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1 करोड़ का नेक काम: मनोहर लाल का PM राहत कोष में दान, नए पुस्तकालय का होगा निर्माण

चंडीगढ़  केंद्रीय ऊर्जा एवं शहरी आवासन मंत्री तथा हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने रोहतक जिले में स्थित अपने पुश्तैनी गाँव बनियानी में करीब डेढ़ एकड़ जमीन को बेचकर मिली धनराशि प्रधानमंत्री राहत कोष में देने का ऐलान किया है। गाँव बनियानी में मनोहर लाल की पुश्तैनी जमीन में से करीब डेढ़ एकड़ उनके हिस्से में आई थी। मनोहर लाल ने यह जमीन बेच दी है। जिसकी एवज में उन्हें करीब एक करोड़ रुपए मिले हैं। इसके अलावा मनोहर लाल ने अपना पुश्तैनी घर माँ शांति देवी पुस्तकालय के नाम पर दान करने का ऐलान किया है। मनोहर लाल के इस आवास को पुस्तकालय में बदला जाएगा जहां ग्रामीण अंचल के बच्चों को प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने के लिए अनुकूल माहौल मिलेगा। इससे पहले भी केंद्रीय मंत्री अपने हिस्से की जमीन बेचकर प्रधानमंत्री राहत कोष में सहयोग किया था।  

एकता कपूर के शो में नजर आएंगे बिल गेट्स, ‘तुलसी’ से करेंगे गंभीर मुद्दे पर चर्चा

मुंबई, स्मृति ईरानी का पॉपुलर टीवी शो ‘क्योंकि सास भी कभी बहू थी 2’ फैंस के बीच एक बार फिर फेमस हो गया है। सीरियल टीआरपी (टेलीविजन रेटिंग पॉइन्ट) की टॉप फाइव की रेस में शामिल हो गया है। अब शो में एक इंटरनेशनल मेहमान की एंट्री होने वाली है, जिसे लेकर सोशल मीडिया पर पहले ही बज बन चुका है। शो में गुरुवार को अरबपति बिल गेट्स तुलसी विरानी का किरदार निभा रहीं स्मृति ईरानी से खास बातचीत करने के लिए आ रहे हैं। स्टार प्लस ने सीरियल ‘क्योंकि सास भी कभी बहू थी 2’ का नया प्रोमो शेयर किया है, जिसमें तुलसी लैपटॉप पर बिजनेसमैन बिल गेट्स का स्वागत कर रही हैं और बिल गेट्स भी तुलसी विरानी से हिंदी में बात कर रहे हैं। नए प्रोमो के मुताबिक गुरुवार की रात के एपिसोड में बिल गेट्स का कैमियो रखा गया है। वे कुछ देर के लिए शो से जुड़ेंगे और बच्चे के स्वास्थ्य के मुद्दे पर बात करेंगे। प्रोमो को शेयर कर जानकारी दी गई कि एपिसोड में आज नया सेहत का, संवेदना का और बदलाव का रिश्ता जुड़ने वाला है, जिसमें हर मां और हर बच्चा सुरक्षित रहे, इस गंभीर मुद्दे पर बात होगी। बिल गेट्स की ‘बिल एंड मेलिंडा गेट्स फाउंडेशन’ गर्भवती महिलाओं और बच्चों के स्वास्थ्य को लेकर जागरूकता फैलाती है। इसी उद्देश्य को पूरा करते हुए बिल गेट्स और तुलसी विरानी चर्चा करने वाले हैं। ऐसा पहली बार हुआ है जब एकता कपूर के शो में किसी इंटरनेशनल पर्सनैलिटी को देखा गया। प्रोमो सामने आने के बाद एक सोशल मीडिया यूजर ने लिखा, “पहली बार भारतीय टेलीविजन पर बिल गेट्स का शो देखने को मिल रहा है, बहुत बढ़िया तुलसी जी…आप तो अनुपमा से भी आगे निकल गईं।” एक अन्य यूजर ने लिखा, “जय श्री कृष्णा बोलते हुए बिल गेट्स कितने प्यारे लग रहे हैं।” बता दें कि शो हर रात 10 बजकर 30 मिनट पर स्टार प्लस पर प्रसारित होता है। शो में अभी तक कई गंभीर समाजिक मुद्दों को उजागर किया गया है। शो की कहानी तुलसी के मोटापे से शुरू हुई थी, जिसके बाद घरेलू हिंसा, एक्सट्रा मैरिटल अफेयर और उम्र संबंधी समस्याओं को कहानी के रूप में दिखाया गया। इन्हीं वजहों से सीरियल आज ‘अनुपमा’ को टक्कर दे रहा है, जो हमेशा टीआरपी चार्ट में टॉप वन पर विराजमान रहता है।  

नाहरगढ़ वैक्स म्यूज़ियम में लगी महाराजा भवानी सिंह की प्रतिमा, देखकर भावुक हुईं राजकुमारी दीया कुमारी

जयपुर  नाहरगढ़ की ऊंची पहाड़ियों पर बसे जयपुर वैक्स म्यूज़ियम में गुरुवार का दिन भावनाओं से भरा हुआ था। मौका था — महावीर चक्र से सम्मानित ब्रिगेडियर सवाई भवानी सिंह की जयंती का, और इस अवसर पर उनकी वैक्स प्रतिमा का लोकार्पण किया गया। कार्यक्रम में उनकी बेटी और राजस्थान की उप मुख्यमंत्री एवं पर्यटन मंत्री दीया कुमारी ने अपने पिता की वैक्स मूर्ति का अनावरण किया। जैसे ही परदा हटाया गया, वहां मौजूद सभी लोगों ने तालियों से स्वागत किया, जबकि दीया कुमारी की आंखें नम हो उठीं। उन्होंने कहा — “यह मेरे लिए गर्व और भावनाओं से भरा क्षण है। मेरे पिताजी केवल हमारे परिवार के नहीं, बल्कि पूरे राष्ट्र के गौरव थे। उनका यह वैक्स स्टेच्यू देखकर ऐसा लगा मानो वे मेरे सामने खड़े हैं। मैं जयपुर वैक्स म्यूज़ियम और उन सभी कारीगरों की आभारी हूं जिन्होंने इतनी सजीव प्रतिमा बनाई।” ब्रिगेडियर भवानी सिंह: जयपुर के आख़िरी महाराजा और सेना के वीर अधिकारी ब्रिगेडियर सवाई भवानी सिंह न केवल जयपुर राजघराने के उत्तराधिकारी थे, बल्कि भारतीय सेना के एक बहादुर योद्धा भी थे। उन्होंने 1971 के भारत-पाक युद्ध में विशेष साहस का प्रदर्शन किया था, जिसके लिए उन्हें महावीर चक्र से सम्मानित किया गया। उनका योगदान केवल सैन्य क्षेत्र तक सीमित नहीं था — उन्होंने जयपुर की सांस्कृतिक धरोहरों के संरक्षण में भी अहम भूमिका निभाई। नाहरगढ़ म्यूज़ियम में ‘राजसी और वीरता’ का संगम जयपुर वैक्स म्यूज़ियम में यह प्रतिमा एक विशेष सेक्शन में लगाई गई है, जिसे “राजसी और वीरता का संगम” शीर्षक दिया गया है। यहां राजस्थान के ऐतिहासिक शख़्सियतों के साथ-साथ देश के महान नेताओं और कलाकारों की भी प्रतिमाएं प्रदर्शित हैं। म्यूज़ियम के संस्थापक अनूप श्रीवास्तव ने बताया कि सवाई भवानी सिंह की प्रतिमा को तैयार करने में महीनों का समय लगा। उनकी वर्दी, मेडल, और चेहरे के भावों को बारीकी से रिसर्च कर तैयार किया गया ताकि मूर्ति में ‘जीवंतता’ झलके। दीया कुमारी की अपील — “नई पीढ़ी को जानना चाहिए अपने नायकों को” दीया कुमारी ने इस मौके पर कहा कि “मेरे पिता जैसे सच्चे देशभक्तों की कहानियां आज की युवा पीढ़ी तक पहुंचनी चाहिए। म्यूज़ियम इस दिशा में शानदार काम कर रहा है, जो न केवल पर्यटन को बढ़ावा देता है, बल्कि इतिहास को जीवंत भी बनाए रखता है।” उन्होंने कहा कि राज्य सरकार भी ऐसे सांस्कृतिक स्थलों को प्रोत्साहित करेगी ताकि राजस्थान की विरासत और वीरता दोनों पीढ़ियों तक सुरक्षित रहें।

जाने क्यों आईफोन से बेहतर हैं एंड्रायड फोन

जाने क्यों आईफोन से बेहतर हैं एंड्रायड फोनवैसे तो दुनिया में आइफोन एक स्टे टस सिंबल माना जाता है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि स्टे टस सिंबल के अलावा जब आप एक यूजर के तौर पर इसे देखते हैं तो एंड्रायड के मुकाबले यह काफी कमजोर नजर आता है। जहां आइफोन में कई पाबंदियां नजर आती हैं वहीं एंड्रायड फोन आपकी आजादी देता है। जानिये कैसे…. -जब आप कोई आइफोन खरीदते हैं तो उसमें स्टो रेज की क्षमता सीमित होती है। लेकिन ज्याकदातर एंड्रायड फोन्सि में एसडी कार्ड स्लॉ ट दिया होता है जो स्टो रेज बढ़ाने में मदद करता है। -अगर आपके आइफोन की बैटरी कमजोर होती है तो इसे आप बदल नहीं सकते लेकिन एंड्रायड में यह आसानी से बदली जा सकती है। -कई एंड्रायड फोन एक रिमोट की तरह भी उपयोग किए जा सकते हैं क्योंरकि इनमें इंफ्रारेड ब्ला स्टंर्स होते हैं जबकि आइफोन में ऐसा कुछ नहीं होता। -एंड्रायड फोन में कोई भी फाइल आसानी से कम्यूाना टर में शिफ्ट की जा सकती है क्यों्कि कम्यूर्स टर से कनेक्टक करते ही आपको सारी फाइल्सत नजर आने लगती हैं और आप इन्हेंी ड्रैग कर सकते हैं। आइफोन में ऐसा संभव नहीं होता। -एंड्रायड फोन इस बात की चिंता नहीं करता की म्यूऔजिक कहां से आ रहा है जबकि आइफोन में आपको आइट्यून की ही मदद से म्यू जिक उपलब्धर हो पाता है। -अपने एंड्रायड फोन को चार्ज करने के लिए आप यूएसबी केबल का उपयोग भी कर सकते हैं लेकिन आइफोन के मामले में आपको ऐपल की प्रोप्रायटरी लाइटनिंग केबल की ही जरूरत होती है। -गूगल प्लेआ स्टोकर आपको कहीं से भी ऐप डाउनलोड करने की अनुमति देता है लेकिन आइफोन में आपको आइट्यून डाउनलोड करना होता है या फिर ऐप स्टोकर को डाउनलोड करना पड़ता है। -आइफोन में आप अपने फोन को केवल फिंगरप्रिंट या फिर पासकोड से ही अनलॉक कर सकते हैं लेकिन एंड्रायड फोन में और भी कई ऑप्श न दिए होते हैं।  

वन विभाग की तत्परता से पकड़े गए तीन आरोपी

मृत हाथी का मामला सुलझा रायपुर, वनमंत्री केदार कश्यप के निर्देशानुसार वन विभाग ने तत्परता से रायगढ़ वनमंडल के अंतर्गत ग्राम केराखोल में एक मृत हाथी का मामला सुलझा लिया गया है। सूचना मिलते ही वनमंडलाधिकारी रायगढ़ के नेतृत्व में वन अमला तत्काल मौके पर पहुँचा और घटना स्थल का निरीक्षण करने पर प्राथमिक जांच में यह स्पष्ट हुआ कि हाथी की मृत्यु बिजली के तार की चपेट में आने से हुई है। स्थल पर जांच के दौरान तार, सूखे पत्ते, मिट्टी के निशान तथा संदिग्ध वस्तुएं मिलीं। साथ ही मृत हाथी के पेट में घाव के निशान, जिसमें लगे हुए स्नेयर को भी जब्त किया गया। उल्लेखनीय है कि वन मंत्री श्री केदार कश्यप ने वन्य अपराध में लिप्त लोगों पर सख्त कार्रवाई करने के निर्देश अधिकारियों को दिए हैं। आरोपियों ने बिजली के तार लगाकर जंगली जानवरों को मारने का किया प्रयास वन विभाग की तीन सदस्यीय पशुचिकित्सा टीम ने मृत हाथी का पोस्टमार्टम किया। प्रारंभिक रिपोर्ट में मृत्यु का कारण विद्युत करंट बताया गया। घटना के बाद पुलिस विभाग को सूचित किया गया तथा तत्काल जांच शुरू की गई। संदिग्ध व्यक्तियों से पूछताछ के दौरान तीन आरोपियों की पहचान हुई, जिसमें वीर सिंग मांझी पिता मेहत्तर मांझी आयु 28 वर्ष, ग्राम केराखोल, रामनाथ राठिया पिता महेश्वर राठिया आयु 42 वर्ष, ग्राम औराईमुड़ा और बसंत राठिया पिता ठाकुर राम राठिया आयु 40 वर्ष, ग्राम केराखोल शामिल है। पूछताछ में आरोपी वीर सिंग मांझी ने स्वीकार किया कि उसने अपने साथियों के साथ मिलकर खेत की रखवाली के लिए बिजली के तार लगाकर जंगली जानवरों को मारने का प्रयास किया था। उसी दौरान हाथी करंट की चपेट में आ गया। आरोपियों ने तार और लोहे का सामान खुद खरीदा था। तीनों आरोपियों को वन अपराध के तहत गिरफ्तार वन अपराध में लिप्त तीनों आरोपियों को वन अपराध के तहत गिरफ्तार किया गया है। इनके विरुद्ध वन्यजीव संरक्षण अधिनियम, 1972 की धारा 9 एवं 51 के अंतर्गत 20 अक्टूबर को अपराध दर्ज कर 21 अक्टूबर को तीनों आरोपियों को न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेज दिया गया। मामले की विस्तृत जांच जारी है।

जघराने की विरासत को मिला नया रूप — नाहरगढ़ में सवाई भवानी सिंह की मोम प्रतिमा का दिया कुमारी ने किया लोकार्पण

 जयपुर जयपुर के नाहरगढ़ किले में स्थित जयपुर वैक्स म्यूजियम में महावीर चक्र से सम्मानित ब्रिगेडियर सवाई भवानी सिंह की वैक्स प्रतिमा का भव्य अनावरण किया गया। उपमुख्यमंत्री और पर्यटन मंत्री दिया कुमारी ने अपने पिता की प्रतिमा का लोकार्पण कर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की। यह विशेष आयोजन महाराजा सवाई भवानी सिंह की जन्म जयंती के अवसर पर आयोजित किया गया, जिससे यह दिन और भी भावनात्मक और गौरवपूर्ण बन गया। समारोह में उनकी वीरता और जीवन यात्रा पर आधारित आठ मिनट की डॉक्यूमेंट्री प्रदर्शित की गई, जिसने उपस्थित अतिथियों को भावुक कर दिया। जयपुर वैक्स म्यूजियम के रॉयल दरबार सेक्शन में स्थापित यह वैक्स प्रतिमा सवाई भवानी सिंह की शौर्य, अनुशासन और देशभक्ति का जीवंत प्रतीक है। कलाकारों ने महीनों तक अनुसंधान और अध्ययन कर इस प्रतिमा को साकार किया। इसका क्ले फेस मॉडल अप्रैल में उनकी पुण्यतिथि पर जारी किया गया था। लोकार्पण के दौरान उपमुख्यमंत्री दिया कुमारी ने कहा कि यह क्षण मेरे लिए अत्यंत गर्व और भावनाओं से भरा है। मेरे पिता केवल हमारे परिवार के नहीं, बल्कि सम्पूर्ण राष्ट्र के गौरव थे। उनकी प्रतिमा जयपुर आने वाले प्रत्येक व्यक्ति को राष्ट्रसेवा और साहस का संदेश देगी। जयपुर वैक्स म्यूजियम के फाउंडर डायरेक्टर अनूप श्रीवास्तव ने कहा कि सवाई भवानी सिंह जी का व्यक्तित्व न केवल राजस्थान, बल्कि पूरे राष्ट्र के लिए प्रेरणा का स्रोत है। हमारा उद्देश्य इतिहास, संस्कृति और वीरता को नई पीढ़ी तक जीवंत रूप में पहुंचाना है। म्यूजियम में पहले से महाराणा प्रताप, सवाई जयसिंह द्वितीय, सवाई माधोसिंह द्वितीय और महारानी गायत्री देवी जैसी ऐतिहासिक विभूतियों की प्रतिमाएं प्रदर्शित हैं। अब ब्रिगेडियर सवाई भवानी सिंह की प्रतिमा के जुड़ने से यह संग्रह और भी समृद्ध हो गया है। कार्यक्रम में सेना के पूर्व अधिकारी, म्यूजियम की टीम, पर्यटन विभाग के अधिकारी और शहर के गणमान्य नागरिक बड़ी संख्या में उपस्थित रहे।

कृषि विभाग हुआ सतर्क, पराली जलाने वालों के लिए हर जिले में अलग नोडल अधिकारी

सिरसा  हरियाणा सरकार द्वारा किसानों को योजनाएं दी जा रही है, जिसका लाभ अब किसान उठाने लगे हैं। यही कारण है कि सिरसा जिले में इस बार पराली के अवशेष जलाने की घटनाओं में बहुत कमी देखने को मिली है। सिरसा जिले के कुछ जगहों को छोड़कर इस बार पराली के अवशेष न जलाकर किसान गांठे बनवा रहे हैं और सरकार द्वारा दी जा रही योजनाओं का लाभ उठा रहे हैं। सिरसा कृषि उपनिदेशक डॉक्टर सुखदेव कंबोज ने इस बारे में जानकारी देते हुए बताया कि इस बार किसान पराली के अवशेष न जलाकर उसकी गांठ बनवा रहे हैं और उन्हें बेचकर मुनाफा भी कमा रहे हैं और सरकार की योजनाओं का लाभ भी ले रहे हैं।  मीडिया से बातचीत करते हुए कृषि उप निदेशक डॉक्टर सुखदेव कम्बोज ने बताया कि सिरसा जिले में इस बार किसानों को जागरूक करने के लिए विभाग की ओर से अलग-अलग जगह पर अभियान चलाए जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि स्कूलों में एक और जहां जागरूकता रैलियां निकाल किसानों और ग्रामीणों को जागरूक किया जा रहा है तो वहीं कृषि विभाग के अधिकारी भी धरातल पर उतरकर किसानों को जागरूक कर रहे हैं। यही कारण है कि इस बार पिछले सालों के मुकाबले कम मामले सामने आए हैं। कृषि उप निदेशक ने बताया कि सिरसा जिले में इस बार 3,91,000 हेक्टेयर में धान की रोपाई की गई है, जिसकी अब तक लगभग 25 प्रतिशत तक कटाई की जा चुकी है। उन्होंने बताया कि अधिकारियों की अलग-अलग गांव में ड्यूटी भी लगाई गई हैं। उन्होंने बताया कि गांव स्तर पर ग्रीन और येलो एरिया में हर 50 किसानों पर एक नोडल अधिकारी भी नियुक्त किया गया है। वहीं, ग्रीन जोन ग्रामीण स्तर पर हर 100 किसानों पर एक नोडल अधिकारी नियुक्त किया गया है और गांव में टीमों की ओर से प्रचार प्रसार किया जा रहा है और किसानों को जागरूक भी किया जा रहा है।  पराली जलाने पर 5 किसानों पर FIR  उन्होंने बताया कि इसको लेकर किसान जागरूक भी हुए हैं लेकिन कुछ किसानों द्वारा एक-दो स्थानों पर आगजनी की सूचना मिलने पर अभी तक कुल पांच किसानों पर एफआईआर दर्ज की गई है और उन पर ₹25000 जुर्माना भी किया गया है साथ ही उन किसानों की रेड एंट्री की गई है, जिससे वह किसान सरकार द्वारा दी जा रही योजनाओं का लाभ न ले सके। उन्होंने बताया कि इस बार जिन किसानों ने फसल के अवशेष जलाए हैं। उनकी रेड एंट्री पंजीकरण पर हुई है जिससे किसान सरकार की योजनाओं का लाभ दो साल तक नहीं उठा पाएंगे।  किसानों से की ये अपील उप निदेशक ने किसानों से अपील करते हुए कहा कि अभी 75% धान की कटाई बाकी है किसान पराली के अवशेष न जलाकर सरकार द्वारा दी जा रही योजनाओं का लाभ अवश्य उठाएं। फसल के अवशेष आसानी से बेच सकते हैं इस बार धान के अवशेषों की मांग ज्यादा है और 175 रुपए से लेकर ₹200 पराली बिक रही है।  

RBI का नया फैसला: ATM से पैसे निकालना अब हो सकता है मुश्किल

पंजाब  ATM यूजर्स के लिए बेहद ही खास खबर सामने आई है। जानकारी के मुताबिक, भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने ATM लेन-देन से जुड़े नए नियम लागू कर दिए हैं, जिनका सीधा असर अब आम ग्राहकों की जेब पर पड़ेगा। जारी हुए नए नियमों में मुफ्त लेन-देन की सीमा, अतिरिक्त शुल्क और नकदी निकालने व जमा करवाने से जुड़े नियम शामिल हैं। RBI के ये नए नियम डिजिटल भुगतान को बढ़ावा देने और बड़े नकद लेन-देन पर निगरानी रखने के उद्देश्य से लागू किए गए। नए नियम:  मेट्रो और नॉन-मेट्रो शहरों के लिए नई सीमाएं मेट्रो शहरों में: हर महीने 3 मुफ्त ATM लेन-देन नॉन-मेट्रो शहरों में: हर महीने 5 मुफ्त ATM लेन-देन इन सीमाओं में कैश निकासी के साथ-साथ बैलेंस चेक और अन्य गैर-वित्तीय लेन-देन भी शामिल लेन-देन पर लगेंगे चार्ज वित्तीय लेन-देन : प्रति लेन-देन 23 रुपए तक शुल्क (GST सहित) गैर-वित्तीय लेन-देन (बैलेंस चेक आदि): 11 रुपए तक शुल्क अब PAN व आधार जरूरी RBI ने काले धन पर रोक लगाने और वित्तीय पारदर्शिता बढ़ाने के लिए नकदी लेन-देन से जुड़े नियम सख्त कर दिए हैं। यदि कोई व्यक्ति एक वित्तीय वर्ष में 20 लाख रुपए या उससे अधिक की नकदी जमा या निकासी करता है, तो उसे PAN नंबर और आधार कार्ड देना अनिवार्य होगा।   ऐसे करें बचाव: ATM का उपयोग सोच-समझकर करें। केवल जरूरत पड़ने पर ही कैश निकालें बैलेंस चेक या मिनी स्टेटमेंट के लिए नेट बैंकिंग या मोबाइल ऐप का उपयोग करें। बार-बार छोटी रकम निकालने से बचें ताकि अतिरिक्त शुल्क न लगे।

Registry कराने वालों के लिए जरूरी खबर, पंजाब सरकार ने किया ऐलान

मोहाली पंजाब सरकार ने मोहाली जिले के विभिन्न कस्बों और गांवों में जमीन के कलेक्टर रेट्स में वृद्धि कर दी है, जिसके बाद आम जनता, किसानों और रियल एस्टेट कारोबार से जुड़े हज़ारों लोग चिंतित हैं। अब रजिस्ट्री कराने की प्रक्रिया महंगी हो जाएगी। इस मामले पर ज़िला कांग्रेस अध्यक्ष रणजीत सिंह जीती पटियाला ने कहा कि मोहाली, खरड़, डेराबस्सी और अन्य क्षेत्रों में कलेक्टर रेट्स में कई बार बढ़ोतरी की जा चुकी है, जिसका असर संपत्ति की खरीद और बिक्री पर प्रतिकूल पड़ेगा। उन्होंने यह भी कहा कि यह फैसला न केवल आम लोगों पर बोझ डालेगा, बल्कि रियल एस्टेट उद्योग और छोटे निवेशकों के लिए भी नुकसानदायक साबित होगा। उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार जनहित की बजाय कुछ बड़े पूंजीपतियों के पक्ष में काम कर रही है। कांग्रेस पार्टी इस मामले को गंभीरता से उठाएगी और सरकार से मांग करेगी कि वह कलेक्टर रेट्स की वृद्धि को तुरंत रद्द करे। उन्होंने कहा कि सरकार को छोटे व्यापारियों और आम लोगों के हितों को ध्यान में रखते हुए कलेक्टर रेट्स पर पुनर्विचार करना चाहिए।

महिलाएं जानें ऑस्टियोपोरोसिस से जुड़े खतरे

ऑस्टियोपोरोसिस एक क्रॉनिक बोन डिसीज है, जिसे हड्डियों का घटता घनत्व और उनके ऊतकों के कम होने के रूप में समझा जा सकता है। पूरी दुनिया में इससे लाखों की संख्या में लोग पीड़ित हैं। इससे फ्रैक्चर का खतरा बढ़ जाता है और जीवन की गुणवत्ता पर असर पड़ता है। इसके प्रति जागरूक रहकर महिलाएं इसके खतरों से बची रह सकती हैं और अपनी हड्डियों को सुरक्षित रख सकती हैं। हींग:-भोजन में इसे डालने का उद्देश्य ही यही होता है क्योंकि इसमें पाचन का गुण मौजूद है। इसकी खुशबू काफी तेज होती है। गैस की स्थिति में हींग काफी फायदेमंद होती है। एक चुटकी हींग को छाछ में नमक के साथ मिलाकर खाने के बाद लेने से पेट दर्द की स्थिति में राहत मिलती है। हींग की हल्की मात्रा पानी में घुल जाती है, इसका पेस्ट बनाकर नाभि के ऊपर लगाएं। इसके टुकड़े का दर्द देते दांत पर रखने से दर्द में राहत मिलती है। ब्रोनकाइटिस की स्थिति में भी हर दिन हींग लेने की सलाह दी जाती है। साइटिका, फेशियल पाल्सी, पैरालिसिस आदि की स्थिति में हींग को घी में भूनकर लेने से काफी लाभ मिलता है। ऑस्टियोपोरोसिस की समस्या क्या होती है… -ऑस्टियोपोरोसिस की समस्या तब होती है जब उनकी हड्डियों का बहुत अधिक नुकसान हो जाता है। लेकिन हड्डियों का निर्माण बहुत कम मात्रा में होता है। या फिर दोनों ही स्थितियां हो सकती हैं। -इसकी वजह से हड्डियां कमजोर हो जाती हैं और आसानी से टूट जाती हैं। -ऑस्टियोपोरोसिस के कारण बोन फ्रैक्चर की समस्या आमतौर पर स्पाइन, हिप और कलाइयों में होती है। किन्हें हैं ऑस्टियोपोरोसिस… -विश्व में लगभग 200 मिलियन महिलाएं ऑस्टियोपोरोसिस से ग्रसित हैं। -पचास साल से अधिक उम्र की तीन में एक महिला को ऑस्टियोपोरोसिस संबंधित फ्रैक्चर होने का खतरा रहता है वहीं पुरुषों में यह अनुपात पांच में से एक है। -ऐसा माना जा रहा है कि 2050 तक एशिया में पूरे विश्व के फ्रैक्चर के पचास प्रतिशत मामले पाए जाएंगे। 45 व उससे अधिक उम्र के लोगों में… ऑस्टियोपोरोसिस के कारण 45 से अधिक उम्र की महिलाएं डायबिटीज, हार्ट अटैक और ब्रेस्ट कैंसर की तुलना में अस्पताल में अधिक भर्ती होती हैं। ये होती है खतरे की बात… -कैल्शियम का कम स्तर और विटामिन डी कम मात्रा में ग्रहण करना -जेंडर -एनॉरेक्जिया -फैमिली हिस्ट्री किसी प्रकार का वजन नहीं उठाने की आदत…. -उम्र -सेक्स हॉर्मोन का निम्न स्तर -धूम्रपान, शराब और कुछ खास प्रकार की दवाएं