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केन्द्रीय मंत्रि-मंडल ने मध्यप्रदेश सहित 4 राज्यों की रेलवे मल्टी-ट्रेकिंग परियोजनाओं को दी मंजूरी

प्रधानमंत्री मोदी का मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने माना आभार भोपाल प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में मंगलवार को नई दिल्ली में केन्द्रीय मंत्रि-मंडल की आर्थिक मामलों की समिति ने मध्यप्रदेश सहित 4 राज्यों के 18 जिलों में रेलवे की 4 मल्टी-ट्रेकिंग परियोजनाओं को मंजूरी दी है। मध्यप्रदेश को मिली इस सौगात के लिये मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी का आभार मानते हुए धन्यवाद किया है। पीएम-गति शक्ति राष्ट्रीय मास्टर प्लान के तहत तैयार इन परियोजनाओं का उद्देश्य एकीकृत योजना और हितधारक परामर्श द्वारा मल्टी-मॉडल कनेक्टिविटी और लॉजिस्टिक दक्षता बढ़ाना है। ये परियोजनाएं नागरिकों, वस्तुओं और सेवाओं को निर्बाध संपर्क प्रदान करेंगी। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि रेलवे लाइन क्षमता में बढ़ोत्‍तरी से गतिशीलता बढ़ेगी जिससे भारतीय रेलवे की परिचालन दक्षता और सेवा विश्वसनीयता में सुधार होगा। मल्टी-ट्रेकिंग (पटरियों की संख्या बढ़ाना) से रेल परिचालन सुगम होगा और यात्रियों को सुविधा होगी। प्रधानमंत्री श्री मोदी के नए भारत के दृष्टिकोण के अनुरूप इन परियोजनाओं से क्षेत्र के लोगों का व्यापक विकास होगा, वे आत्मनिर्भर बनेंगे और उनके लिए रोज़गार/स्वरोज़गार के अवसर बढ़ेंगे। केन्द्रीय मंत्रि-मंडल समिति ने मध्यप्रदेश में 237 किलोमीटर लंबी इटारसी-भोपाल-बीना चौथी लाइन को और गुजरात एवं मध्यप्रदेश के बीच 259 किलोमीटर लंबी बढ़ोदरा-रतलाम, तीसरी और चौथी लाइन को मंजूरी दी गई है। इसके साथ ही महाराष्ट्र में वर्धा-भुसावल के बीच 314 किलोमीटर लंबी तीसरी और चौथी लाइन को तथा महाराष्ट्र-छत्तीसगढ़ में 84 किलोमीटर लंबी गोंदिया-डोंगरगढ़ चौथी लाइन को मंजूरी दी गई है। कुल 24 हजार 634 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत वाली ये परियोजनाएं 2030-31 तक पूरी होंगी। स्वीकृत मल्टी-ट्रेकिंग परियोजनाओं से लगभग 3 हजार 633 गांवों, जिनकी जनसंख्या लगभग 85 लाख 84 हजार है तथा 2 आकांक्षी जिलों विदिशा और राजनांदगांव तक संपर्क बढ़ेगा। मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र, गुजरात और छत्तीसगढ़ राज्यों के 18 जिलों में व्‍याप्‍त इन चार परियोजनाओं से भारतीय रेलवे के मौजूदा नेटवर्क में लगभग 894 किलोमीटर की वृद्धि होगी। मध्यप्रदेश में परियोजना खंड सांची, सतपुड़ा बाघ अभयारण्य, प्रागैतिहासिक मानव जीवन के प्रमाणों और प्राचीन शैल चित्रकला के लिए प्रसिद्ध भीमबेटका शैलाश्रय, हज़ारा जलप्रपात, नवेगांव राष्ट्रीय उद्यान आदि प्रमुख स्थलों को भी रेल संपर्क प्रदान करेगा, जो देश भर के पर्यटकों को आकर्षित करेगा। यह कोयला, कंटेनर, सीमेंट, फ्लाई ऐश, खाद्यान्न, इस्पात आदि वस्तुओं के परिवहन के लिए भी आवश्यक मार्ग है। पटरियों की संख्या बढ़ाए जाने से प्रति वर्ष 78 मिलियन टन की अतिरिक्त माल ढुलाई होगी। रेलवे के पर्यावरण अनुकूल और ऊर्जा कुशल परिवहन देश के जलवायु लक्ष्यों और परिचालन लागत को कम करने, तेल आयात (28 करोड़ लीटर) में कमी लाने और कार्बन उत्सर्जन 139 करोड़ किलोग्राम कम करने में मदद करेगा जो 6 करोड़ वृक्षारोपण के बराबर है।

केंद्रीय कैबिनेट ने एम्प्लॉयमेंट लिंक्ड इन्सेंटिव योजना को मंजूरी दी, एक लाख करोड़ की रिसर्च स्कीम को भी हरी झंडी

नई दिल्ली केंद्रीय कैबिनेट ने मंगलवार को प्रोडक्शन लिंक्ड इन्सेंटिव (PLI) की तर्ज पर एम्प्लॉयमेंट लिंक्ड इन्सेंटिव (ELI) योजना को मंजूरी दे दी। इसके तहत मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में संगठित और स्थायी रोजगार को प्रोत्साहन दिया जाएगा। इस योजना के तहत, सरकार कुल 1.07 लाख करोड़ रुपए का प्रोत्साहन देगी। केंद्रीय सूचना प्रसारण मंत्री अश्विनी वैष्णव ने इस फैसले की जानकारी दी।   इसके अलावा सरकार ने रिसर्च डेवलपमेंट एंड इन्नोवेशन (DRI) स्कीम का भी ऐलान किया है। इस स्कीम के तहत सरकार एनर्जी सिक्युरिटी, डीप टेक, एआई, फार्मा, डिजिटल एग्रीकल्चर समेत 17 सेक्टर में रिसर्च को बढ़ावा देने के लिए 1 लाख करोड़ रुपए का प्रोत्साहन देगी। केंद्र सरकार ने युवाओं को बड़ा तोहफा दिया है। केंद्रीय मंत्रिमंडल ने उस योजना को मंजूरी दे दी है, जिसके तहत पहली बार नौकरी करने वाले युवाओं को सरकार की ओर से 15,000 रुपये मिलेंगे। रोजगार से जुड़ी प्रोत्साहन योजना ( Employment Linked Incentive Scheme ) को पीएम नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता वाली कैबिनेट ने हरी झंडी दिखा दी है। ELI योजना का उद्देश्य युवाओं को नौकरी के लिए तैयार करना है। साथ ही उन्हें एक सुरक्षित वातावरण मुहैया कराना है। इस योजना का मुख्य फोकस मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर पर होगा। योजना के अंतर्गत पहली बार नौकरी करने वालों को 15,000 रुपये तक की एक महीने की सैलरी मिलेगी। यह पैसा दो किस्तों में मिलेगा। यही नहीं जो कंपनियां युवाओं को नौकरी देंगी, उन्हें भी सरकार की ओर से दो साल तक प्रोत्साहन मिलेगा। सरकार के मुताबिक इस योजना के माध्यम से 3.5 करोड़ से ज्यादा रोजगार के अवसर पैदा करना है। केंद्र सरकार की ओर से इस पर 99,446 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। बजट में किया गया था ऐलान ELI योजना को लेकर सरकार ने पिछले बजट में ऐलान किया था। यह प्रधानमंत्री के 2 लाख करोड़ रुपये के पैकेज का हिस्सा है। इस पैकेज का मकसद 4.1 करोड़ युवाओं को नौकरी, ट्रेनिंग और दूसरी तरह के मौके देना है। उम्मीद जताई जा रही है कि अगले साल में 3.5 करोड़ से ज्यादा रोजगार पैदा होंगे, जिनमें 1.92 करोड़ पहली बार नौकरी पाने वाले होंगे। किन युवाओं को मिलेगा लाभ जो भी युवा पहली बार कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) में रजिस्टर होंगे, उन्हें एक महीने की एक EPF सैलरी मिलेगी। यह अधिकतम 15,000 रुपये तक होंगे। हालांकि यह पैसा एक साथ नहीं मिलेगा बल्कि दो किस्तों में दिया जाएगा। वे कर्मचारी जिनकी सैलरी 1 लाख रुपये तक या उससे कम हैं, वही इस योजना के लिए पात्र होंगे। कंपनियों हर कर्मचारी पर मिलेंगे 3000 रुपये इस योजना के तहत सरकार कंपनियों को भी आर्थिक प्रोत्साहन देगी। योजना में कंपनियों को उन कर्मचारियों के लिए प्रोत्साहन राशि मिलेगी, जिनकी सैलरी 1 लाख रुपये तक है। सरकार कंपनियों को प्रति कर्मचारी के लिए 3000 रुपये हर महीने देगी। हर नए कर्मचारी के लिए यह पैसा दो साल तक मिलेगा। हालांकि इसके लिए शर्त है कि वह कर्मचारी कम से कम 6 महीने तक काम करे। जो कंपनियां EPFO में रजिस्टर हैं, उन्हें कम से कम दो नए कर्मचारी (जिन कंपनियों में 50 से कम कर्मचारी हैं) या 5 नए कर्मचारी (जिन कंपनियों में 50 या उससे ज़्यादा कर्मचारी हैं) रखने होंगे। EPF सैलरी स्लैब                                                 कंपनी को फायदा (हर महीने, हर नए कर्मचारी पर) 10,000 रुपये तक                                                  1,000 रुपये 10,000 रुपये से ज्‍यादा और 20,000 रुपये तक           2,000 रुपये 20,000 रुपये से ज्‍यादा (1 लाख रुपये तक)                3,000 रुपये कब-कब मिलेगा पैसा ईएलआई योजना के तहत पहली किस्त नौकरी लगने के 6 महीने बाद मिलेगी। जबकि दूसरी किस्त का भुगतान 12 महीने की नौकरी पूरी होने और वित्तीय साक्षरता कार्यक्रम में भाग लेने के बाद ही होगा। इस प्रोत्साहन राशि का कुछ हिस्सा FD अकाउंट में रखा जाएगा। युवा बाद में इस फंड से पैसा निकाल सकते हैं। पैसा कैसे मिलेगा पहली बार नौकरी करने वालों को पैसा सीधे उनके खाते में DBT के जरिए ट्रांसफर कर दिया जाएगा। बस खाता आधार कार्ड से जुड़ा होना चाहिए। कंपनियों को प्रोत्साहन राशि सीधे उनके PAN से जुड़े अकाउंट में मिलेगी।