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मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने 1 नवंबर मध्यप्रदेश स्थापना दिवस समारोह के संबंध में दिए निर्देश

आत्मनिर्भर भारत और आत्मनिर्भर मध्यप्रदेश के लिए हुए प्रयासों को प्रमुखता से करें प्रदर्शित राजधानी के साथ संभाग और जिला स्तर पर भी हों भव्य कार्यक्रम   भोपाल  मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि 1 नवंबर मध्यप्रदेश स्थापना दिवस उद्योग एवं रोजगार वर्ष की थीम पर मनाया जाए। आत्मनिर्भर भारत और आत्मनिर्भर मध्यप्रदेश को लेकर हुए नवाचारों और विशेष गतिविधियों का प्रभावी रूप से प्रस्तुतीकरण किया जाए। 'रोजगार के मंदिर हैं उद्योग' की थीम के साथ कौशल उन्नयन, तकनीकी शिक्षा, उद्यमशीलता के विकास सहित युवाओं को रोजगार और आत्मनिर्भरता से जोड़ने वाली सभी गतिविधियों का स्थापना दिवस संबंधी कार्यक्रमों में प्रभावी और आकर्षक प्रस्तुतीकरण किया जाए।  साथ ही प्रदेश में धार्मिक, सांस्कृतिक और पर्यटन गतिविधियों से अर्थव्यवस्था में आई गतिशीलता पर भी प्रस्तुतीकरण हों। स्थापना दिवस पर बीते दो वर्षों में हुए नवाचारों को भी प्रदर्शित किया जाए। स्थापना दिवस को राज्य उत्सव के रूप में मनाया जाए। भोपाल में होने वाले राज्य स्तरीय कार्यक्रम के साथ सभी जिला और संभागीय मुख्यालयों पर भी भव्य कार्यक्रम आयोजित हों। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने 1 नवंबर मध्यप्रदेश स्थापना दिवस समारोह के संबंध में मंत्रालय में सोमवार को हुई बैठक में यह निर्देश दिए। प्रसिद्ध पार्श्व गायक श्री जुबिन नौटियाल एक नवम्बर को देंगे प्रस्तुति बैठक में बताया गया कि मध्यप्रदेश स्थापना दिवस 1 नवंबर को भोपाल में होने वाले राज्य स्तरीय कार्यक्रम में प्रसिद्ध पार्श्व गायक श्री जुबिन नौटियाल प्रस्तुति देंगे। लाल परेड ग्राउंड में होने वाले इस कार्यक्रम में श्रीकृष्ण के भक्ति पदों की प्रस्तुति के साथ ही विरासत से विकास की थीम पर ड्रोन-शो होगा। साथ ही आतिशबाजी भी होगी। मध्यप्रदेश स्थापना दिवस पर दो और तीन नवंबर को राज्य स्तरीय कार्यक्रम में लाल परेड ग्राउंड पर महानाट्य -सम्राट विक्रमादित्य की प्रस्तुति होगी। साथ ही दो एवं तीन नवम्बर को सुगम संगीत की प्रस्तुतियां भी होंगी। औद्योगिक विकास और अर्थव्यवस्था की उपलब्धियां भी होंगी प्रदर्शित मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि स्थापना दिवस समारोह की गतिविधियों में विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं और विकास कार्यों के हितग्राहियों को भी शामिल किया जाए। उनके सम्मेलन और रैलियां आयोजित हों। साथ ही जिलों में प्रमुख उद्योगपतियों और प्रदेश की अर्थव्यवस्था में योगदान देने वाले व्यक्तियों और समूहों की उपलब्धियों को भी शामिल किया जाए। प्रदेश के सभी अंचलों में समान रूप से गतिविधियां हों, हर जिला अपनी प्रगति और उपलब्धियों जिला स्तर पर प्रस्तुत करे। साथ ही स्व-सहायता समूह और आईटीआई, पॉलिटेक्निक सहित अन्य संस्थाओं द्वारा युवाओं, महिलाओं के सशक्तिकरण के लिए किए गए प्रयासों, कृषक संगठनों द्वारा किसान कल्याण के लिए संचालित गतिविधियों के प्रदर्शन को भी समारोह का हिस्सा बनाया जाए। विभिन्न विषयों पर प्रदर्शनियों के साथ लगेगा देशज व्यंजनों का मेला बैठक में बताया गया कि स्थापना दिवस पर जननायकों के जीवन और अवदान पर भोपाल और जिला मुख्यालयों पर प्रदर्शनी आयोजित की जाएगी। इसके साथ 'एक जिला-एक उत्पाद', सम्राट विक्रमादित्य और अयोध्या, सम्राट विक्रमादित्य के सील और सिक्के, मंदिर स्थापत्य तथा भारतीय ऋषि परम्परा पर प्रदर्शनियों को आयोजन किया जाएगा। इसी क्रम में एक से 3 नवम्बर तक वन मेला, ड्रोन टैक वर्कशॉप और एक्सपो, मध्यप्रदेश की पारंपरिक कला प्रदर्शनी, प्रदेश में विरासत से विकास, प्रदेश की बावड़ियों, भोज और भोपाल आदि विषय पर प्रदर्शनी और देशज व्यंजनों का मेला भी आयोजित किया जाएगा। बैठक में मुख्य सचिव श्री अनुराग जैन, अपर मुख्य सचिव श्री संजय दुबे, श्री नीरज मंडलोई, श्री संजय शुक्ला, श्री शिवशेखर शुक्ला, प्रमुख सचिव श्री राघवेंद्र सिंह और मुख्यमंत्री के संस्कृति सलाहकार श्री श्रीराम तिवारी उपस्थित थे।  

मध्यप्रदेश का अन्नदाता अब बन रहा है ऊर्जादाता: मुख्यमंत्री डॉ यादव

किसान हमारी अर्थव्यवस्था की हैं रीढ़: मुख्यमंत्री डॉ यादव मध्यप्रदेश का अन्नदाता अब बन रहा है ऊर्जादाता किसानों का कल्याण सर्वोपरि, किसान हित में करेंगे सभी प्रयास सूखे खेत को पानी मिल जाये तो फसल हो जाती है सोना हम हर खेत तक पहुंचायेंगे पानी किसानों की खुशहाली ही हमारे विकास का है मुख्य आधार मुख्यमंत्री ने सोलर पंप स्थापना के लिये की किसानों को 90 प्रतिशत सब्सिडी देने की घोषणा विद्युत पंप से एक स्टेप अधिक पॉवर केपिसिटी का दिया जायेगा सोलर पंप सोयाबीन पर भावांतर भुगतान के उपलक्ष्य में मुख्यमंत्री निवास में हुआ किसान आभार सम्मेलन भोपाल और नर्मदापुरम संभाग के 3 हजार से अधिक किसान हुए शामिल भोपाल मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि हमारे किसान भाई ही मध्यप्रदेश की अर्थव्यवस्था की रीढ़ हैं। किसानों का हित हमारे लिए सर्वोपरि है। सरकार का हर निर्णय किसानों के कल्याण को ध्यान में रखकर लिया जा रहा है। किसानो की भलाई के लिए हमारी सरकार हर जरूरी कदम उठायेगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार हर संभव तरीके से किसानों की आय बढ़ाकर उनकी माली हालत मजबूत करने के लिए प्रयासरत है। भावांतर योजना किसानों को खुले बाजार में फसलों की कीमतों के उतार-चढ़ाव से सुरक्षा देती है। यह योजना किसान हित में सरकार की एक बड़ी पहल है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव शनिवार को मुख्यमंत्री निवास परिसर में 'सोयाबीन पर भावांतर भुगतान के उपलक्ष्य में' आयोजित किसान आभार सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि सूखे खेत को अगर पानी दे दिया जाये, तो फसल सोना हो जाती है, हम प्रदेश के हर खेत तक पानी पहुंचायेंगे। मध्यप्रदेश के अन्नदाता अब ऊर्जादाता बन रहे हैं। किसान भाई अपने खेतों में सोलर पंप जरूर लगाएं। सोलर पंप लगाने से बिजली के अस्थाई कनेक्शन के खर्च से मुक्ति मिलेगी। मुख्यमंत्री ने किसानों के हित में एक बड़ी घोषणा करते हुए कहा कि सोलर पॉवर पंप स्थापना के लिये किसानों को अब 90 प्रतिशत सब्सिडी दी जाएगी। पहले 40 प्रतिशत सब्सिडी दी जाती थी। मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों को विद्युत पंप से एक स्टेप अधिक पॉवर केपिसिटी का सोलर पॉवर पंप दिया जायेगा अर्थात् 3 HP वाले किसान को 5 HP का सोलर पॉवर पंप और 5 HP वाले किसान को 7.5 HP का सोलर पॉवर पंप दिया जायेगा। मुख्यमंत्री ने किसान आभार सम्मेलन में पारम्परिक वेशभूषा में सांस्कृतिक प्रस्तुति देने वाले सभी कलाकारों को 5-5 हजार रूपए देने की घोषणा भी की। इससे पहले मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने दीप प्रज्ज्वलन तथा भगवान हलधर बलराम एवं भारत माता के चित्र पर माल्यार्पण कर सम्मेलन की विधिवत् शुरूआत की। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि किसान भाइयों की मेहनत से ही प्रदेश की जीडीपी में कृषि 39 प्रतिशत से अधिक का योगदान देती है। किसान भाई सच्चे अर्थों में मध्यप्रदेश की अर्थव्यवस्था की रीढ़ हैं। उन्होंने कहा कि खाद्यान्न, दलहन, तिलहन, फलों और सब्जियों के उत्पादन की दृष्टि से मध्यप्रदेश देश में अग्रणी है। प्लांट बेस्ड प्रोटीन के उत्पादन के मामले में भी हम कम नहीं हैं। संतरा, मसाले, लहसुन, अदरक और धनिया उत्पादन में मध्यप्रदेश नंबर वन है। मटर, प्याज, मिर्च, अमरूद उत्पादन में दूसरे तथा फूल, औषधीय एवं सुंगधित पौधों के मामले में तीसरे स्थान पर मध्यप्रदेश है। उन्होंने कहा कि आज मध्यप्रदेश सोयाबीन स्टेट, मिलेट्स स्टेट, मसाला स्टेट, लहसुन स्टेट और संतरा स्टेट के रूप में प्रसिद्ध होकर देश का फूड बास्केट कहलाने लगा है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि खेती-किसानी के लिए जल अमृततुल्य होता है। इसीलिए जल-संरक्षण के हर जरूरी उपाय कर जल अवश्य बचायें। हमारी सरकार ने प्रदेश के सभी अंचलों में सिंचाई की सुविधा उपलब्ध कराने के लिए 3 बड़ी नदी जोड़ो परियोजनाओं पर काम प्रारंभ किया है। राजस्थान के साथ पार्वती-काली सिंध-चंबल (पीकेसी) नदी जोड़ो से बुंदेलखंड और चंबल, उत्तरप्रदेश के साथ केन-बेतवा से बुंदेलखंड और महाराष्ट्र के साथ ताप्ती मेगा रिचार्ज परियोजना से हम प्रदेश के सभी अंचलों में सिंचाई की स्थाई सुविधा उपलब्ध कराने की ओर बढ़ रहे हैं। उन्होंने कहा कि किसान धरती माता के वास्तविक पुत्र हैं। मध्यप्रदेश नदियों का मायका है। प्रदेश में 250 से अधिक नदियां निकलती हैं। मां नर्मदा प्रदेश के किसानों के लिए वरदान है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि राज्य सरकार किसानों को अनुदान पर सोलर पंप प्रदान कर रही है। किसान को 90 प्रतिशत अनुदान पर सोलर पंप दे रहे हैं। किसानों को 32 लाख सोलर पंप दिए जा रहे हैं। किसान 5 हॉर्स पावर तक के सोलर पंप लगाएं। बिजली का खर्च बढ़ाएं और अतिरिक्त बिजली सरकार को बेचें। हमारी सरकार आने पर प्रदेश में अब 52 लाख हेक्टेयर रकबा सिंचित हुआ है। नदी जोड़ो योजना के माध्यम से किसानों को सिंचाई के लिए पर्याप्त जल उपलब्ध करा रहे हैं। किसानों की फसल को पानी मिल जाए, फसल सोने की हो जाती है। राज्य सरकार ने सिंचाई का रकबा 100 लाख हेक्टेयर तक करने का लक्ष्य रखा है। किसानों को उनकी फसल का समुचित दाम मिले, इसके लिए फूड प्रोसेसिंग यूनिट्स भी स्थापित की जा रही हैं, जिससे अधिक उत्पादन होने पर किसान भाइयों को फसल फेकनी न पड़े। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि पहले फसल का सीजन निकल जाने पर मुआवजे की राशि भेजी जाती थी। लेकिन अब राज्य सरकार ने सोयाबीन की फसल काटने से पहले ही राशि बांटना शुरू कर दिया है। किसानों की परेशानी किसान का बेटा ही समझ सकता है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मार्गदर्शन में प्रदेश के किसानों के लिए भावांतर योजना का लाभ मिल रहा है। उन्होंने कहा कि किसान भाई पवित्र मन से दूसरों का पेट भरने के लिए अन्न उगाते हैं। पुरानी सरकारों ने मां नर्मदा के जल का उपयोग नहीं किया। आज वही नर्मदा सिंचाई, पेयजल और उद्योगों को पानी उपलब्ध कराती है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि सभी गोपालक किसान धूमधाम से गोवर्धन पूजा का त्यौहार मनाएं। राज्य सरकार शासकीय स्तर पर गोवर्धन पूजा का त्यौहार मनाएगी। प्रदेश में प्रभु राम के ओरछा धाम को भव्य रूप दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि राम वन गमन पथ भी विकसित कर रहे हैं। भगवान कृष्ण से जुड़े हर स्थान को तीर्थ के रूप में विकसित कर रहे हैं। किसान भाई … Read more

18 अक्टूबर को मुख्यमंत्री डॉ. यादव करेंगे राजगढ़ एवं सीहोर जिलों के कार्यक्रमों में शिरकत

मुख्यमंत्री डॉ. यादव 18 अक्टूबर को राजगढ़ एवं सीहोर जिले के कार्यक्रमों में होंगे शामिल ब्यावरा में प्राकृतिक आपदा से प्रभावित किसानों के खातों में 277 करोड़ की राहत राशि का होगा अंतरण सीहोर के बिलकिसगंज में 118 करोड़ से अधिक की राशि होगी अंतरित भोपाल मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव 18 अक्टूबर को राजगढ़ एवं सीहोर जिले के कार्यक्रमों में शामिल होंगे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ब्यावरा में प्राकृतिक आपदा से प्रभावित किसानों को 277 करोड़ रूपये की राहत राशि का अंतरण करेंगे एवं 33 करोड़ रूपये की लागत की ब्यावरा में नगर जल प्रदाय योजना का भूमिपूजन करेंगे। मुख्यमंत्री 193 करोड़ रूपये लागत के 41 विकास कार्यों का भी भूमिपूजन एवं लोकार्पण करेंगे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव सीहोर जिले के बिलकिसगंज में आयोजित होने वाले कार्यक्रम में जिले के 02 लाख से अधिक किसानों को फसल क्षति की 118 करोड़ रूपये से अधिक की राशि का सिंगल क्लिक के माध्यम किसानों के खाते में अंतरण करेंगे।  

किसान सम्मेलन का आयोजन: भोपाल और नर्मदापुरम संभाग के किसान होंगे शामिल

भोपाल  मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के मुख्य आतिथ्य में शनिवार 18 अक्टूबर को मुख्यमंत्री निवास पर किसान सम्मेलन का आयोजन किया जाएगा। सम्मेलन में नर्मदापुरम, भोपाल, सीहोर, राजगढ़, रायसेन एवं विदिशा जिले से लगभग 2500 किसान शामिल होंगे। भावांतर योजना की दी जाएगी जानकारी सम्मेलन में किसानों को भावांतर योजना के संबंध में जानकारी दी जाएगी एवं योजना का अधिकाधिक लाभ उठाने के लिए प्रेरित किया जाएगा। योजना अंतर्गत किसान 24 अक्टूबर 2025 से 15 जनवरी 2026 तक मंडी में फसल बेच सकेंगे। किसानों को 15 दिवस में भावांतर की राशि उनके आधार लिंक बैंक खातों में सीधे अंतरित की जाएगी। भावांतर योजना के ई-उपार्जन पोर्टल पर पंजीयन 17 अक्टूबर तक होंगे।  

प्रदेश में चलाया गया दुग्ध समृद्धि सम्पर्क अभियान

भोपाल मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि गो-माता और गो-पालन का हमारी सनातन संस्कृति में महत्वपूर्ण स्थान है। जो गो-पालन करता है वह गोपाल है और जहां गो-पालन होता है वह घर गोकुल है। गो-संरक्षण एवं संवर्धन सरकार की उच्च प्राथमिकता है, जिसके लिए सरकार समाज के सहयोग से निरंतर कार्य कर रही है। मध्यप्रदेश में दुग्ध उत्पादन को बढ़ाकर पशुपालक किसानों की आय को दोगुना किया जाएगा। मध्यप्रदेश अपनी प्राकृतिक संपदा के साथ गो-वंश से समृद्ध राज्य है। देश के दुग्ध उत्पादन का लगभग 9प्रतिशत मध्यप्रदेश में होता है। हमारी सरकार का लक्ष्य है इसे 20 प्रतिशत तक ले जाना। इसके लिए प्रदेश के गांव-गांव में दुग्ध समृद्ध‍ि संपर्क चलाया जा रहा है, जिसके अंतर्गत पशु चिकित्सक घर-घर जाकर पशुपालकों को दुग्ध उत्पादन बढ़ाने के विभिन्न आधुनिक तरीकों, पशुओं में नस्ल सुधार, पशु स्वास्थ्य एवं पशु पोषण आदि के संबंध में जानकारी दे रहे हैं। प्रदेश में वर्ष 2024-25 को गो-संरक्षण एवं संवर्धन वर्ष के रूप में मनाया गया। हर जिले में मनाया जाएगा गोवर्धन पर्व मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रदेश में 21 अक्टूबर को गोवर्धन पर्व लोक अनुष्ठान और सांस्कृतिक परंपराओं के अनुसार मनाया जाए। आयोजन में गौशालाओं तथा पशुपालकों को विशेष रूप से सहभागी बनाया जाए। साथ ही गोवर्धन पर्व पर पशुपालन तथा दुग्ध उत्पादन के क्षेत्र में विशेष उपलब्धियां दर्ज करने और नवाचार करने वाले उद्यमियों को सम्मानित भी किया जाएगा। प्रदेश की गौ-शालाओं में गोवर्धन पर्व का सामुदायिक आयोजन होगा। गोवर्धन पर्व का मुख्य आयोजन रवीन्द्र भवन भोपाल में किया जाएगा, जिसमें गोवर्धन पूजन, परिक्रमा, अन्नकूट भोग मुख्य होगा। इस अवसर पर पशुचारक समुदायों की कला, बरेदी और ठाट्या नृत्य आदि का प्रस्तुतीकरण होगा। कार्यक्रम में जैविक उत्पादक, दुग्ध उत्पाद, गोबर आधारित शिल्प के स्टॉल लगाए जाएंगे, साथ ही पशुपालन, कृषि, सहकारिता विभाग की योजनाओं की जानकारी देने के लिए विशेष व्यवस्था होगी। इसके साथ ही ग्रामीण आजीविका के लिए दुग्ध उत्पादन और वृंदावन ग्राम योजना के विस्तार के लिए भी गतिविधियों का संचालन होगा। गोवर्धन पर्व पर सभी जिलों में गतिविधियां संचालित की जाएंगी। आंगनवाड़ी केंद्रों में पंचगव्य उत्पाद जैसे घी, दूध, पनीर और दही से बनी सामग्री का वितरण किया जाएगा। प्रदेश में चलाया गया दुग्ध समृद्धि सम्पर्क अभियान राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की जयंती 2 अक्टूबर से पूरे प्रदेश में दुग्ध समृद्धि संपर्क अभियान चलाया गया। अभियान के अंतर्गत गांव गांव में घर-घर जाकर पशुपालकों को पशुओं में नस्ल सुधार, कृत्रिम गर्भाधान, पशुओं के टीकाकरण, उनकी स्वास्थ्य रक्षा, संतुलित पशु आहार, पशु पोषण आदि के बारे में तकनीकी और व्यावहारिक जानकारी दी गई। पशुपालकों को उपलब्ध संसाधनों में कम खर्च पर अधिक दूध उत्पादन करने और ज्यादा लाभ कमाने के बारे में जागरूक किया गया। अभियान के प्रथम चरण के अंतर्गत विभाग के अधिकारी–कर्मचारियों द्वारा 10 या अधिक गौवंश–भैंस वंश पालने वाले पशुपालकों से संवाद करने के लक्ष्य अनुसार समस्त जिलों में तीन लाख 70 हजार से अधिक पशुपालकों से उनके घर पहुंचकर भेंट की और उन्हें पशुपालन के संबंध में जानकारी दी, साथ ही उनकी समस्याओं का निराकरण भी किया। अभियान के दौरान मुख्य फोकस पशुओं के दुग्ध उत्पादन को बढ़ाकर पशुपालकों की आमदनी बढ़ाने पर रहा. अभियान के अंतर्गत विभिन्न क्षेत्रों में मंत्रीगण, सांसद, विधायक, अन्य जनप्रतिनिधि, संभागीय आयुक्त, जिलों के कलेक्टर, जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी एवं अन्य अधिकारियों और समाज के गणमान्य व्यक्तियों द्वारा भी विभिन्न स्थानों पर पशुपालकों से भेंट की गई और उन्हें दूध उत्पादन और पशुपालन से ज्यादा लाभ उठाने के बारे में आवश्यक जानकारी प्रदान की गई एवं पशुपालकों के अनुभव भी साझा किए गए। किसानों और पशुपालकों ने भी उत्साहपूर्वक इस अभियान में सहभागिता की। गो-शालाओं की अनुदान राशि में वृद्धि मध्यप्रदेश शासन गो-पालन, गो-संवर्धन व गो-वंश के बेहतर व्यवस्थापन के लिए कृत संकल्पित है। राज्य शासन ने गो-शालाओं में गो-वंश के आहार आदि के लिए दी जाने वाली अनुदान राशि को 20 रुपये प्रति गो-वंश प्रतिदिन से बढ़ाकर 40रुपये प्रति गो-वंश प्रतिदिन कर दिया है। गो-शालाओं में उपलब्ध गो-वंश के भरण-पोषण के लिए 2 वर्ष पहले तक 90 करोड़ रूपये का बजट था, जिसे पिछले वर्ष बढ़ा कर 250 करोड रूपये किया गया। वित्त वर्ष 2025-26 में इस राशि को बढ़ा कर 600 करोड़ रूपये कर दिया गया है। गो-वंश के व्यवस्थापन के लिए डीबीटी के माध्यम से अनुदान की राशि सीधे गो-शालाओं के बैंक खातों में अंतरित की जा रही है। प्रत्येक माह लगभग 50 करोड़ रूपये की राशि गो-शालाओं को अंतरित की जा रही है। 1000 से अधिक नवीन गो- शालाएं वर्तमान में प्रदेश में 2900 गो-शालाएं संचालित है, जिनमें लगभग 4 लाख 25 हजार गो-वंश का व्यवस्थापन किया जा रहा है। ग्रामीण क्षेत्र में मुख्यमंत्री गो-सेवा योजना के अंतर्गत 2203 गो-शालाएं निर्मित कर संचालित की जा रही हैं, जिनमें 2 लाख 11हजार गो-वंश का व्यवस्थापन किया जा रहा है। विगत एक वर्ष में 1000 से अधिक नवीन गो-शालाएं प्रारंभ की गई हैं, जिनमें एक लाख से अधिक गो-वंश का व्यवस्थापन किया जा रहा है। नगरीय क्षेत्रों में उपलब्ध गो-वंश के आश्रय एवं भरण-पोषण के लिए नगर पालिक निगम ग्वालियर, उज्जैन औरइंदौर में वृहद गौशालाएं खोली गई हैं। भोपाल में 69.18 एकड़ भूमि पर 10,000 गौवंश क्षमता की वृहद गो-शाला का निर्माण कार्य किया जा रहा है, जिसकी कुल लागत लगभग 45करोड़ रूपये है। 

प्रधानमंत्री मोदी और गृहमंत्री शाह के नेतृत्व में लागू की गई रणनीति से वामपंथी उग्रवाद समाप्ति की ओर : मुख्यमंत्री डॉ. यादव

नक्सलियों द्वारा हथियार त्याग कर मुख्यधारा में लौटने की घटना ऐतिहासिक दो दिन में छत्तीसगढ़ में 170 और महाराष्ट्र में 61 सहित देश में कुल 258 वामपंथी उग्रवादियों के आत्मसमर्पण की उपलब्धि भोपाल  मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के मार्गदर्शन और गृहमंत्री श्री अमित शाह के नेतृत्व में लागू की गई रणनीति से वामपंथी उग्रवाद समाप्ति की ओर है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने केन्द्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह द्वारा सोशल मीडिया पर छत्तीसगढ़ में गुरूवार को और महाराष्ट्र में बुधवार को नक्सलियों के आत्मसमर्पण के संबंध में दी गई जानकारी पर प्रतिक्रिया व्यक्त की। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि छत्तीसगढ़ में 170 और महाराष्ट्र में बुधवार को 61 नक्सलियों ने हथियार त्याग कर मुख्यधारा में लौटने का कार्य किया है। यह घटना एक ऐतिहासिक उपलब्धि है। मुख्यमंत्री डॉ यादव ने कहा कि हिंसा छोड़कर आत्मसमर्पण कर मुख्यधारा में लौटने वालों का सदैव स्वागत है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि हमारे सुरक्षा बल नक्सलवाद के खिलाफ कठोर कार्रवाई करने में तत्पर रहते हैं। उल्लेखनीय है कि गत दो दिवस में 258 वामपंथी उग्रवादियों ने हिंसा का रास्ता छोड़ा है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री मोदी और केन्द्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह के नेतृत्व में सरकार की निरंतर कोशिशों का ही यह परिणाम है कि देश में नक्सलवाद दम तोड़ रहा है। नक्सलियों के विरुद्ध हमारी नीति स्पष्ट है, जो हिंसा त्यागना चाहते हैं उनका स्वागत है। लेकिन जो लोग हथियार उठाए रहेंगे, उन्हें हमारी सुरक्षा बलों की कठोर कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि सभी नक्सलियों से मेरी अपील है कि वे अपने हथियार त्याग दें और मुख्यधारा में लौट आएं।  

ओरछा में हो रहे हैं 239 करोड़ रूपए से अधिक लागत के कई निर्माण कार्य

प्रदेश में ओरछा सहित हो रहा 18 लोकों का निर्माण निवाड़ी प्रदेश का दूसरा जिला, जहां हर घर नल से पहुंच रहा है जल पृथ्वीपुर में 3200 करोड़ रूपए से 300 हेक्टेयर में हो रही इंटीग्रेटेड स्टील प्लांट की स्थापना श्रीराम राजा लोक के निर्माण के दूसरे चरण के कार्यों का हुआ भूमिपूजन मुख्यमंत्री ने 332.85 करोड़ के विकास कार्यों का किया भूमिपूजन एवं लोकार्पण भोपाल  मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि श्रीराम का नाम ही काफी है। यथा नाम तथा गुण। राम अपने गुणों से, अपने आचरण से, अपनी पितृभक्ति से और प्रजाजन का पालनहार बनकर मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्रीराम बने। ओरछावासी बड़े ही भाग्यशाली हैं कि भगवान श्रीराम ने अपने दरबार के लिए ओरछा को चुना। ओरछा के लोगों को हर दिन अवधपति श्रीराम राजा सरकार के दरबार दर्शन का पुण्य मिलता है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव बुधवार को निवाड़ी जिले के ओरछा में श्रीराम राजा लोक के दूसरे चरण के निर्माण कार्यों के भूमिपूजन सहित अन्य‍ विकास कार्यों के भूमिपूजन एवं लोकार्पण समारोह को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने वैदिक मंत्रोच्चार के बीच पूर्ण विधि-विधान से पूजन-अर्चन कर श्रीराम राजा लोक में दूसरे चरण के निर्माण कार्यों का भूमिपूजन किया। इससे पहले मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने ओरछा के प्रमुख मंदिर पहुंचकर श्रीराम राजा सरकार के दरबार में दर्शन कर पूजा-अर्चना की। मुख्यमंत्री ने श्रीराम राजा लोक के भव्य निर्माण के लिए पहले चरण में मंजूर एवं वर्तमान में निर्माणाधीन कार्यों का मौके पर जाकर अवलोकन भी किया। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि ओरछा के साथ चित्रकूट में भी करीब 2200 करोड़ रूपए के निर्माण कार्य चल रहे हैं। श्रीराम वन गमन पथ और श्रीकृष्ण के लीला स्थलों को तीर्थ क्षेत्र बनाया जाएगा। इसके लिए सरकार ने राशि मंजूर कर दी है। कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री ने मध्यप्रदेश इलेक्ट्रानिक विकास निगम एवं एक एनजीओ के बीच करार की प्रक्रिया पूरी होने पर संस्था को लेटर ऑफ अवार्ड भी प्रदान किया। निवाड़ी को नगर पालिका परिषद का दर्जा शीघ्र मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने निवाड़ी शहर को 'नगर पालिका परिषद' का दर्जा देने के लिए जल्द ही परीक्षण कराने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि ओरछा को धार्मिक पर्यटन सहित एयर एम्बुलेंस एवं हेलीकॉप्टर सेवाओं से भी जोड़ा जाएगा। इसके लिए एयर स्ट्रीप बनाई जाएगी। मुख्यमंत्री ने नेंदुआ के प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र का उन्नयन कर नया अस्पताल बनाने की घोषणा की। साथ ही क्षेत्रीय आवश्यकताओं की पूर्ति के लिए नए सड़क मार्गों के निर्माण की भी घोषणा की गई। 332 करोड़ के विकास कार्यों की सौगात मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि अयोध्या और ओरछा का 500 साल से अधिक पुराना नाता है। ओरछा के बुंदेला शासक मधुकर शाह की महारानी कुंवरि गणेश जो भगवान श्रीराम की उपासक थीं, 16वीं शताब्दी में भगवान श्रीराम को अयोध्या से लेकर ओरछा आई थीं। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि ओरछा में जिस रूप में श्रीराम राजा पूजे जाते हैं, वैसे कहीं और नहीं पूजे जाते। उन्होंने ओरछा के विषय में बताया कि मर्यादा पुरूषोत्तम श्रीराम अपना दिन ओरछा में ही बिताते हैं, केवल शयन करने के लिए ही अयोध्या जाते हैं। उन्होंने कहा‍कि आज निवाड़ी जिले को 332.85 करोड़ रुपए की लागत के 21 से अधिक विकास कार्यों की सौगात मिली है। क्षेत्रवासियों को नया सांदीपनि विद्यालय और नया शासकीय महाविद्यालय भी आज मिला है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रभु श्रीराम की अनंत कृपा से हम ओरछा में एक दिव्य और भव्य श्रीराम राजा लोक का निर्माण कर रहे हैं। आज श्रीराम राजा लोक निर्माण के पहले चरण के 130 करोड़ रुपए की लागत वाले विभिन्न कार्यों का लोकार्पण और शिलान्यास भी हो रहा है। उन्होंने कहा कि आज ही श्रीराम राजा लोक के दूसरे चरण के लगभग 125 करोड़ रूपए की लागत वाले दूसरे चरण के निर्माण कार्यों की आधारशिला भी रखी जा रही है। साथ ही यहां के ऐतिहासिक स्मारकों के संरक्षण एवं पुरातात्विक परिसर का भूमिपूजन भी किया जा रहा है। देशी-विदेशी पयर्टकों को मिलेगी सुविधा मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा‍कि श्रीराम राजा लोक के पहले चरण में लगभग 5.50 करोड़ रूपए की लागत से तैयार 103 नवीन दुकानों एवं प्लाज़ा का लोकार्पण भी आज ही किया जा रहा है। यह विकास कार्य ओरछा आने वाले देशी-विदेशी पर्यटकों की सुविधाओं में और अधिक इजाफा करेंगे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा कि ओरछा में श्रीराम राजा लोक के निर्माण के दोनों चरणों सहित सात विभिन्न प्रकार की विकास परियोजनाओं पर करीब 239 करोड़ रुपए से अधिक की लागत के कई निर्माण कार्य प्रगति पर हैं। यह सभी कार्य श्रीराम राजा सरकार के चरणों में अर्पित हैं। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि निवाड़ी प्रदेश का दूसरा जिला जहां हर घर में नल से जल इंटीग्रेटेड स्टील प्लांट की स्थापना होगी। प्रदेश का दूसरा ऐसा जिला है, जहां हर घर में नल से जल पहुंच रहा है। निवाड़ी केन-बेतवा परियोजना से भी लाभान्वित होने जा रहा है। इससे संपूर्ण क्षेत्र को भरपूर लाभ मिलेगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि श्रीराम राजा लोक के निर्माण से ओरछा में धार्मिक एवं पर्यटन आधारित अर्थव्यवस्था का निर्माण होगा। क्षेत्र का विकास होगा, रोजगार के नए अवसर सृजित होंगे। उन्होंने कहा कि लाड़पुरा खास एवं राधापुर ग्राम की महिलाओं द्वारा संचालित होम-स्टे मध्यप्रदेश में पहले एवं दूसरे स्थान पर रहे हैं। इस वर्ष चंदपुरा तथा जमुनियां खास में एक दर्जन नए होमस्टे प्रारंभ किए जाएंगे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने बताया‍कि निवाड़ी औद्योगिक विकास में भी आगे आ रहा है। जिले के पृथ्वीपुर में पेसिफिक इंडस्ट्री मेटल लिमिटेड द्वारा 3200 करोड़ रूपए की लागत से करीब 300 हेक्टेयर भूमि में 'इंटीग्रेटेड स्टील प्लांट' की स्थापना की जा रही है। इससे बड़ी संख्या में जिले के युवाओं को ही रोजगार मिलेगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि ओरछा अब वैश्विक पर्यटन स्थल के रूप में नई पहचान बनाने की ओर अग्रसर है। पर्यटन मंत्रालय भारत सरकार द्वारा ओरछा में पर्यटन अधोसंरचनाओं और सुविधाओं के विकास के लिए स्वदेश दर्शन योजना 2.0 के तहत टूरिस्ट एक्सपीरियंस सेंटर, हुनरशाला, एंट्री प्लाजा के साथ यात्रा पथ का विकास किया जाएगा। उन्होंने बताया कि ओरछा को यूनेस्को की एच.यू.एल. (हिस्टोरिकल अर्बन लैंडस्केप) पहल के तहत चुना गया है। … Read more

कानून की नजर में अधिकारी-कर्मचारी और आमजन सभी समान हैं: मुख्यमंत्री डॉ. यादव

कानून का उल्लंघन करने वालों को बख्शा नहीं जाएगा : मुख्यमंत्री डॉ. यादव कानून की नजर में अधिकारी-कर्मचारी और आमजन सभी समान हैं: मुख्यमंत्री डॉ. यादव प्रदेश को अपराध मुक्त बनाने और नागरिकों की सुरक्षा के लिए हम प्रतिबद्ध हैं: मुख्यमंत्री डॉ. यादव मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने सिवनी प्रकरण में हुई कार्रवाई पर की मीडिया से चर्चा भोपाल  मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि कानून का उल्लंघन करने वाले किसी भी व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा। कानून की नजर में अधिकारी-कर्मचारी और आम जन सभी समान हैं और जो भी गलती करेगा उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। सिवनी प्रकरण में लिप्त पुलिस के सभी अधिकारियों-कर्मचारियों पर कायमी होने के साथ-साथ उनके विरुद्ध कार्रवाई भी की गई है। राज्य सरकार कानून व्यवस्था के प्रति विशेष संवेदनशील है। प्रदेश को अपराध मुक्त बनाने और नागरिकों की सुरक्षा के लिए हम प्रतिबद्ध हैं। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने सिवनी हवाला मनी लूट मामले में दोषी पुलिस अधिकारियों और कर्मचारियों के विरूध एफआईआर दर्ज करने के संबंध में मंत्रालय में मीडिया से चर्चा में यह विचार व्यक्त किए। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि पुलिस अधिकारियों-कर्मचारियों पर नागरिकों के हित और अधिकारों की सुरक्षा का दायित्व है, उनके द्वारा अमानत में खयानत निंदनीय और अक्षम्य है। जिन पर आम जन को लूट और अपराध से बचाने का दायित्व है यदि वे ही यह करने लगे तो अराजकता फैलेगी। सिवनी प्रकरण में दोषी पाए गए अधिकारियों-कर्मचारियों के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की जा रही है। प्रदेश में कानून सबके लिए बराबर है, यह भावना स्थापित करने के लिए यह कार्यवाही मिसाल बनेगी। प्रधानमंत्री  मोदी के नेतृत्व में हम आमजन की बेहतरी और कल्याण के लिए समर्पित हैं। बेहतर कार्य के लिए हम अधिकारियों और कर्मचारियों को प्रोत्साहन देंगे लेकिन कोई गलती करेगा तो उसे दण्डित किया जाएगा।  

स्थापना दिवस से अटल जी की जयंती 25 दिसंबर तक राज्योत्सव के रूप में होंगे अनेक कार्यक्रम

इस वर्ष स्थापना दिवस की थीम होगी उद्योग एवं रोजगार : मुख्यमंत्री डॉ. यादव स्थापना दिवस से अटल जी की जयंती 25 दिसंबर तक राज्योत्सव के रूप में होंगे अनेक कार्यक्रम मुख्यमंत्री डॉ. यादव मंत्रि-परिषद की बैठक से पहले किया संबोधन भोपाल मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने मंगलवार को मंत्रालय में मंत्रिपरिषद की बैठक से पहले अपने संबोधन में कलेक्टर कमिश्नर कॉन्फ्रेंस में हुए भावांतर योजना, केन्द्र सरकार द्वारा प्रदेश को रेलवे के क्षेत्र में मिली सौगातों और सूक्ष्म, लघु, मध्यम उद्यम विभाग द्वारा 13 अक्टूबर को भोपाल में आयोजित उद्यमी सम्मेलन में वितरित प्रोत्साहन सहायता राशि के संबंध में जानकारी दी। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने दीपावली, गोवर्धन पूजा और मध्यप्रदेश स्थापना दिवस के संबंध में भी चर्चा की। उन्होंने कहा कि इस वर्ष के स्थापना दिवस की थीम उद्योग एवं रोजगार वर्ष होगी। उन्होंने कहा कि सभी विधानसभा क्षेत्रों में आत्मनिर्भर भारत-आत्मनिर्भर मध्यप्रदेश विषय पर भी कार्यक्रम आयोजित किऐ जाएं। इन गतिविधियों में उद्योग लगाने वालों से लेकर रोजगार पाने वालों तक को शामिल किया जाए। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने आगामी त्यौहारों का उल्लेख करते हुए कहा कि 20 अक्टूबर को दीपावली और 21 अक्टूबर को गोवर्धन पूजा का पर्व है। उन्होंने मंत्रीगण से अपने-अपने क्षेत्र में सार्वजनिक रूप से गोवर्धन पूजा का आयोजन लोक परंपरा अनुसार करने का आह्वान किया। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि 1 नवंबर को मध्यप्रदेश स्थापना दिवस है। इस वर्ष 25 दिसंबर को पूर्व प्रधानमंत्री भारत रत्न स्व.  अटल बिहारी वाजपेई का शताब्दी वर्ष भी है। स्थापना दिवस 1 नवंबर से अटल बिहारी वाजपेई की जयंती 25 दिसंबर तक रोजगार एवं उद्योग वर्ष की थीम पर निरंतर गतिविधियां संचालित की जाएंगी। उद्योग, कौशल उन्नयन, रोजगार के अवसर, एमएसएमई, भारी उद्योग, कुटीर उद्योग सहित स्वावलंबन पर केंद्रित गतिविधियां संचालित की जाएंगी। सभी जिलों में राज्योत्सव के रूप में गतिविधियां संचालित हों। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि भावांतर योजना के अंतर्गत पंजीयन 3 अक्टूबर से आरंभ हुआ है जो 17 अक्टूबर तक चलेगा। एमएसपी से कम कीमत पर सोयाबीन बिकता है तो किसानों के घाटे की भरपाई भावांतर योजना के तहत सरकार द्वारा की जाएगी। किसान पहले की भांति मंडियों में सोयाबीन का विक्रय करेगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने केंद्रीय मंत्रिमंडल द्वारा रेलवे मल्टी ट्रैकिंग परियोजना को दी गई मंजूरी के लिए प्रधानमंत्री  नरेन्द्र मोदी का आभार मानते हुए कहा कि इससे प्रदेश को बहुत लाभ होगा। प्रदेश में 237 किलोमीटर लंबी इटारसी -भोपाल- बीना चौथी लाइन और गुजरात व मध्य प्रदेश के बीच 259 किलोमीटर लंबी बड़ोदरा-रतलाम तीसरी और चौथी लाइन को मंजूरी मिली है। इससे पर्यटन के साथ-साथ कोयला, कंटेनर, सीमेंट, फ्लाई ऐश, खाद्यान्न, इस्पात आदि के परिवहन के लिए अतिरिक्त सुविधा मिलेगी। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि भोपाल में 13 अक्टूबर को हुए एमएसएमई सम्मेलन में 700 एमएसएमई इकाइयों को सिंगल क्लिक से 197 करोड रुपए से अधिक की प्रोत्साहन राशि वितरित की गई। शासन की नवीन स्टार्टअप नीति के अंतर्गत 63 स्टार्टअप ईआइआर सहायता योजना के तहत सालाना 1 लाख 20 हजार रुपए प्रति स्टार्टअप की दर से एक करोड रुपए से अधिक की सहायता राशि के चेक वितरित किए गए। इसके साथ ही 237 एमएसएमई उद्यमियों को भू आवंटन आशय पत्र भी प्रदान किए गए। मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना के तहत 5084 युवाओं को 347 करोड रुपए से अधिक की बैंक ऋण सहायता राशि वितरित की गई। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने 7- 8 अक्टूबर को भोपाल में हुई कलेक्टर कमिश्नर कॉन्फ्रेंस के संबंध में बताया कि दो दिवसीय कांफ्रेंस के आठ सत्रों में कानून व्यवस्था, कृषि एवं उद्यानिकी, स्वास्थ्य, औद्योगिक निवेश एवं रोजगार, नगरीय विकास, शिक्षा, ग्रामीण विकास, जनजाति विकास और सुशासन जैसे महत्वपूर्ण विषयों पर अधिकारियों के साथ विस्तार से चर्चा हुई। उन्होंने बताया कि अधिकारियों को आवश्यक दिशा निर्देश दिए गए। कॉन्फ्रेंस में जिलों में हुए नवाचारों का प्रस्तुतीकरण भी हुआ।  

गौ-शालाओं और पशुपालकों को आयोजन में बनायें सहभागी: मुख्यमंत्री डॉ.यादव

लोक अनुष्ठान और सांस्कृतिक परंपराओं के अनुसार मनाया जाए गोवर्धन पर्व : मुख्यमंत्री डॉ.यादव गौ-शालाओं और पशुपालकों को आयोजन में बनायें सहभागी: मुख्यमंत्री डॉ.यादव दुग्ध उत्पादन तथा पशुपालन में विशेष उपलब्धियां दर्ज कराने और नवाचार करने वाले उद्यमियों को करें सम्मानित मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने गोवर्धन पर्व संबंधी बैठक में दिए निर्देश भोपाल  मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि प्रदेश में 21 अक्टूबर को गोवर्धन पर्व लोक अनुष्ठान और सांस्कृतिक परंपराओं के अनुसार मनाया जाए। आयोजन में गौशालाओं तथा पशुपालकों को विशेष रूप से सहभागी बनाया जाए। साथ ही गोवर्धन पर्व पर पशुपालन तथा दुग्ध उत्पादन के क्षेत्र में विशेष उपलब्धियां दर्ज करने और नवाचार करने वाले उद्यमियों को सम्मानित भी किया जाए। मुख्यमंत्री डॉ.यादव गोवर्धन पर्व आयोजन के संबंध में सोमवार को मंत्रालय में आयोजित बैठक को संबोधित कर रहे थे। मुख्य सचिव  अनुराग जैन सहित वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे। बैठक में बताया गया कि प्रदेश की गौ-शालाओं में गोवर्धन पर्व का सामुदायिक आयोजन होगा। गोवर्धन पर्व का मुख्य आयोजन रवीन्द्र भवन भोपाल में किया जाएगा, जिसमें गोवर्धन पूजन, परिक्रमा, अन्नकूट भोग मुख्य होगा। इस अवसर पर पशुचारक समुदायों की कला, बरेदी और ठाट्या नृत्य आदि का प्रस्तुतीकरण होगा। कार्यक्रम में जैविक उत्पादक, दुग्ध उत्पाद, गोबर आधारित शिल्प के स्टॉल लगाए जाएंगे, साथ ही पशुपालन, कृषि, सहकारिता विभाग की योजनाओं की जानकारी देने के लिए विशेष व्यवस्था होगी। इसके साथ ही ग्रामीण आजीविका के लिए दुग्ध उत्पादन और वृंदावन ग्राम योजना के विस्तार के लिए भी गतिविधियों का संचालन होगा। गोवर्धन पर्व पर सभी जिलों में गतिविधियां संचालित की जाएंगी। आंगनवाड़ी केंद्रों में पंचगव्य उत्पाद जैसे घी, दूध, पनीर और दही से बनी सामग्री का वितरण किया जाएगा।