां सांसद एवं विधायकगण सफल अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र प्रदान कर युवाओं के सपनों को साकार करने के साक्षी बने। उत्तर प्रदेश सरकार “सबका साथ, सबका विकास और सबका विश्वास” के मंत्र के साथ निरंतर कार्यरत है। देश के सबसे अधिक युवाओं वाले प्रदेश की युवा आकांक्षाओं को देखते हुए उन्हें रोजगार और स्वरोजगार से जोड़ने को सर्वोच्च प्राथमिकता दी जा रही है। रोजगार मेलों के माध्यम से भी प्रदेश में 1736 कार्यक्रम आयोजित किए गए हैं, जिनमें 4.13 लाख से अधिक युवाओं को 2537 कंपनियों में नौकरी का अवसर मिला है।   मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि देश को अनेक महानुभाव देने वाले प्रदेश को हमने बीमारू राज्य से ‍उबारा। हमने प्रदेश के नौजवानों का साफ सुथरा मंच दिया, जिससे उत्तर प्रदेश की अलग पहचान बनी है। उत्तर प्रदेश वर्ष 2017 से पहले देश के विकास के योगदान देने के मामले में निचली पायदान पर था और अब सभी अग्रणी राज्यों को पीछे छोड़कर लगातार आगे बढ़ रहा है। अब ‍उत्तर प्रदेश देश का ग्रोथ इंजन है और दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था है। राजकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान में नियुक्त 1510 अनुदेशक ईमानदारी से काम पर प्रदेश को आगे बढ़ाने का काम करें। उत्तर प्रदेश अधीनस्थ चयन सेवा चयन आयोग की ओर से अनुदेशकों का परिणाम बीते दिनों घोषित किया गया था। इसमें 1510 अनुदेशकों का चयन हुआ। इस अवसर पर व्यावसायिक शिक्षा मंत्री कपिल देव अग्रवाल ने कहा कि यह अवसर न केवल चयनित अभ्यर्थियों के जीवन में नई ऊर्जा और आत्मविश्वास का संचार करेगा। बल्कि, प्रदेश सरकार के इस संकल्प का भी प्रमाण है कि योग्यता के आधार पर पारदर्शिता के साथ युवाओं को रोजगार उपलब्ध कराना ही हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है। व्यावसायिक शिक्षा, कौशल विकास एवं उद्यमशीलता राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) कपिल देव अग्रवाल ने बताया कि नियुक्ति पत्र वितरण कार्यक्रम का सीधा प्रसारण हर जिले में किया गया। इस मौके पर व्यावसायिक शिक्षा मंत्री कपिल देव अग्रवाल, कौशल विकास विभाग के प्रमुख सचिव डा. हरिओम सहित अन्य लोग मौजूद रहे।

मुख्यमंत्री योगी ने अयोध्या राज परिवार के मुखिया को दी श्रद्धांजलि

-योगी आदित्यनाथ बोले, राजा साहब का योगदान हमेशा रहेगा अविस्मरणीय -राजा विमलेंद्र मोहन प्रताप मिश्र के त्रयोदशी संस्कार में उमड़ा जनसैलाब -संत-महंत और जनप्रतिनिधियों की मौजूदगी में हुआ श्रद्धांजलि समारोह -भावविह्वल माहौल में श्रद्धा-सुमन अर्पित कर सबने किया नमन अयोध्या मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ बुधवार को अयोध्या राजसदन पहुंचे और राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के सदस्य एवं अयोध्या राज परिवार के मुखिया राजा विमलेंद्र मोहन प्रताप मिश्र के त्रयोदशी संस्कार में शामिल होकर श्रद्धांजलि अर्पित की। मुख्यमंत्री ने दिवंगत राजा साहब के चित्र पर पुष्प अर्पित कर नमन किया और शोकाकुल परिजनों से मिलकर संवेदना व्यक्त की। राजा साहब का निधन समाज और संस्कृति के लिए अपूरणीय क्षति मुख्यमंत्री योगी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि राजा विमलेंद्र मोहन प्रताप मिश्र का निधन केवल अयोध्या ही नहीं, बल्कि पूरे प्रदेश और समाज के लिए अपूरणीय क्षति है। उन्होंने जीवन भर रामलला और राम मंदिर आंदोलन के लिए अपना योगदान दिया। राजा साहब का व्यक्तित्व धर्म, संस्कृति और परंपरा का अद्वितीय संगम था। संत-महंतों और जनप्रतिनिधियों की बड़ी संख्या में मौजूदगी त्रयोदशी संस्कार में बड़ी संख्या में संत-महंत, जनप्रतिनिधि, प्रशासनिक अधिकारी और विभिन्न सामाजिक संगठनों से जुड़े लोग उपस्थित रहे। पूरे राजसदन का वातावरण भावविह्वल हो उठा। सभी ने दिवंगत राजा साहब के आदर्शों और उनके योगदान को स्मरण करते हुए श्रद्धा-सुमन अर्पित किए। रामलला के प्रति समर्पण हमेशा याद रखा जाएगा राजा विमलेंद्र मोहन प्रताप मिश्र लंबे समय से बीमार चल रहे थे और गत दिनों उनका निधन हो गया था। उनके निधन की सूचना मिलते ही पूरे क्षेत्र में शोक की लहर दौड़ गई थी। राज परिवार से जुड़े लोग और अयोध्या के नागरिक लगातार राजसदन पहुंचकर शोक संवेदना व्यक्त कर रहे हैं। मुख्यमंत्री का दौरा, श्रद्धांजलि के साथ सम्मान का संदेश मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का यह दौरा न केवल श्रद्धांजलि अर्पण का प्रतीक रहा, बल्कि अयोध्या की सांस्कृतिक विरासत और राज परिवार के योगदान के प्रति सम्मान का भी संदेश दिया। कार्यक्रम में कैबिनेट मंत्री सूर्य प्रताप शाही, महापौर गिरीशपति त्रिपाठी, जिला पंचायत अध्यक्ष रोली सिंह, विधायकगण वेद प्रकाश गुप्ता, अमित सिंह चौहान, रामचंद्र यादव, अभय सिंह, चंद्रभानु पासवान, बीजेपी जिलाध्यक्ष संजीव सिंह, महानगर अध्यक्ष कमलेश श्रीवास्तव, सहित अन्य गणमान्य मौजूद रहे।

सलोनी हार्ट सेंटर हजारों परिवारों के जीवन में नई उम्मीद का संचार कर रहा है: मुख्यमंत्री योगी

लखनऊ  मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को संजय गांधी स्नातकोत्तर आयुर्विज्ञान संस्थान (एसजीपीजीआई), लखनऊ में एसबीआई फाउंडेशन आईसीयू प्रोजेक्ट का शुभारंभ किया। यह प्रोजेक्ट सलोनी हार्ट सेंटर में संचालित होगा, जो बच्चों की जन्मजात हृदय बीमारियों के उपचार के लिए समर्पित है। इस अवसर पर एसबीआई फाउंडेशन ने लगभग 10 करोड़ का सहयोग प्रदान किया। इस राशि से सेंटर को आधुनिक उपकरणों और आवश्यक संसाधनों से सुसज्जित किया जाएगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में बच्चों के हृदय रोगों के लिए उच्चस्तरीय उपचार सुविधा की कमी लंबे समय से महसूस की जा रही थी। ऐसे में सलोनी हार्ट सेंटर प्रदेश की एक बड़ी उपलब्धि है। उन्होंने बताया कि डेढ़ वर्ष पूर्व शुभारंभ किए गए इस सेंटर में अब तक 300 से अधिक बच्चों की हार्ट सर्जरी सफलतापूर्वक हो चुकी है। हार्ट सेंटर का पहला चरण पूर्णतः क्रियाशील है, जबकि दूसरे चरण का कार्य तेजी से प्रगति पर है। मुख्यमंत्री ने सलोनी हार्ट फाउंडेशन की संचालक दंपति मिली सेठ एवं हिमांशु सेठ के प्रयासों की सराहना की, साथ ही एसबीआई फाउंडेशन के सहयोग की भी प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि सलोनी हार्ट सेंटर प्रदेश के हजारों परिवारों के जीवन में नई उम्मीद का संचार कर रहा है। यह पहल 2023 के ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट का प्रत्यक्ष सुफल है और बच्चों के जीवन की रक्षा में अत्यंत उपयोगी सिद्ध हो रही है। मुख्यमंत्री ने यह भी उल्लेख किया कि उत्तर प्रदेश ने पूर्व में इंसेफेलाइटिस जैसी गंभीर बीमारी के उन्मूलन में उल्लेखनीय सफलता प्राप्त की है और अब बच्चों के हृदय रोगों के उपचार में भी ठोस प्रगति हो रही है। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि एसबीआई फाउंडेशन का यह सहयोग सलोनी हार्ट सेंटर को और अधिक क्षमता सम्पन्न बनाएगा और आने वाले समय में बच्चों के जीवन की रक्षा में मील का पत्थर सिद्ध होगा। इस अवसर पर एसजीपीजीआई के निदेशक डॉ. आर.के. धीमन ने मुख्यमंत्री को हार्ट सेंटर की स्थापना से लेकर अब तक की गतिविधियों एवं उपलब्धियों की जानकारी भी दी। कार्यक्रम में उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक और राज्य मंत्री मयंकेश्वर शरण सिंह के अतिरिक्त सलोनी फाउंडेशन, एसबीआई और एसजीपीजीआई तथा स्वास्थ्य विभाग के अनेक अधिकारी गणों की सहभागिता रही।