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मौसम का कहर: 23 से 27 अक्टूबर तक इन राज्यों में बर्बादी ला सकती है बारिश

नई दिल्ली  इस साल मानसून देरी से आया लेकिन बाद में कसर पूरी कर दी। उत्‍तर भारत से लेकर मध्‍य भारत तक जोरदार बारिश का लंबा दौर चला, जिसके चलते सभी जिलों का बारिश का कोटा पूरा हो चुका है। इधर, दीपावली के पहले से ही हल्‍दी ठंड शुरू हो चुकी थी। अब तापमान में बदलाव नज़र आ रहा है। इस बीच भारतीय मौसम विभाग (IMD) ने ताजा बुलेटिन में अनुमान जताया है कि अगले तीन से चार दिनों में देश के अलग-अलग राज्‍यों में तेज बारिश होगी। कहीं-कहीं पर भारी से बहुत भारी बारिश होने की संभावना है। आइये जानते हैं देश भर के मौसम का हाल। उत्तर भारत: अगले 2-3 दिनों के दौरान उत्तर-पश्चिम भारत के अधिकांश हिस्सों में न्यूनतम तापमान में 2-4 डिग्री सेल्सियस की गिरावट। पश्चिम भारत:     23 अक्टूबर को कोंकण और गोवा तथा मध्य महाराष्ट्र में कई स्थानों पर हल्की से मध्यम बारिश/गरज के साथ छींटे पड़ने की संभावना है।     अगले 5 दिनों के दौरान कोंकण और गोवा, मराठवाड़ा और मध्य महाराष्ट्र में बिजली कड़कने के साथ छींटे पड़ने की संभावना है। पूर्व और मध्य भारत:     23-27 अक्टूबर के दौरान अंडमान और निकोबार द्वीप समूह में कई स्थानों पर हल्की से मध्यम बारिश/गरज के साथ छींटे पड़ने की संभावना है।     अगले 7 दिनों के दौरान अंडमान और निकोबार द्वीप समूह में गरज के साथ छींटे पड़ने और तेज़ हवाओं (30-40 किमी प्रति घंटे की गति) की संभावना है।     22-26 अक्टूबर के दौरान ओडिशा में और अगले 5 दिनों के दौरान मध्य प्रदेश, विदर्भ और छत्तीसगढ़ में बिजली कड़कने की संभावना है।     22 और 23 अक्टूबर को ओडिशा में घना कोहरा छाए रहने की संभावना है। आईएमडी ने मछुआरों को चेतावनी जारी की     आईएमडी ने लोगों को आंधी-तूफान के दौरान घर के अंदर रहने की सलाह दी है और कोंकण क्षेत्र के मछुआरों और तटीय निवासियों से तेज़ हवाओं के दौरान समुद्र में जाने से बचने का आग्रह किया है।     यात्रियों को भी सावधानी से यात्रा करने की सलाह दी गई है, क्योंकि अचानक बारिश और तेज़ हवाएँ दृश्यता कम कर सकती हैं और सड़क सुरक्षा को प्रभावित कर सकती हैं।     उत्तर-पूर्वी मानसून के ज़ोर पकड़ने के साथ ही दक्षिण भारत के कई इलाकों में भारी बारिश हो रही है।     कोंकण-गोवा, मध्य महाराष्ट्र और मराठवाड़ा जिलों में अलग-अलग स्थानों पर बिजली कड़कने के साथ तूफान, हल्की से मध्यम वर्षा, 30-40 किलोमीटर प्रति घंटे की गति से तेज हवाएं चलने की संभावना है।   दक्षिण प्रायद्वीपीय भारत:     22 से 24 और 26 से 28 के दौरान तमिलनाडु में कई/कुछ स्थानों पर हल्की से मध्यम वर्षा/गरज के साथ बौछारें; 22 से 24 तक दक्षिण आंतरिक कर्नाटक और केरल एवं माहे; 22 से 25 तक तटीय कर्नाटक और तेलंगाना; 24 को उत्तर आंतरिक कर्नाटक; 22 से 28 अक्टूबर के दौरान तटीय आंध्र प्रदेश और यनम और रायलसीमा; 22 को केरल और माहे और दक्षिण आंतरिक कर्नाटक में बहुत भारी वर्षा; 22 और 23 को तटीय कर्नाटक, 23 अक्टूबर को तटीय आंध्र प्रदेश और यनम, रायलसीमा।

फॉर्म से बाहर विराट… एडिलेड में फिर जीरो, इंटरनेशनल कमबैक के बाद लगातार दो डक!

 एडिलेड  भारतीय टीम ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ वनडे सीरीज का दूसरा मुकाबला 23 अक्टूबर (गुरुवार) को एडिलेड ओवल में खेलने उतरी. इस मुकाबले में भारतीय टीम के स्टार बल्लेबाज विराट कोहली से धमाकेदार बल्लेबाजी की उम्मीद थी. लेकिन किंग कोहली उम्मीदों पर खरा नहीं उतर सके. कोहली इस मैच में भी खाता नहीं खोल पाए. कोहली को तेज गेंदबाज जेवियर बार्टलेट ने एलबीडब्ल्यू आउट किया. विराट कोहली भारतीय पारी के सातवें ओवर में आउट हुए. उस ओवर में बार्टलेट की पांचवीं गेंद अंदर की ओर स्विंग होकर आई. कोहली क्रीज में फंस गए और गेंद बल्ले का संपर्क होने से पहले ही पैड पर जा लगी थी. कोहली पूरी तरह से गेंद को जज नहीं कर पाए. बॉल ट्रैकर ने दिखाया कि गेंद सीधे मिडिल स्टम्प पर टकरा रही थी. अंपायर सैम नोगाज्स्की ने बिना किसी झिझक के उंगली उठा दी. कोहली ने रिव्यू नहीं लिया क्योंकि वह आउट साफ आउट थे. एडिलेड ओवल पर सन्नाटा छा गया और दर्शक अवाक रह गए. कोहली ने सिर झुकाकर और ग्लव्स उठाकर दर्शकों का अभिवादन किया. फिर शांत कदमों से पवेलियन लौट गए. कोहली के करियर में पहली बार हुआ ऐसा विराट कोहली लगातार दूसरे मैच में शून्य पर आउट हुए हैं. इससे पहले पर्थ वनडे में भी उनका खाता नहीं खुला था. तब कोहली को मिचेल स्टार्क ने ऑफ-स्टम्प से बाहर की गेंद पर फंसाया था. कोहली के अंतरराष्ट्रीय करियर में ऐसा पहली बार हुआ है, जब वो लगातार दो इनिंग्स में शून्य पर चलते बने हैं. विराट कोहली का ये आखिरी ऑस्ट्रेलिया दौरा माना जा रहा है, ऐसे में ये एडिलेड ओवल पर उनका शायद आखिरी मैच था. कोहली का इस ग्राउंड पर रिकॉर्ड शानदार रहा है. कोहली ने एडिलेड ओवल में तीनों फॉर्मेट को मिलाकर कुल 13 मुकाबले खेले हैं, जिसमें उन्होंने 60.93 के एवरेज से 975 रन बनाए हैं. इस दौरान कोहली के बल्ले से 5 शतक निकले. देखा जाए तो कोहली ने इस मैदान पर 5 वनडे इंटरनेशनल मैचों में भाग लिया है, जिसमें उनके नाम पर 48 की औसत से 244 रन दर्ज हैं. कोहली ने इस मैदान पर वनडे इंटरनेशनल में दो शतक जड़े हैं.

तेजस्वी यादव की मुश्किलें बढ़ीं, लालू के करीबी पूर्व विधायक अब BJP में शामिल

पटना बिहार विधानसभा चुनाव 2025 को लेकर सियासी पारा हाई है। नेताओं के इधर-उधर होने का दौर भी जारी है। इसी कड़ी में एक और दिग्गज नेता का नाम जुड़ गया है। पूर्व राजद विधायक अनिल सहनी (Anil Sahani) बीजेपी में शामिल हो गए हैं। बुधवार को केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान और पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव विनोद तावड़े की मौजूदगी में उन्होंने बीजेपी की सदस्यता ग्रहण की। बता दें कि पूर्व राजद नेता अनिल सहनी को तीन साल पहले सीबीआई अदालत द्वारा धोखाधड़ी के एक मामले में दोषी ठहराए जाने के बाद बिहार विधानसभा से अयोग्य घोषित कर दिया गया था। दिल्ली की सीबीआई अदालत ने उन्हें 2012 में जाली हवाई टिकट जमा करने का दोषी ठहराया था। उस समय अनिल सहनी राज्यसभा सांसद थे। सहनी के भाजपा में शामिल होने से क्या होगा? बीजेपी ने सहनी को पार्टी में शामिल कर 'निषाद' समुदाय के वोटरों को साधने की कोशिश की है। निषाद समुदाय एक अत्यंत पिछड़ा वर्ग है और उनके गृह जिले मुजफ्फरपुर में इनकी अच्छी-खासी आबादी है। सहनी ने 2020 के विधानसभा चुनाव में कुरहानी से भाजपा के केदार गुप्ता को 900 से भी कम मतों के अंतर से हराया था। गुप्ता ने बाद में सहनी की अयोग्यता के बाद हुए उपचुनाव में जीत हासिल की और मंत्री बने।  

यात्रियों के लिए खुशखबरी! यूपी रोडवेज की बसें अब दिन-रात करेंगी सफर आसान

मेरठ भैया-दूज पर्व पर यात्रियों की बढ़ती संख्या को देखते हुए रोडवेज विभाग ने 300 किलोमीटर की दूरी वाले जनपदों के लिए विशेष रूप से बसों की व्यवस्था की है। इन बसों को बुधवार से चला दिया गया है। शुक्रवार तक यह बसें 24 घंटे चलेंगी। इसी कारण एक बस पर दो चालकों एवं दो परिचालकों की नियुक्ति की गई है। मेरठ डिपो के स्टेशन प्रभारी आसिफ ने बताया कि पूर्वी उत्तर प्रदेश के जिलों के लिए आनंद विहार से बसों को संचालित किया जाएगा। सोहराब गेट डिपो से 28 बसें दिल्ली आनंद विहार भेजी गई हैं। मेरठ से दिल्ली के लिए 35 बसों को बुधवार को संचालित किया गया। वहीं देहरादून के लिए 22, बिजनौर के लिए 35, नोएडा के लिए 20 और शामली के लिए 30 बसें चलाई गई है। भैसाली अड्डे इन बसों को चलाया जाएगा। सोहराब गेट डिपो से, 20 बसे मुरादाबाद, बरेली, 47 बसें बुलंदशहर खुर्जा, 50 बसों को आगरा अलीगढ़ मार्ग पर बुधवार को चलाया गया है। डिपो प्रभारी आसिफ ने बताया यह बसें लगातार मेरठ और 300 किमी के दायरे वाले जनपदों के बीच शटलिंग करेंगी। क्षेत्रीय प्रबंधक संदीप नायक ने बताया कि भैया दूज पर आसपास के जनपदों के लिए यात्री बड़ी संख्या में निकलते हैं, इसलिए बुधवार से बसों का संचालन शुरू कर दिया है। शुक्रवार तक बसों का 24 घंटे का शेड्यूल जारी रहेगा। 

फैशन डिजाइनिंग आधारित स्टार्टअप प्रशिक्षण 30 अक्टूबर से

28 तक कर सकेंगे ऑनलाइन आवेदन भोपाल मध्यप्रदेश विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद (मेपकास्ट) द्वारा युवाओं को फैशन डिजाइनिंग के क्षेत्र में स्टार्टअप, उद्योग, और स्वरोजगार स्थापित करने के लिए विशेष प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया जा रहा है। छह सप्ताह का प्रशिक्षण कार्यक्रम 30 अक्टूबर से महिला पॉलीटेक्निक के सहयोग से भोपाल में निःशुल्क होगा। भारत सरकार के विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग द्वारा प्रवर्तित इस कार्यक्रम का उद्देश्य प्रशिक्षणार्थियों को फैशन डिजाइनिंग के क्षेत्र में उपयुक्त प्रोजेक्ट का चयन करने और उसे सफलतापूर्वक संचालित करने में सक्षम बनाना है। प्रशिक्षण में प्रतिभागियों को सैद्धांतिक और व्यवहारिक ज्ञान प्रदान किया जाएगा जिससे वे अपने स्टार्टअप को प्रभावी ढंग से शुरू और संचालित कर सकें। प्रशिक्षण में विभिन्न विषयों पर सैद्धांतिक एवं व्यवहारिक जानकारी भी दी जाएगी। प्रशिक्षण में भाग लेने के लिए आवेदक की योग्यता विज्ञान या इंजीनियरिंग में स्नातक, पॉलीटेक्निक डिप्लोमा या पीजीडीसीए होना अनिवार्य है। आवेदक की अधिकतम आयु 35 वर्ष निर्धारित की गई है।महिलाओं को आयु में विशेष छूट दी जाएगी। इच्छुक युवक और युवतियां 28 अक्टूबर तक मेपकास्ट की आधिकारिक वेबसाइट www.mpcost.gov.in पर उपलब्ध आवेदन पत्र के माध्यम से आवेदन कर सकते हैं। प्रशिक्षण से संबंधित किसी भी स्पष्टीकरण या अतिरिक्त जानकारी के लिए इच्छुक व्यक्ति मोबाइल नंबर 9926923001 पर संपर्क कर सकते हैं।प्रशिक्षण कार्यक्रम युवाओं के लिए फैशन डिजाइनिंग के क्षेत्र में अपने करियर को नई दिशा देने और स्वरोजगार के अवसरों को तलाशने का अवसर प्रदान करेगा।  

अंबाला स्टेशन पर छठ पूजा स्पेशल सर्विस: यात्रियों के लिए इंतजाम पूरी तरह तैयार

अंबाला  छठ पूजा के अवसर पर यात्रियों की बढ़ती भीड़ को देखते हुए अंबाला रेल प्रशासन ने व्यापक तैयारियां की हैं। अंबाला रेल मंडल ने विशेष रूप से अंबाला छावनी रेलवे स्टेशन पर यात्रियों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए कई अतिरिक्त इंतजाम किए हैं।रेल मंडल प्रबंधक विनोद भाटिया ने मंगलवार को पत्रकारों से बातचीत में बताया कि त्योहार के दौरान ट्रेनों में भारी भीड़ की संभावना को देखते हुए यात्रियों को किसी प्रकार की असुविधा न हो, इसके लिए ट्रेन को तीन मिनट तक का अतिरिक्त ठहराव दिया जा सकता है। उन्होंने कहा कि अंबाला छावनी रेलवे स्टेशन पर ट्रेनों की प्रतीक्षा कर रहे यात्रियों के लिए टेंट की व्यवस्था की गई है ताकि उन्हें धूप या अन्य असुविधा का सामना न करना पड़े। इसके अलावा प्लेटफॉर्म पर 150 अतिरिक्त बेंच भी लगाई गई हैं ताकि यात्रियों को बैठने में परेशानी न हो। डीआरएम भाटिया ने बताया कि छठ पर्व पर घर लौट रहे यात्रियों की सुविधा के लिए तीन स्पेशल ट्रेनें चंडीगढ़ से चलायी गई हैं, जो बिहार और पूर्वी उत्तर प्रदेश जाने वाले यात्रियों को आसानी से गंतव्य तक पहुंचाएंगी। इनमें चंडीगढ़–कटिहार और चंडीगढ़–पटना के बीच विशेष ट्रेनें शामिल हैं। इसके अलावा पटियाला से भी आज शाम एक विशेष ट्रेन रवाना की जाएगी। उन्होंने बताया कि फिरोजपुर मंडल से भी कुछ विशेष गाड़ियां चलाई गई हैं, जिनकी सूची अंबाला रेल मंडल को प्राप्त हो चुकी है। इन ट्रेनों में भी यात्री आसानी से अपने गंतव्य तक पहुंच सकेंगे। रेल प्रबंधक ने यात्रियों से अपील की कि वे भीड़ के दौरान अफरा-तफरी न मचाएं और रेलवे कर्मचारियों के निर्देशों का पालन करें। उन्होंने कहा कि “अंबाला रेल मंडल कई दिनों से छठ पर्व की तैयारियों में जुटा हुआ था और अब सभी व्यवस्थाएं पूर्ण कर ली गई हैं।” रेल प्रशासन ने कहा कि वह यात्रियों की सुविधा, सुरक्षा और सुचारु आवागमन सुनिश्चित करने के लिए पूरी तरह जिम्मेदार और सतर्क है।

मध्यप्रदेश में महिला नेतृत्व के स्टार्टअप 47 प्रतिशत तक बढ़े

विशेष समाचार विनिर्माण इकाइयों की संख्या 4 लाख 26 हजार पहुंची महिला नेतृत्व के स्टार्टअप 47 प्रतिशत तक बढ़े एमएसएमई सेक्टर जीडीपी में दे रहा 30% का योगदान भोपाल मध्यप्रदेश में निवेश मित्र नीतियों और उद्योग समर्थित प्रावधानों के परिणाम स्वरूप पिछले तीन वर्षों में विनिर्माण इकाइयों की संख्या बढ़कर 4,26,230 तक पहुंच गई है। वर्ष 2022-23 में 67332 विनिर्माण एमएसएमई पंजीकृत हुई थी 2023-24 में 89,317 और 2024-25 में 1,13,696 हुई। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव प्रदेश में विनिर्माण क्षेत्र में नई इकाइयों की स्थापना को हर प्रकार से प्रोत्साहित कर रहे है। प्रदेश में सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्योगों की संख्या भी बढ़ रही है। वर्तमान में प्रदेश में 20.43 लाख एमएसएमई इकाइयाँ है। इसमें 20.22 लाख सूक्ष्म उद्यम है, 19508 लघु उद्योग और 1178 मध्यम उद्यम हैं। एमएसएमई सेक्टर में 21% विनिर्माण श्रेणी की, 29% सेवा श्रेणी और 50% व्यवसाय श्रेणी की इकाइयां हैं। इस प्रकार एमएसएमई सेक्टर राज्य के सकल घरेलू उत्पाद में 30% का योगदान दे रहा है। इस क्षेत्र में लगभग 66 हजार करोड रुपए से अधिक का निवेश वर्तमान में है। इनमें एक करोड़ से ज्यादा लोगों को रोजगार मिला है। बढ़ते स्टार्टअप मध्यप्रदेश की स्टार्टअप नीति के परिणामस्वरूप अब अधिमान्य स्टार्टअप की संख्या 6000 से अधिक हो गई है। इनमें से लगभग 2900 यानी 47% स्टार्टअप महिला उद्यमियों के हैं। इसके अलावा कुल इनक्यूबेटर की संख्या 100 से ज्यादा है। स्पष्ट है कि प्रदेश में स्टार्टअप परिस्थिति तंत्र में बहुत तेजी से सुधार हो रहा है। प्रदेश में स्मार्ट सिटी इनक्यूबेटर 7, अटल इनक्यूबेटर सेंटर 4, टेक्नोलॉजी बिजनेस इंटर इनक्यूबेटर दो, एक एपेरल इनक्यूबेटर ग्वालियर में, दो एग्री इनक्यूबेटर सेंटर ग्वालियर और जबलपुर में, तीन सॉफ्टवेयर टेक्नोलॉजी पार्क ग्वालियर, भोपाल और इंदौर में स्थापित है। RAMP (Raising and Accelerating MSME Performance) योजनांतर्गत प्रदेश के सभी जिलों में इन्‍क्‍यूबेशन सेंटर स्‍थापित करने की योजना है। इनमें से 7 जिलों नर्मदापुरम्, विदिशा, हरदा, राजगढ़, रायसेन, अशोकनगर एवं भोपाल में एमएसएमई इन्‍नोवेशन-सह-इन्‍क्‍यूबेशन सेंटर की स्‍थापना की स्‍वीकृति प्रदान की गई है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का विजन है कि स्टार्ट-अप को अधिक से अधिक प्रोत्साहन दें जिससे भारत के युवा नौकरी देने वाले बनें। मध्यप्रदेश में इस सोच को मूर्त रूप देने के लिए मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव स्टार्टअप अधोसंरचना को मजबूत बनाकर कार्य कर रहे हैं। नई स्टार्ट-अप नीति बन जाने से प्रदेश ग्लोबल स्टार्ट-अप हब बनने की ओर बढ़ रहा है। भविष्य में युवा उद्यमियों को ग्लोबल मंच मिलेगा और लाखों रोजगार सृजित होंगे। स्टार्टअप ईको सिस्टम राज्य की आर्थिक प्रगति और युवाओं के लिए रोजगार के अवसर सृजित करने में अहम भूमिका निभा रहा है। मध्यप्रदेश स्टार्टअप सीड फंड सहायता तथा 100 करोड़ रुपए का कैपिटल फंड स्टार्टअप्स के युवा उद्यमियों के लिए सबसे बड़ी चुनौती प्रारंभिक पूंजी की व्यवस्था करना होती है। इस बाधा को दूर करने के लिए प्रदेश के नए स्टार्टअप्स के लिये 30 लाख रुपये तक का सीड फंड अनुदान तथा 100 करोड़ रुपए के कैपिटल फंड का मध्यप्रदेश स्टार्टअप नीति 2025 में प्रावधान किया गया है। यह कोष उभरते स्टार्ट-अप्स को उनके शुरुआती चरणों में वित्तीय सहायता प्रदान करेगा तथा उन्हें अपने व्यापार को आगे बढ़ाने में सहायता प्रदान करेगा। इससे वे अपने स्टार्टअप का विस्तार कर सकेंगे साथ ही विस्तार की चुनौतियों का सामना कर सकेंगे। मेगा इनक्यूबेशन सेंटर और नवाचार को बढ़ावा राज्य में मेगा इनक्यूबेशन सेंटर स्थापित किया जाएगा, जिसके सेटेलाइट सेंटर प्रदेश के अन्य उपयुक्त स्थानों में स्थापित किए जायेंगे। इनसे स्टार्टअप्स को आवश्यक संसाधन, मार्गदर्शन और ग्लोबल बाजार तक पहुंचने में मदद मिलेगी। बौद्धिक संपदा सुरक्षा को भी प्राथमिकता दी गई है। इसके लिये घरेलू पेटेंट के लिए 5 लाख रुपये और अंतर्राष्ट्रीय पेटेंट के लिए 20 लाख रुपए तक की वित्तीय सहायता उपलब्ध कराई जाएगी। इससे स्टार्टअप्स को नवाचार करने और वैश्विक प्रतिस्पर्धा में आगे बने रहने में मदद मिलेगी। महिला उद्यमिता को बढ़ावा नई नीति के अनुसार राज्य में 47% महिला-नेतृत्व वाले स्टार्ट-अप्स है तथा प्रदेश के स्टार्टअप ईकोसिस्टसम में महिलाओं का योगदान बढ़-चढ़ कर आ रहा है। महिला उद्यमिता को बढ़ावा देने के उद्देश्य से मध्यप्रदेश स्टार्टअप नीति में महिला नेतृत्व वाले स्टार्टअप्स को विशेष सहायता प्रदान करने का प्रावधान किया गया है। स्टार्टअप परिचालन हेतु वित्तीय सहायता स्टार्ट-अप्स संचालन के खर्चों को कम करने के लिए किराया सहायता योजना भी लागू की गई है। स्टार्ट-अप्स को 50 प्रतिशत तक किराया भत्ता अधिकतम 10 हजार रुपए प्रति माह दिया जाएगा। साथ ही प्रोटोटाइप डेवलपमेंट, ऑनलाइन विज्ञापन आदि हेतु भी वित्तीय सहायता उपलब्ध कराई जा रही है। नये क्षेत्रों में स्टार्ट-अप्स को प्राथमिकता नीति में कृषि, फूड प्रोसेसिंग, डीप टेक, बॉयोटेक और नवीनतम तकनीकों के क्षेत्र में स्टार्ट-अप्स को बढ़ावा देने पर जोर दिया गया है। इससे राज्य में विविध और सशक्त स्टार्ट-अप ईको सिस्टम विकसित होगा, जिससे प्रदेश के आर्थिक विकास में सहायता मिलेगी। एंटरप्रेन्योर-इन-रेजिडेंस ईआईआर प्रोग्राम और कौशल विकास सहायता राज्य में स्टार्ट-अप्स को प्रोत्साहित करने के लिए एंटरप्रेन्योर-इन-रेजिडेंस ईआईआर प्रोग्राम लागू किया गया है, जिसके अंतर्गत नए स्टार्टअप्स को 10 हजार रुपए प्रति माह (अधिकतम एक वर्ष के लिए) की वित्तीय सहायता दी जाती है। स्टार्ट-अप एडवाइजरी कॉउंसिल और ऑन लाइन पोर्टल नीति को प्रभावी ढंग से लागू करने और क्रियान्वयन की मॉनिटरिंग के लिए "स्टार्ट-अप एडवाइजरी काउंसिल" का गठन किया जाएगा, जिसमें विभिन्न क्षेत्रों के विशेषज्ञ शामिल होंगे। इसके साथ ही स्टार्ट-अप्स के लिए एक समर्पित ऑन लाइन पोर्टल और हेल्प लाइन भी बनाई गई है। इससे उन्हें वित्तीय सहायता, सरकारी योजनाओं और अन्य संसाधनों की जानकारी आसानी से मिल सकेगी। मध्यप्रदेश स्टार्टअप नीति में उत्पाद आधारित स्टार्टअप के लिए विशेष पैकेज की व्यवस्था है। इसके अलावा वित्तीय सहायता, पेटेंट, लीज रेंट, ईआईआर और आयोजनों में सहभागिता के लिए भी सहायता का प्रावधान है। मध्यप्रदेश स्टार्टअप सेंटर में एक समर्पित टीम कार्य कर रही है। राज्य स्टार्टअप पोर्टल को स्टार्टअप इंडिया पोर्टल के साथ एकीकृत किया गया है और वित्तीय सहायता के लिए ऑनलाइन प्रक्रिया अपनाई गई है।  

खबर: जैश-ए-मोहम्मद ने शुरू किया 500 रुपये में महिलाओं के लिए जिहाद प्रशिक्षण — सुरक्षा एजेंसियाँ चिंतित

इस्लामाबाद  पाकिस्तान से धंधा चलाने वाला जैश-ए-मोहम्मद जिहाद का नया चूरन लेकर आया है. जैश-ए-मोहम्मद अब 500 रुपये में लड़कियों, महिलाओं को जिहाद की ट्रेनिंग दे रहा है. इसके लिए आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद ने नया कोर्स चलाया है. इस कोर्स को आतंकी मसूद अजहर की बहनें और उमर फारुक की बीवी लीड कर रही है. जिहाद के इस कोर्स में दाखिला लेने के लिए हर लड़की से 500 पाकिस्तानी रुपये लिए जाएंगे.  जैश ए मोहम्मद अब अपने ब्रिगेड में ख्वातिनों यानी की महिलाओं की नियुक्ति बढ़ा दी है.  हाथ ऐसे एक्सक्लूसिव दस्तावेज लगे हैं जिससे पता चलता है कि ये आतंकी संगठन बड़े पैमाने पर महिलाओं को जिहाद की ऑनलाइन ट्रेनिंग देना शुरू कर रहा है. जैश ए मोहम्मद महिलाओं से फंड इकट्ठा कर रहा है. इस कोर्स को 'तुफत अल मुमिनात' नाम दिया गया है.  इससे पहले इस बात की जानकारी सामने आई थी कि संयुक्त राष्ट्र से प्रतिबंधित जैश-ए-मोहम्मद ने महिलाओं की नियुक्ति के लिए 'जमात-उल-मुमिनात' का गठन किया है.  महिलाओं को टेरर फैक्ट्री में लाया अजहर इस टेरर संगठन को मजबूत करने और इसकी महिला ब्रिगेड में और ज़्यादा महिलाओं की भर्ती के लिए आतंकियों ने अपने घर की औरतों को सामने लाया है. इसमें जैश-ए-मोहम्मद के आतंकी शामिल है. इसके अलावा इसमें जैश के टेरर कमांडरों की महिला सदस्य शामिल हैं. ये महिलाएं जिहाद और मजहब की ट्रेनिंग देंगी.  ऑनलाइन लाइव लेक्चर के ज़रिए भर्ती अभियान 8 नवंबर से शुरू होने वाला है. मसूद अज़हर की दो बहनें सादिया अज़हर और समायरा अजहर, रोज़ाना 40 मिनट के ऑनलाइन मीटिंग प्लेटफ़ॉर्म के जरिए महिलाओं को जैश-ए-मोहम्मद की महिला ब्रिगेड जमात-उल-मुमिनात में शामिल होने के लिए प्रोत्साहित करेंगी. मसूद अजहर की छोटी बहन को मिला चार्ज नए-नए जमात-उल-मुमीनत में मौलाना मसूद अजहर ने इस महिला ब्रिगेड की कमान अपनी छोटी बहन सादिया अजहर को सौंपी है. सादिया का पति आतंकी यूसुफ़ अजहर ऑपरेशन सिंदूर में मारा गया था. मसूद अजहर ने इस काम में अपनी छोटी बहन सफिया और उमर फ़ारूक़ की बीवी अफरीरा फ़ारूक़ को भी शामिल किया है, उमर फारूक ने पुलवामा आतंकी हमला किया था और बाद में भारतीय सुरक्षा बलों के साथ मुठभेड़ में मारा गया था.  मसूद अजहर की जिहाद की नई कोर्स. आतंकी मसूद अजहर पाकिस्तान में फंड इकट्ठा करने के लिए जकात का प्रोग्राम शुरू कर दिया है और तेजी से इसमें लगा है. 27 सितंबर को अपने ताजा संबोधन में बहावलपुर में उसने मरकज उस्मान अली में जनता से दान की अपील की थी. अब जैश-ए-मोहम्मद महिलाओं को ट्रेनिंग देने वाले इस प्रोग्राम से पैसा जमा कर रहा है. इसके लिए हर महिला से 500 पाकिस्तानी रुपये लिए जा रहे हैं और उनसे ऑनलाइन फॉर्म भरवाया जा रहा है.   इस महीने की शुरुआत में 8 अक्टूबर को मसूद अजहर ने जैश-ए-मोहम्मद की महिला ब्रिगेड जमात उल-मुमीनत के गठन की घोषणा की थी और 19 अक्टूबर को पाक अधिकृत कश्मीर के रावलकोट में महिलाओं को ग्रुप में शामिल करने के लिए 'दुख्तरिन-ए-इस्लाम” नाम का एक कार्यक्रम आयोजित किया था.  ISIS, हमास, लिट्टे की तर्ज पर फिदायीन दस्ता बनाने की कोशिश सूत्रों के अनुसार चूंकि पाकिस्तान में कट्टरपंथी सामाजिक मानदंडों के अनुसार महिलाओं का अकेले बाहर जाना अनुचित माना जाता है, इसलिए जैश-ए-मोहम्मद अब महिलाओं की भर्ती के लिए ऑनलाइन प्लेटफॉर्म का उपयोग कर रहा है ताकि वह आईएसआईएस, हमास और एलटीटीई की तर्ज पर अपने पुरुष आतंकवादी ब्रिगेड के साथ-साथ महिला आतंकवादी ब्रिगेड का गठन कर सके और संभवतः उनका इस्तेमाल आत्मघाती/फिदायीन हमलों के लिए कर सके.  जैश की पूरी कार्यप्रणाली के तहत प्रत्येक महिला से 500 रुपये का चंदा लिया जा रहा है. ये पाकिस्तान के पाखंड को भी उजागर करता है जो FATF के नियमों का लागू करने का दावा करता है और कहता है कि वह आतंक से जुड़े किसी भी गतिविधि की फंडिंग नहीं कर रहा है. लेकिन पाकिस्तान मरकज की आड़ में पैसा लेता रहा है और अब खुलकर जिहाद की ऑनलाइन कक्षाओं के नाम पर पैसा ले रहा है. 

इंदौर-खंडवा सड़क परियोजना में तेजी: मार्च तक पूरा काम, सुरंगें और पुल 4 महीने में होंगे तैयार

खरगोन निमाड़-मालवा वालों के लिए खुशखबर यह है कि इंदौर-खंडवा रोड का काम मार्च तक पूरा हो जाएगा। इस रोड पर अक्टूबर तक मोरटक्का के नर्मदा ब्रिज और सिमरोल के वायडक्ट पर गर्डर लान्चिंग का काम आखिरी स्टेज में पहुंच गया है। भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के मुताबिक अगले चार महीने के भीतर तीनों सुरंग, नर्मदा पुल और वायडक्ट बनकर तैयार हो जाएंगे। एनएचएआई के मुताबिक, इंदौर-हैदराबाद कॉरिडोर के तहत तेजाजी नगर से बलवाड़ा तक छह लेन हाईवे बन रहा है। इसी हिस्से में सिमरोल टनल के बाद बनाए जा रहे वाया डक्ट पर 160 गर्डर की लॉन्चिंग पूरी हो चुकी है। यह कुल 450 मीटर का वायाडक्ट है, जिसमें 30-30 मीटर का एक-एक स्पान (हिस्सा) है। यहां 80 से 100 टन वजनी प्रत्येक गर्डर को दो क्रेन की मदद से खाई से 30 मीटर ऊपर बने दो पियर के बीच रखा गया। यह पूरी प्रक्रिया मार्च में शुरू हुई थी और पिछले सप्ताह ही पूरी हुई है। मार्च तक ट्रैफिक शुरू करने का दावा निर्माण कंपनी मेघा इंजीनियरिंग ने अगले साल मार्च तक इस हिस्से से ट्रैफिक शुरू करने का दावा किया है। इधर, नर्मदा नदी पर मोरटक्का में बन रहे ब्रिज का कार्य भी मार्च तक पूरा कराने का दावा किया गया है। इस ब्रिज के साथ ही बलवाड़ा से धनगांव के बीच बन रहा 45 किलोमीटर का फोरलेन भी कम्प्लीट होगा। खंडवा एनएचएआई के प्रोजेक्ट डायरेक्टर आशुतोष सोनी के मुताबिक, बलवाड़ा-धनगांव प्रोजेक्ट 45 किलोमीटर का है, जिस पर सड़क निर्माण लगभग पूरा हो गया है। एक रेलवे ब्रिज का काम अधूरा है और बाकी नर्मदा नदी का ब्रिज है। नर्मदा नदी पर चार स्पान बाकी हैं, जो पांचवां स्पान था, उसे पिछले महीने कम्प्लीट किया है। इंदौर-हैदराबाद के सफर में आठ घंटे बचेंगे 713 किमी की इस सड़क में अभी कई जगह स्टेट हाईवे हैं, जिन्हें एनएचएआई द्वारा नेशनल हाईवे की तर्ज पर बनाया जा रहा है। मौजूदा सड़क से अभी इंदौर-हैदराबाद के बीच 876 किमी का रास्ता है, जो हाईवे बन जाने के बाद 157 किमी कम हो जाएगा। इससे 18 घंटे का रास्ता 8 घंटे कम हो जाएगा और 10 घंटों में इंदौर से हैदराबाद पहुंचा जा सकेगा।

बिहार चुनाव की सरगर्मी में लालू परिवार की मुश्किलें बढ़ीं, CBI ने दर्जनों गवाह किए पेश

पटना  बिहार विधानसभा चुनावों से पहले लालू परिवार पर संकट गहरा गया है। केंद्रीय जाँच ब्यूरो (CBI) ने IRCTC होटल मामले में करीब एक दर्जन गवाहों की सूची अदालत को सौंपी है, जो पूर्व रेल मंत्री लालू प्रसाद, उनकी पत्नी राबड़ी देवी, बेटे तेजस्वी यादव और अन्य के खिलाफ मामले में उनकी कथित संलिप्तता के बारे में गवाही देंगे। CBI पहले ही इन गवाहों को औपचारिक नोटिस जारी कर चुकी है और उन्हें 27 अक्टूबर को कोर्ट में पेश होने को कहा है। उस दिन से इस मामले में ट्रायल शुरू होना है। सूत्रों के हवाले से ET की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि CBI इन गवाहों की गवाही बिना किसी सबूत के आधार पर जल्दी से पूरा करने की कोशिश करेगी। रिपोर्ट में कहा गया है कि उक्त गवाहों से पूछताछ के बाद, सीबीआई आरोपियों के खिलाफ अपने आरोपों को पुष्ट करने के लिए कुछ और गवाह भी पेश करेगी। इसी महीने आरोप तय हुए हैं बता दें कि इस महीने की शुरुआत में ही एक विशेष सीबीआई अदालत ने राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद, राबड़ी देवी, तेजस्वी यादव और अन्य के खिलाफ आईआरसीटीसी होटल मामले में उनकी कथित संलिप्तता के लिए आरोप तय किए हैं। अदालत ने लालू प्रसाद के खिलाफ भ्रष्टाचार (भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की संबंधित धाराओं के तहत), आपराधिक षड्यंत्र, धोखाधड़ी और अन्य आरोप तय किए हैं। राबड़ी देवी, तेजस्वी यादव और अन्य पर षड्यंत्र और धोखाधड़ी सहित कई अपराधों का आरोप है। हालांकि, तीनों ने अदालत में खुद को निर्दोष बताया है। मामले से जुड़े लोगों के अनुसार, आरोपी इस आदेश को चुनौती दे सकते हैं। लालू को पूरी प्रक्रिया की जानकारी थी 13 अक्टूबर को आरोप तय करते हुए विशेष सीबीआई कोर्ट के जज विशाल गोगने ने कहा था कि वे प्रथम दृष्टया इस निष्कर्ष पर पहुँचे हैं कि लालू को पूरी प्रक्रिया की जानकारी थी और उन्होंने होटलों के हस्तांतरण को प्रभावित करने के लिए हस्तक्षेप किया था। अपने आदेश में जज ने कहा, "निविदा प्रक्रिया में महत्वपूर्ण बदलाव किए गए थे… यह स्पष्ट संभावना के रूप में सामने आया है कि बिक्री के समय, ज़मीन के टुकड़ों का कम मूल्यांकन किया गया था और फिर वे लालू के हाथों में आ गए।" न्यायाधीश ने 244 पृष्ठ के आदेश में मामले में “मिलीभगत’’ के पहलू को चिह्नित किया। अवैध भूमि हस्तांतरण में हेरफेर करने का आरोप बता दें कि सीबीआई ने यादव परिवार पर भारतीय रेलवे खानपान और पर्यटन निगम (IRCTC) की निविदाओं और अवैध भूमि हस्तांतरण में हेरफेर करने का आरोप लगाया था। लालू प्रसाद यादव पर रेल मंत्री के रूप में अपने कार्यकाल के दौरान कोचर बंधुओं- विजय कोचर, विनय कोचर (दोनों मेसर्स सुजाता होटल प्राइवेट लिमिटेड के निदेशक, होटल चाणक्य, पटना के मालिक) और अन्य के साथ मिलकर आपराधिक षड्यंत्र रचने के आरोप हैं, ताकि रांची और पुरी में रेलवे के बीएनआर होटलों को उप-पट्टे पर देने के लिए ठेके देने में फर्म को अनुचित लाभ पहुंचाया जा सके। ठेके के बदले दिए भूखंड सीबीआई के आरोपपत्र के अनुसार, ठेके के बदले में कोचर ने कथित तौर पर पटना में एक प्रमुख भूखंड लालू प्रसाद के करीबी सहयोगी प्रेम चंद गुप्ता और उनके सहयोगियों द्वारा नियंत्रित एक कंपनी को बेच दिया और बाद में इस कंपनी को यादव के परिवार के सदस्यों ने अपने नियंत्रण में ले लिया और यह मूल्यवान संपत्ति मामूली कीमत पर उन्हें हस्तांतरित कर दी। न्यायाधीश द्वारा आरोप पढ़े जाने के बाद लालू प्रसाद, राबड़ी देवी, तेजस्वी ने निर्दोष होने की दलील दी और मुकदमे का सामना करने की बात कही।