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पंजाब के रोपड़ जिले के चमकौर साहिब के जुझार सिंह ने आबूधाबी में हुए पावर स्लैप प्रतियोगिता में रचा इतिहास

पंजाब  पंजाब के रोपड़ जिले के चमकौर साहिब के जुझार सिंह ने आबूधाबी में हुए पावर स्लैप प्रतियोगिता में इतिहास रच दिया। 24 अक्टूबर को आयोजित इस मुकाबले में जुझार ने अपने रशियन प्रतिद्वंदी एंटली ग्लुशका को तीसरे राउंड में एक जोरदार थप्पड़ में हिला कर भारत का नाम रोशन किया। जुझार ने अपनी जीत का वीडियो अपने फेसबुक पेज पर साझा किया, जिसमें वह जीत का जश्न मनाते हुए नजर आए। वीडियो में जुझार ने भंगड़ा करते हुए कहा, “I am winner।” प्रतियोगिता के पहले राउंड में जुझार को 9 और ग्लुशका को 10 अंक मिले। दूसरे राउंड में ग्लुशका के थप्पड़ से जुझार की आंख में चोट लगी, लेकिन जुझार ने हार नहीं मानी और तीसरे राउंड में प्रतिद्वंदी को पूरी तरह हिला दिया। अंतिम स्कोर में जुझार ने 29 और ग्लुशका ने 27 अंक हासिल किए। चोट लगने के बावजूद जुझार ने हिम्मत दिखाई और अपने कोच के सलाह पर आंख पर मरहम लगवाया। उन्होंने अपनी मूंछों को ताव देते हुए कहा, “दसदा मैं तैनूं,” और पूरे जोश के साथ मुकाबला जारी रखा। जीत के बाद जुझार ने स्टेज पर भंगड़ा किया और सिद्धू मूसेवाला स्टाइल में पट्ट पर थापी मारी। जुझार की यह जीत भारतीय पावर स्लैप खेल के लिए गर्व का पल साबित हुई है।

कीमतों की परवाह नहीं, आस्था की उड़ान जारी: बिहार जा रही हर फ्लाइट भरी

नई दिल्ली सूर्य उपासना के महापर्व छठ पर बिहार जाने वाली सारी फ्लाइट फुल हो गई हैं। 50 से 60% महंगे किराए के बावजूद हजारों प्रवासियों ने आस्था को प्राथमिकता दी है। ट्रेनों में वेटिंग लिस्ट भी खत्म हो गई है जबकि बस संचालक छठ पर बिहार जाने वालों की भारी भीड़ देखते हुए मनमाना किराया वसूल रहे हैं। ट्रैवल पोर्टल्स और एयरलाइंस के आंकड़ों के अनुसार, सामान्य दिनों में जहां दिल्ली-पटना का एक ओर का किराया 4,000 से 6,000 रुपये के बीच रहता है, वहीं 25 से 27 अक्तूबर के लिए यह 8,000 से 10,000 रुपये तक पहुंच गया है। दिल्ली-दरभंगा रूट पर किराया 13,000 रुपये और दिल्ली-गया पर 12,000 रुपये के आसपास है। लास्ट-मिनट की बुकिंग की कीमतें और भी ज्यादा हैं। छठ महापर्व पर दिल्ली, मुंबई, कोलकाता और अन्य महानगरों में रहने वाले लाखों बिहारी प्रवासी त्योहार मनाने के लिए गांव लौटते हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि त्योहारों के मौसम में मांग, आपूर्ति के असंतुलन से एयरलाइंस डायनामिक प्राइसिंग मॉडल अपनाती हैं, जिससे किराये में अचानक उछाल आता है। इंडिगो, स्पाइसजेट और एयर इंडिया जैसी प्रमुख एयरलाइंस ने इन रूट्स पर अतिरिक्त फ्लाइट्स जोड़ी हैं। सीटें बढ़ने के बावजूद किराया कम नहीं हुआ है। पिछले सप्ताह से बुकिंग्स में 200 फीसदी की बढ़ोतरी निजी ट्रैवल पोर्टल्स के डेटा से पता चलता है कि पिछले हफ्ते बुकिंग्स में 200% फीकी बढ़ोतरी हुई है। मूल रूप से पटना निवासी दिल्ली में नौकरीपेशा राजेश कुमार ने बताया कि पिछले साल 5,500 रुपये में टिकट मिल गया था, लेकिन इस बार 9,800 रुपये देने पड़े। परिवार के साथ जाना है, मजबूरी है। दिल्ली से बिहार बस किराये में भी उछाल : सामान्य दिनों में किराया 1,000 से 2,000 रुपये के बीच रहता है लेकिन छठ पर यह बढ़कर 1,500 से 4,000 रुपये हो गया है।  दिल्ली-दरभंगा रूट पर नॉन-एसी बसों का किराया 1,000-1,500 रुपये होता है, लेकिन त्योहारी भीड़ में यह 2,599-4,999 रुपये तक पहुंच गया है। सरकार किराया कैपिंग पर विचार करे ट्रैवल एजेंट्स एसोसिएशन ने  मांग की कि सरकार किराया कैपिंग पर विचार करे। रेलवे ने स्पेशल ट्रेनें चलाई हैं, लेकिन पटना की ट्रेनें पहले से पैक हैं और वेटिंग लिस्ट हजारों में है। यह समस्या दशहरा, दीपावली और छठ जैसे त्योहारों में पूर्वी भारत के रूट्स पर हर साल यही हाल होता है। विशेषज्ञ सलाह देते हैं कि यात्रियों को कम से कम कई महीने पहले बुकिंग करनी चाहिए। वैकल्पिक रूप से, लखनऊ या वाराणसी से कनेक्टिंग फ्लाइट्स या बस सेवाएं सस्ती पड़ सकती हैं। लेकिन लास्ट-मिनट प्लान करने वालों के लिए यह बोझिल साबित हो रहा है।

मान सरकार ने किया वादा, गुरु साहब का मानवता के लिए बलिदान जन-जन तक पहुंचेगा – केजरीवाल

चंडीगढ़  पंजाब की आम आदमी पार्टी की सरकार ने शनिवार को श्री गुरु तेग बहादुर साहिब जी के 350वें शहीदी दिवस के अवसर पर दिल्ली से गुरुद्वारा श्री रकाबगंज साहिब में भव्य कीर्तन दरबार का आयोजन किया. इस पावन कीर्तन दरबार में आप के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल और पंजाब से मुख्यमंत्री भगवंत मान समेत पंजाब सरकार के मंत्री समेत अन्य गणमान्य लोगों ने हिस्सा लिया. अरविंद केजरीवाल ने कहा कि श्री गुरु तेग बहादुर जी का बलिदान सदियों तक हमें सत्य, धर्म और मानवता की रक्षा के लिए प्रेरित करता रहेगा. अरविंद केजरीवाल ने यह भी कहा कि पूरी मानवता के इतिहास में श्री गुरु तेग बहादुर जी की शहादत की कोई मिसाल नहीं है. उन्हें हिंद दी चादर भी कहा जाता है. उनके पास कश्मीरी पंडित आए और उन्होंने बताया कि उस वक्त के मुगल शासक किस तरह से उन कश्मीरी पंडितों के धर्म के ऊपर वार और आक्रमण कर रहे थे. उन कश्मीरी पंडितों को बचाने के लिए गुरु जी महाराज ने अपना सब कुछ न्योछावर कर दिया और उन्होंने अपना सर्वोच्च बलिदान दिया. 25 अक्टूबर से शुरू होकर 25 नवंबर तक इस दौरान पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने कहा कि आज ऐतिहासिक गुरुद्वारा साहब रकाबगंज में गुरु तेग बहादुर जी के 350वें शहीदी पर्व के उपलक्ष्य में मुख्य समागम शुरू हुआ है. 25 अक्टूबर से शुरू होकर 25 नवंबर तक पूरे महीने पंजाब सरकार उन सभी स्थानों पर जाएगी, जहां गुरु साहब के चरण पड़े थे. इस दौरान महान कीर्तन जत्थे इलाही कीर्तन करेंगे, स्कूलों में गुरु साहब की शहादत के बारे में पढ़ाया जाएगा और सिलेबस में शामिल किया जाएगा. जिन गांवों में गुरु साहब के चरण पड़े, उन गांवों से पहले ही संपर्क किया जा चुका है और उनके विकास के लिए बजट जारी हो चुका है. भगवंत मान ने कहा कि दिल्ली में संगत की अनुमति से यह समागम हो रहा है, क्योंकि यहीं पर गुरु साहब को लखी शाह बंजारा ने अपने घर में शरण दी थी. फिर भाई जैता जी ने तूफानी रात में गुरु साहब का शीश लेकर आनंदपुर साहब पहुंचाया. भाई मती दास, भाई सती दास और भाई दयाला जी को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए भगवंत मान ने कहा कि गुरु तेग बहादुर जी की शहादत सिखों के लिए ही नहीं, बल्कि मानवता और मानव अधिकारों के लिए थी. ऐसी मिसाल कहीं नहीं मिलती. पंजाब सरकार पूरे महीने समागम कराएगी भगवंत मान ने बताया कि पंजाब सरकार पूरे महीने श्रीनगर, फरीदकोट, फिरोजपुर, भटिंडा और अन्य स्थानों पर, जहां गुरु साहब के चरण पड़े, समागम आयोजित करेगी. 25 नवंबर को गुरु साहब द्वारा बसाई गई गुरु की नगरी आनंदपुर साहब में भव्य समागम होगा. वहां कीर्तन होगा और बाबा बलवीर सिंह जी जैसे महान संत मौजूद रहेंगे. आनंदपुर साहब में एक भव्य संग्रहालय तैयार किया गया है, जहां गुरु साहब का शीश लेकर भाई जैता जी द्वारा की गई यात्रा और गुरु गोविंद सिंह जी को शीश भेंट करने की घटना को दर्शाया जाएगा. भगवंत मान ने कहा कि सिख धर्म दुनिया का सबसे नया और जीवंत धर्म है, जिसका दर्शन दूसरों को देना और सबके लिए रास्ता बनाना है. निशान साहिब की यात्रा में पैदल चलने वाले यात्री लंगर और रहने की जगह पाते हैं. सिख धर्म में कोई भेदभाव नहीं; परमात्मा ने सभी को एक समान बनाया है. उन्होंने संगत और अरविंद केजरीवाल के समागम में शामिल होने के लिए धन्यवाद दिया. उन्होंने कहा कि 25 नवंबर के बाद फिर चांदनी चौक में समागम होगा, जहां गुरु साहब की शहादत हुई थी. भगवंत मान ने कहा कि गुरु साहब के स्थानों पर सड़कें बनाने और बुनियादी ढांचे के लिए बजट आवंटित किया गया है. 350वें शहीदी दिवस के लिए अलग से बजट रखा गया है और आनंदपुर साहब में एक टेंट सिटी बनाई जा रही है. देश के सभी मुख्यमंत्रियों को निमंत्रण भेजा गया है और सोमवार को राष्ट्रपति जी से मिलने का समय लिया गया है.   पूरी दुनिया में सिख संगत ने नाम कमाया भगवंत मान ने कहा कि पूरी दुनिया में सिख संगत ने मेहनत और परमात्मा की कृपा से नाम कमाया है. उन्होंने गुरु गोविंद सिंह जी के 10वें लेख का जिक्र करते हुए कहा कि गुरु तेग बहादुर जी का त्याग और बलिदान अद्वितीय है. भाई मती दास जी को चरखी पर चढ़ाया गया, भाई सती दास को उबाला गया, लेकिन गुरु साहब ने परमात्मा के प्रति प्रेम और मानवता के लिए बलिदान दिया. औरंगजेब की कब्र पर कोई दीया जलाने नहीं जाता, लेकिन आनंदपुर साहब में गुरु की नगरी में श्रद्धालुओं की लाइन कभी नहीं टूटती. यह अंतर है. भगवंत मान ने कहा कि इस पवित्र स्थान पर कीर्तन सुनकर और दर्शन करके आत्मा को सुकून और शांति मिलती है. सड़क पर बैठे कानून के साये में भी यह श्रद्धांजलि दी जा रही है. पहली बार संसद में भी गुरु साहब को श्रद्धांजलि दी गई. उनकी कुर्बानी निजी स्वार्थ के लिए नहीं, बल्कि मानवता और मनुष्यता के लिए थी. उन्होंने संगत से अपील की कि वे दिल्ली से आनंदपुर साहब जरूर जाएं, दर्शन करें और गुरु साहब के दिखाए रास्ते पर चलें. सामाजिक बुराइयों और झगड़ों को छोड़कर परमात्मा की शक्ति और सेवा में लगें.

पंचायत प्रतिनिधियों के लिए खुशखबरी! तेजस्वी ने किए ये बड़े वादे

पटना आगामी चुनाव को देखते हुए तेजस्वी यादव लगातार घोषणाएं कर रहे हैं। माई-बहिन मान योजना, हर घर नौकरी, जीविका और संविदाकर्मियों को राज्यकर्मी का दर्जा देने के बाद अब तेजस्वी यादव ने छोटे कामगारों के लिए बड़ा एलान किया है। उन्होंने रविवार सुबह पोलो रोड स्थित आवास पर प्रेस वार्ता की। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि हमलोग सबलोग आज कुछ घोषणाएं करने आए हैं। तेजस्वी ने किसी का नुकसान नहीं किया। तेजस्वी से किसी को कोई शिकायत भी नहीं है। जनता ने एनडीए को 20 साल दिया। हमलोग महज 20 महीने का वक्त मांगते हैं। मुझे बिहार की जनता पर पूरा भरोसा है कि इस बार बदलाव भी होगा और महगठबंधन के नेतृत्व में नई सरकार भी बनेगी। आज का दिन बहुत महत्वपूर्ण है। पंचायत और ग्राम कचहरी प्रतिनिधियों के लिए यह घोषणा तेजस्वी यादव ने कहा कि महागठबंधन की सरकार बनते ही त्रिस्तरीय पंचायत प्रतिनिधियों और ग्राम कचहरी प्रतिनिधियों का मानदेय भत्ता दोगुना होगा। पंचायत और ग्राम कचहरी प्रतिनिधियों को पेंशन देने की शुरुआत की जाएगी। अन्य राज्यों में यह प्रावधान है। इसलिए अब बिहार में भी किया जाएगा। पंचायत और ग्राम कचहरी प्रतिनिधियों का 50 लाख का बीमा करवाया जाएगा। जन वितरण प्रणाली के वितरकों के मानदेय को दिया जाएगा और  प्रति क्विंटल मिलने वाली मार्जिन मनी को बढ़ाया जाएगा। अनुकंपा में लागू 58 साल की बाध्यता को लागू करेंगे। साथ ही नाई, बढ़ई, कुम्हार और लोहार समेत मेहनती वर्गों के उत्थान के लिए उन्हें पांच लाख रुपये एकमुश्त की आर्थिक सहायता दी जाएगा। ताकि इससे वह अपना स्वरोजगार शुरू कर सकें।   बिहार की जनता बदलाव के लिए बेसब्र है तेजस्वी यादव ने कहा कि बिहार की जनता बदलाव के लिए बेसब्र है। कहीं भी हमलोग जा रहे हैं तो हर जाति, धर्म के लिए भारी संख्या में आ रहे हैं। वह कहते हैं कि वह मौजूदा सरकार से परेशान हैं। लोग बिहार सरकार को बदलना चाहते हैं। 20 साल पुरानी विजनलेस पुरानी खटारा सरकार में अपराध और भ्रष्टाचार चरम है। अब तो गृह अमित शाह ने मना ही नहीं कर दिया कि बिहार में कहीं भी कारखाना नहीं लग सकता है क्यों कि यहां भूमि की कमी है। तेजस्वी यादव ने कहा कि पीएम मोदी ने गुजरात में कई कारखाना लगवाए। सबकुछ गुजरात में ही दे दिया। बिहार को केवल अंगूठा दिखाने का काम किया है। लोग अब भारतीय जनता पार्टी के चाल और चरित्र को समझ चुके हैं। बिहारवासी अब इस भ्रष्ट सरकार को बदलने के लिए बेसब्र है। बिहार की जनता बदलाव करेगी।

मन की बात कार्यक्रम-विविधता से भरे भारत का प्रस्तुत करती है लघु रूप

कोटरा स्थित कमला नेहरु उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में आयोजित कार्यक्रम में नागरिकों को दिलाई स्वदेशी की शपथ भोपाल  प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के मन की बात के प्रसारण का मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कोटरा सुल्तानाबाद स्थित कमला नेहरु उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में स्थानीय निवासियों के साथ श्रवण किया। साथ ही कार्यक्रम में उपस्थित जन समुदाय को स्वदेशी की शपथ दिलाई। मन की बात कार्यक्रम के प्रसारण के बाद अपने संबोधन में मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री मोदी ने अपने कार्यों और नवाचारों के आधार पर देश में सकारात्मक ऊर्जा का संचार किया है। मन की बात कार्यक्रम भारत का लघु रूप प्रस्तुत करती है। विविधता से भरे देश के विभिन्न राज्यों में क्या नया हो रहा है, यह इस कार्यक्रम से संक्षेप में ज्ञात होता है। राज्यों के कई नवाचार अनुकरणीय और प्रेरक होते हैं। इस संदर्भ में मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने आज के मन की बात कार्यक्रम के 127वें एपिसोड में प्रधानमंत्री श्री मोदी द्वारा संस्कृत भाषा के प्रति युवाओं की बढ़ती रूचि का विशेष रूप से उल्लेख किया। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा है कि प्रधानमंत्री श्री मोदी की पहल पर गुजरात में केवड़िया धाम पर्यटन के सुंदर और आकर्षण केंद्र के रूप में विकसित हुआ है। सरदार वल्लभ भाई पटेल की 150वीं जयंती पर कई कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। राज्य सरकार का दल भी इन कार्यक्रमों में सहभागिता करेगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने छठ पूजा की बधाई देते हुए कहा कि यह पर्व भारतीय परिवार परम्परा की सशक्त अभिव्यक्ति है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि मध्यप्रदेश स्थापना दिवस पर होने वाले कार्यक्रमों में सम्राट विक्रमादित्य पर केंद्रित महानाट्य की प्रस्तुति भी होगी। कार्यक्रम पूर्ण भव्यता के साथ 5 मंचों पर किया जाएगा। यह भोपाल में उस युग को पुनः जीवंत करने का प्रयास है। सम्राट विक्रमादित्य के जन्म से लेकर उनके राज्यारोहण तक की सभी गाथाओं को एक सूत्र में पिरोया गया है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने उपस्थित जनसमुदाय से स्थापना दिवस के कार्यक्रमों में उत्साह के साथ सहभागिता करने का आहवान किया। प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि 'मन की बात' कार्यक्रम में देश राष्ट्रगीत वंदे मातरम की रचना के 150 में वर्ष में प्रवेश कर रहा है। इस अवसर पर देशभर में वृहद स्तर पर राष्ट्रभक्ति से प्रेरित आयोजन किए जाएंगे। उन्होंने 15 नवंबर को भगवान बिरसा मुंडा की जयंती का उल्लेख करते हुए कहा कि इसे जनजाति गौरव दिवस के रूप में मनाया जाएगा। उन्होंने युवाओं से भारतीय जनजाति गौरव के प्रतीक रहे महापुरुषों के जीवन पर आधारित साहित्य और पुस्तकों का अध्ययन कर उनके संघर्षों को जानने समझने का आहवान किया। प्रधानमंत्री श्री मोदी ने भारत में संस्कृत को प्रोत्साहित करने वाले अनेक सोशल मीडिया इनफ्लुएंसर का उल्लेख करते हुए उनके कार्यों की सराहना की। उन्होंने कहा कि भाषा किसी भी परंपरा के मूल्यों की वाहक होती है और संस्कृत ने यह कार्य वर्षों तक बखूबी किया है। प्रधानमंत्री श्री मोदी ने बताया कि भारतीय नस्ल के श्वानों को भारतीय सुरक्षा एंजेसियों की गतिविधियों में शामिल किया जा रहा है। प्रधानमंत्री श्री मोदी ने विश्व में लोकप्रिय हो रही भारतीय कॉफी की भी चर्चा की।  

महतारी अपमान मामला: बघेल- जोगी ने की निंदा, CM साय बोले— दोषियों पर सख्त कार्रवाई होगी

रायपुर छत्तीसगढ़ महतारी की प्रतिमा तोड़े जाने पर राजधानी में बवाल मच गया है। मूर्ति तोड़ने वालों के खिलाफ कार्रवाई की मांग को लेकर छत्तीसगढ़िया क्रांति सेना ने वीआईपी चौक पर विरोध-प्रदर्शन किया। वहीं पक्ष और विपक्ष के तमाम नेताओं ने घटना की कड़ी निंदा की है। सरकार ने भी स्पष्ट कर दिया है कि दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा। लेकिन इस घटना को लेकर सियासी वार और पलटवार भी जारी है। छत्तीसगढ़ी अस्मिता पर सीधा हमला है – अमित जोगी जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ (जे) के अध्यक्ष अमित जोगी ने कहा कि आज का दिन हमारे लिए बेहद दुखद और शर्मिंदा करने वाला है। राजधानी रायपुर के तेलीबांधा जैसे विशिष्ट चौक पर स्थित छत्तीसगढ़ महतारी की मूर्ति को कुछ असामाजिक तत्वों ने खंडित कर दिया है। यह देखकर हृदय रो पड़ता है कि जिस “महतारी” के नाम पर सरकारें सत्ता में आती हैं और योजनाएं बनाती हैं, उसी महतारी की प्रतिमा की सुरक्षा तक नहीं कर पा रही हैं। यह केवल एक मूर्ति का टूटना नहीं, बल्कि हमारी सामूहिक आस्था और छत्तीसगढ़ी अस्मिता पर सीधा हमला है। छत्तीसगढ़ महतारी की प्रतिमा को तोड़ना जनता का अपमान – भूपेश बघेल पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि छत्तीसगढ़ की स्थापना की रजत जयंती पर छत्तीसगढ़ महतारी की मूर्ति तोड़ दी गई। राजधानी रायपुर के VIP रोड स्थित छत्तीसगढ़ महतारी की प्रतिमा को तोड़ा जाना जनता का अपमान है। हर एक छत्तीसगढ़िया बेहद ग़ुस्से में है. यह पूरी तरह अस्वीकार्य है। कहीं यह शासन-प्रशासन के कार्यक्रमों से छत्तीसगढ़ महतारी की तस्वीरों को हटाने वाली भाजपा सरकार की करतूत तो नहीं? भाजपा समझ ले कि अगर जनआक्रोश को अनदेखा किया, तो अच्छा नहीं होगा। घटना अत्यंत दुखद और निंदनीय – कांग्रेस कांग्रेस ने घटना की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ महतारी की मूर्ति तोड़े जाने की घटना अत्यंत दुखद और निंदनीय है। यह कृत्य छत्तीसगढ़ की अस्मिता, संस्कृति और हमारी मातृभूमि के सम्मान पर सीधा प्रहार है। कांग्रेस पार्टी इसकी कड़ी निंदा करती है और मांग करती है कि दोषियों पर तत्काल कठोर कार्रवाई की जाए, साथ ही उसी स्थान पर नई छत्तीसगढ़ महतारी की मूर्ति तुरंत स्थापित की जाए। भाजपा सरकार के शासन में लगातार छत्तीसगढ़ की संस्कृति, परंपरा, तीज-त्योहार और पहचान को मिटाने की कोशिशें की जा रही हैं। महतारी के प्रतीक पर हुआ यह वार, पूरे प्रदेश की भावनाओं को आहत करने वाला है। गृह मंत्री विजय शर्मा का बयान गृह मंत्री विजय शर्मा ने कहा कि यह एक चिंतन का विषय है और पुलिस जांच कर रही है। उन्होंने इस मामले में कांग्रेस के बयान पर पलटवार करते हुए कहा कि इटली वालों का क्या लेना-देना भारत से। पहले अपने आप को देख लें, फिर बात करें। आरोपियों को बख्शा नहीं जाएगा – मुख्यमंत्री साय इस घटना पर मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने कड़ी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि यह अत्यंत निंदनीय कृत्य है। आरोपियों को किसी भी सूरत में बख्शा नहीं जाएगा।

रूपाली गांगुली से डेविड धवन तक कई हस्तियों ने सतीश शाह को दी अंतिम विदाई

मुंबई, दिवंगत अभिनेता सतीश शाह का अंतिम संस्कार रविवार को मुंबई के विले पार्ले पश्चिम स्थित पवन हंस श्मशान घाट पर हुआ। इस दौरान बॉलीवुड सेलेब्स और उनके दोस्त सतीश शाह को श्रद्धांजलि देने के लिए अंतिम संस्कार में शामिल हुए। ‘साराभाई वर्सेस साराभाई’ के उनके सह-कलाकार रूपाली गांगुली, सुमित राघवन, राजेश कुमार, रत्ना पाठक शाह, नसीरुद्दीन शाह, पंकज कपूर, सुप्रिया पाठक और अभिनेता दीपक पाराशर भी पहुंचे। उनके बाद नील नितिन मुकेश, अवतार गिल, रूमी जाफरी, अनंत नाग और डेविड धवन जैसे अन्य लोग श्मशान घाट पर मौजूद रहे। बॉलीवुड स्टार जैकी श्रॉफ भी उन्हें श्रद्धांजलि देने पहुंचे। उनके साथ जॉनी लीवर और निर्माता अशोक पंडित को भी उनकी अंतिम यात्रा में शामिल होते हुए देखा गया। सतीश शाह के शव को एक एंबुलेंस के जरिए शमशान घाट तक पहुंचाया गया। उसके पीछे लोगों का हुजूम उमड़ पड़ा, सभी उन्हें नम आंखों से श्रद्धांजलि देने पहुंचे थे। शनिवार को मुंबई में 74 साल की उम्र में अभिनेता का निधन हो गया। फिल्म निर्माता अशोक पंडित ने सोशल मीडिया पर यह जानकारी दी थी। उन्होंने बताया था कि सतीश शाह को शिवाजी पार्क स्थित हिंदुजा अस्पताल ले जाया गया था, जहां उनकी मौत हो गई। सतीश शाह के निधन की जानकारी देते हुए पीडी हिंदुजा अस्पताल एवं चिकित्सा अनुसंधान केंद्र ने मीडिया को एक आधिकारिक बयान जारी किया है। इसके मुताबिक मशहूर अभिनेता सतीश शाह के निधन से हमें गहरा दुख हुआ है। आज (शनिवार) सुबह अस्पताल को शाह के स्वास्थ्य के बारे में एक इमरजेंसी कॉल आया। मेडिकल टीम के साथ एक एम्बुलेंस तुरंत उनके आवास पर भेजी गई, जहां उन्हें बेहोश पाया गया। एम्बुलेंस में उन्हें सीपीआर देना शुरू किया गया, जो पीडी हिंदुजा अस्पताल एवं चिकित्सा अनुसंधान केंद्र पहुंचने तक जारी रहा। हमारी मेडिकल टीम के सर्वोत्तम प्रयासों के बावजूद सतीश शाह को बचाया नहीं जा सका। सतीश शाह भारतीय सिनेमा और टेलीविजन के लोकप्रिय कैरेक्टर आर्टिस्ट थे, जो अपनी बेजोड़ कॉमिक टाइमिंग और अभूतपूर्व अभिनय प्रतिभा के लिए जाने जाते थे।  

रेलवे स्टेशन का नाम बदला: औरंगाबाद अब छत्रपति संभाजीनगर

मुंबई दक्षिण मध्य रेलवे ने एक ऐतिहासिक घोषणा करते हुए ‘औरंगाबाद रेलवे स्टेशन’ का नाम बदलकर ‘छत्रपति संभाजीनगर रेलवे स्टेशन’ कर दिया है। रेलवे ने बताया कि यह नाम परिवर्तन औपचारिक रूप से लागू कर दिया गया है और स्टेशन के सभी साइनबोर्ड, टिकट, घोषणाएं और डिजिटल सिस्टम में नया नाम अपडेट किया जा रहा है। आधिकारिक नोटिस में लिखा है कि प्राधिकृत अधिकारी द्वारा "औरंगाबाद" रेलवे स्टेशन नांदेड मंडल, दक्षिण मध्य रेलवे का नाम बदलकर "छत्रपति संभाजीनगर" रेलवे स्टेशन करने की स्वीकृति प्रदान की गई है। इस स्टेशन का नया स्टेशन कोड "CPSN” होगा। सभी जरूरी प्रशासनिक प्रक्रियाएं पूरी रेलवे के मुताबिक, यह फैसला महाराष्ट्र सरकार की अनुशंसा और गृह मंत्रालय की स्वीकृति के बाद लिया गया। स्टेशन का नया नाम छत्रपति संभाजीनगर मराठा योद्धा छत्रपति संभाजी महाराज की वीरता और ऐतिहासिक योगदान को सम्मान देने के उद्देश्य से रखा गया है। रेलवे अधिकारियों ने बताया कि इस बदलाव के बाद यात्रियों को स्टेशन से जुड़ी सभी सूचनाएं और टिकटें नए नाम से जारी होंगी। एक अधिकारी ने कहा रेलवे ने सभी जरूरी प्रशासनिक प्रक्रियाएं पूरी कर ली हैं। अब सभी प्लेटफॉर्म और ट्रेनों की घोषणाओं में स्टेशन का नाम ‘छत्रपति संभाजीनगर’ सुनाई देगा। इससे पहले, केंद्र सरकार ने 2022 में औरंगाबाद शहर का नाम भी छत्रपति संभाजीनगर करने की मंजूरी दी थी। अब रेलवे स्टेशन के नाम परिवर्तन के साथ यह प्रक्रिया पूरी हो गई है। 15 अक्तूबर को जारी हुआ था गजट नोटिफिकेशन गौरतलब है कि भाजता नेता और मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के नेतृत्व वाली महायुति सरकार ने  विगत 15 अक्तूबर को इसका नाम बदलने का गजट नोटिफिकेशन जारी किया था। तीन साल पहले तत्कालीन सरकार ने औरंगाबाद शहर का नाम छत्रपति संभाजीनगर किया था। ये फैसला छत्रपति शिवाजी महाराज के पुत्र और मराठा राज्य के दूसरे शासक छत्रपति संभाजी के सम्मान में लिया गया। औरंगाबाद का नाम पहले मुगल सम्राट औरंगजेब के नाम पर रखा गया था। इतिहासकारों के मुताबिक औरंगाबाद रेलवे स्टेशन 1900 में हैदराबाद के सातवें निजाम मीर उस्मान अली खान के शासनकाल में खोला गया था। छत्रपति संभाजीनगर एक पर्यटन केंद्र है और अजंता और एलोरा की गुफाओं सहित कई ऐतिहासिक स्मारकों से घिरा हुआ है, जिन्हें संयुक्त राष्ट्र की इकाई- यूनेस्को ने विश्व धरोहर स्थल का दर्जा दिया है।

उज्जैन शहर में मेट्रो का नया चेहरा: 5 किमी भूमिगत मार्ग का प्लान जल्द होगा सार्वजनिक

इंदौर इंदौर से उज्जैन के बीच मेट्रो चलाने पहले डिटेल प्रोजेक्ट रिपोर्ट तैयार हो गई है। इसे तैयार करने वाली दिल्ली मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन (डीएमआरसी) नवंबर के पहले सप्ताह में मेट्रो के अधिकारियों की समक्ष पेश करेगी। इसके बाद यह डीपीआर मंजूरी के लिए राज्य शासन को भेजी जाएगी। गौरतलब है कि पूर्व में प्रस्तावित मेट्रो प्रोजेक्ट के तहत इंदौर के लवकुश चौराहे तक 47 किलोमीटर हिस्से में ओवरहेड मेट्रो तैयार करने की योजना थी। इसकी प्रारंभिक रिपोर्ट तीन माह पहले तैयार हुई थी। सीएम के सुझाव पर मेट्रो के इस प्रोजेक्ट में कुछ फेरबदल किए है। इसके बाद डीएमआरसी अब डीपीआर प्रस्तुत करेगी। जानकारों के मुताबिक सीएम के सुझाव पर उज्जैन के अंदर पांच किलोमीटर का अतिरिक्त हिस्सा प्रोजेक्ट में बढ़ाया गया है। इसमें उज्जैन के इंजीनियरिंग कॉलेज से मेट्रो को अंडर ग्राउंड होगी और यह उज्जैन रेलवे स्टेशन के नीचे होते हुए आगर रोड पर एक किलोमीटर हिस्से में ओवरहेड हो जाएगी।   1500 करोड़ रुपये बढ़ेगी लागत पूर्व में प्रस्तावित इंदौर के लवकुश चौराहे से महाकाल मंदिर में 47 किलोमीटर के हिस्से के निर्माण पर 10 हजार करोड़ रुपये खर्च का आंकलन किया गया था। अब उज्जैन में पांच किलोमीटर का अंडर ग्राउंड का हिस्से बढ़ने पर 1500 करोड़ रुपये अतिरिक्त खर्च करना होंगे। अगले तीन माह में तैयार होगी इंदौर – पीथमपुर मेट्रो की डीपीआर इंदौर से पीथमपुर के बीच करीब 40 किलोमीटर में भी मेट्रो चलाने की योजना पर राज्य सरकार की मुहर लग चुकी है। डीएमआरसी इस हिस्से में मेट्रो चलाने के लिए दो माह पहले प्रारंभिक फिजिब्लिटी सर्वे रिपोर्ट तैयार हुई थी। इंदौर-उज्जैन की डीपीआर तैयार करने वाली दिल्ली मेट्रो रेल कार्पोरेशन कंपनी ही इंदौर-पीथमपुर रूट की डीपीआर अगले तीन माह में तैयार करेगी। 30 अक्टूबर को इंदौर मेट्रो के अंडर ग्राउंड हिस्से की उलझन खत्म होने की संभावना इंदौर में गांधी नगर से रेडिसन चौराहे तक दिसंबर माह के अंत मेट्रो चलाने की योजना बनाई जा रही है। बंगाली चौराहे से रीगल चौराहे तक मेट्रो का हिस्सा अंडर ग्राउंड होगा या ओवरहेड, इस पर उलझन बनी हुई है। ऐसे में 30 अक्टूबर को नगरीय प्रशासन मंत्री कैलाश विजयवर्गीय सहित अन्य जनप्रतिनिधि, मुख्य सचिव व मेट्रो के अधिकारी इंदौर में बैठक कर इस हिस्से पर निर्णय लेंगे। ऐसे में इस हिस्से की उलझन जल्द खत्म होने की संभावना है। गौरतलब है कि यदि इस हिस्से को अंडर ग्राउंड किया जाता है तो उस पर एक हजार करोड़ रुपये अतिरिक्त खर्च आ रहा है। इस राशि को राज्य शासन को वहन करना होगा। यदि राज्य शासन इसके लिए तैयार होता है तो ही मेट्रो का यह हिस्सा अंडर ग्राउंड होगा।

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने गुरु गोविंद सिंह के ज्योति दिवस पर किया नमन

भोपाल   मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने सिख धर्म के दसवें गुरु श्रद्धेय गुरु गोविंद सिंह के ज्योति-ज्योति दिवस पर उनका स्मरण किया। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि गुरु गोविंद सिंह धर्म, साहस और मानवीय मूल्यों के प्रतीक, खालसा पंथ के संस्थापक थे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने प्रदेशवासियों से गुरू गोविंद सिंह के आदर्शों से प्रेरणा लेकर सेवा, एकता और राष्ट्र के प्रति समर्पण के मार्ग पर अग्रसर होने का आह्वान किया है।