samacharsecretary.com

अंबेडकर प्रतिमा विवाद के बीच ग्वालियर में हाई अलर्ट, हर मोड़ पर चौकसी

ग्वालियर ग्वालियर में चल रहे अंबेडकर प्रतिमा विवाद के बाद बढ़े तनाव के बीच 15 अक्टूबर को अंबेडकर समर्थकों ने एक बड़े आंदोलन चेतावनी दी थी। इस चेतावनी को देखते हुए बुधवार को पुलिस ने भी कमर कस ली है। चप्पे-चप्पे और हर आने-जाने वाले पर पुलिस की नजर है। इन हालातों के बीच आंदोलन करने वाले कुछ संगठन बैकफुट पर चले गए हैं, लेकिन पुलिस अब भी दो अप्रैल के दंगों को लेकर एहतियाद बरत रही है। पूरा ग्वालियर पुलिस ने छावनी में बदल दिया। इस दौरान कलेक्टर ने आदेश देकर धारा 163 भी लागू की हुई है। छह महीने पहले शुरू हुआ था विवाद ग्वालियर में 6 महीने पहले एक विवाद शुरू हुआ था। ये विवाद ग्वालियर हाईकोर्ट परिसर में डॉ भीमराव अंबेडकर की प्रतिमा लगाने को लेकर हुआ था। वकीलों का एक पक्ष चाहता था कि, हाई कोर्ट परिसर में प्रतिमा लगायी जाए, लेकिन वहीं बार काउंसिल अध्यक्ष और पूर्व अध्यक्ष समेत वकीलों का एक धड़ा इसके विरोध में था। नतीजा हाई कोर्ट परसर में हंगामा हुआ और प्रतिमा विवाद बढ़ गया। आपत्तिजनक टिप्पणी ने भड़काई थी आग इस विवाद की आग यहाँ खत्म नहीं हुई, बल्कि इसमें राजनैतिक और सामाजिक संगठनों की एंट्री हो गई। प्रतिमा लगाने के पक्षकार और विरोधी दोनों ही पक्षों में टिप्पणियाँ और शिकायतों का दौर शुरू हो गया। इसी बीच बार काउंसिल के पूर्व अध्यक्ष एड अनिल मिश्रा ने डॉ भीमराव अंबेडकर के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी कर दी। इस टिप्पणी ने आग में घी का काम किया और अंबेडकर समर्थकों और आजाद समाज पार्टी भीम आर्मी समते संगठनों ने 15 अक्टूबर को एक बड़े प्रदर्शन का ऐलान कर दिया। जिसके चलते आज पूरा ग्वालियर छावनी में तब्दील है। 4 हजार पुलिसकर्मियों ने संभाला मोर्चा, सोशल मीडिया पर भी नज़र कोई भी अप्रिय घटना ना हो इसके लिए पूरे ग्वालियर में 3 हजार से ज्यादा पुलिसकर्मी चप्पे चप्पे पर तैनात हैं। ग्वालियर के अलावा बाहर से भी 800 सुरक्षाकर्मियों का अतिरिक्त बल ग्वालियर में बुलाया गया है। सभी शासकीय और अशासकीय स्कूलों की छुट्टी घोषित कर दी गई है। इसके साथ ही लगातार सोशल मीडिया पर हो रही पोस्ट पर भी नजर रखी जा रही है। अब तक 500 से अधिक भड़काऊ पोस्ट को हटवाया जा चुका है और सौ से अधिक लीगों को इस तरह की पोस्ट के लिए नोटिस भी दिया चुका है। सीएसपी बोली- हालात नियंत्रण में ग्वालियर सीएसपी हिना खानन से बातचीत की तो उन्होंने कहा कि हालत पूरी तरह नियंत्रण में हैं। पुलिस कानून व्यवस्था बनाये रखने के लिए पूरी तरह मुस्तैद है। आम जन को किसी तरह की परेशानी ना हो और उनको आम दिनचर्या पर किसी तरह का प्रभाव ना पड़े ये प्रयास कर रहे हैं और लोगों से भी सहयोग की अपील है। शहर की सीमाओं पर भी नाकेबंदी बहरहाल पुलिस ने शहर की सीमाओं से लेकर बाजार और मुख्य स्थानों पर तैनात है। शिवपुरी, मुरैना, झाँसी और भिंड सभी हाईवे सीमाओं पर नाकेबंदी की अगायी है और आने जाने वालों की जाँच की जा रही है।  

घर वापसी की धमकी और गंगाजल-गौमूत्र का ज़िक्र: गरबा आयोजन में लगा भड़काऊ पोस्टर

भोपाल  मध्य प्रदेश में नवरात्रि से पहले गरबा उत्सवों को लेकर सनातनी संगठनों का सख्त रुख देखने को मिल रहा है. राजधानी भोपाल में श्रीकृष्ण सेवा समिति ने गरबा पंडालों में गैर-हिंदुओं के प्रवेश पर चेतावनी जारी की है. कमेटी ने पंडालों पर पोस्टर लगाए हैं, जिनमें लिखा है कि गैर-हिंदू यदि गरबा में आएंगे तो उनकी 'घर वापसी' कराई जाएगी.  पोस्टर पर जूते-चप्पल, लट्ठ की फोटो के साथ 'जिहादियों की उचित व्यवस्था की जाएगी' का संदेश दिया गया है. कमेटी के कार्यकर्ता हाथों में लट्ठ लेकर पंडालों पर तैनात रहेंगे. श्रीकृष्ण सेवा समिति के अध्यक्ष गोपाल ठाकुर ने कहा, "हम गरबा देखने आने वालों को गंगाजल पिलाएंगे और गौमूत्र छिड़केंगे." पूछने पर उन्होंने स्पष्ट किया कि कार्यकर्ता आत्मरक्षा के लिए लट्ठ लेकर नजर रखेंगे. हाथों में लट्ठ लेकर तैनात रहेंगे समिति के कार्यकर्ता. उधर, गरबा पंडालों पर मुस्लिम लोगों की एंट्री को लेकर बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने कहा कि जिस तरह सनातन हिंदू विचारधारा के लोग हज यात्रा में नहीं जाते, उसी तरह उनके लोगों को भी गरबा में नहीं आना चाहिए. उन्होंने गरबा के मुख्य दरवाजे पर गोमूत्र रखने की सलाह भी दी.