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श्याम बिहारी जायसवाल का पलटवार: सीएम साय और भूपेश बघेल के दौरे गिन लें, तब बात करें कांग्रेस वाले

रायपुर राज्यपाल रमेन डेका के जिलों के दौरे पर सवाल उठाए जाने पर स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने कांग्रेस को चुनौती दे डाली. उन्होंने कहा कि राज्यपाल सर्वेसर्वा होते हैं, अच्छा है वे दौरा कर रहे हैं. रहा सवाल मुख्यमंत्री के दौरे का तो कांग्रेस नेता निकाल कर देख लें कि बीते दो सालों में मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने और पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कितना दौरा किया. मुख्यमंत्री कहीं ज्यादा दौरे कर रहे हैं. स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने मीडिया से विभिन्न मुद्दों पर चर्चा की. बिरनपुर मामले में सुनवाई को लेकर कांग्रेस के बयान पर कहा कि कांग्रेस को लोकतांत्रिक संस्थाओं पर भरोसा नहीं है. मामला न्यायालय में हैं, इस पर कांग्रेस कैसे टिप्पणी कर सकती है. न्यायालय जो भी तय करेगा वो मान्य होना चाहिए. वहीं ट्रिपल आईटी में छात्राओं की AI से बनाई गई अश्लील फोटो पर मंत्री ने कहा कि यह घटना दुर्भाग्यजनक है. ऐसी हरकतें न केवल शर्मनाक हैं, बल्कि हतोत्साहित करने वाली भी हैं. कॉलेज प्रबंधन ने आरोपी छात्र को निलंबित किया है. छात्र पर कड़ी कार्रवाई की तैयारी है. मैं इस मामले में शिक्षा मंत्री से बात करूंगा. इस तरह की घटनाओं पर सख्त कार्रवाई जरूरी है. जिसने भी यह दुस्साहस किया, उसे बख्शा नहीं जाएगा. युवा पीढ़ी को सबक देने के लिए कठोर कदम उठाना जरूरी है. धान का एक-एक दाना खरीदने प्रतिबद्ध वहीं कांग्रेस ने 1 नवंबर से धान खरीदी शुरू करने की मांग पर मंत्री जायसवाल ने कहा कि कांग्रेस जब सरकार में थी, जो भी करती थी सब जायज. फसल की स्थिति और मौसम को देखकर ही खरीदी की तारीख तय होगी. अगर 1 नवंबर उपयुक्त हुआ तो उसी दिन से खरीदी, नहीं तो 15 नवंबर से. रिपोर्ट लेकर ही फैसला लिया जाएगा. सरकार अच्छी क्वालिटी का धान खरीदना चाहती है, ताकि भंडारण और रखरखाव बेहतर हो. राज्य सरकार एक-एक दाना खरीदने के लिए प्रतिबद्ध है. सारे चमचे, घोड़े और गधे कांग्रेस में कांग्रेस में जिला अध्यक्ष बनने के लिए जमकर हो रही लॉबिंग पर श्यामबिहारी जायसवाल ने कहा कि कांग्रेस दिशाहीन और व्यक्तिवादी पार्टी है. दो साल हो गया कांग्रेस संगठन चुनाव नहीं करा सकी. अब होटलों में पार्टी चल रही है, लोग लॉबिंग कर रहे हैं. कांग्रेस जब भी चुनाव कराती है, विवाद हो जाता है. सारे चमचे, घोड़े और गधे कांग्रेस में पाए जाते हैं. कांग्रेस के नेता इसकी व्याख्या अच्छे से कर सकते हैं. जहां-जहां भूपेश के पैर पड़े, वहां सूपड़ा साफ वहीं कांग्रेस ने बिहार में विधानसभा चुनाव प्रचार में शामिल नहीं किए जाने पर भाजपा नेताओं को अयोग्य बताए जाने पर मंत्री ने कहा कि जब-जब संतों के पैर पड़ते है, तब वहां उद्धार हो जाता है. जहां-जहां भूपेश बघेल के पांव पड़े, वहां सूपड़ा साफ हो गया. राहुल गांधी ने भी कई जगह पदयात्रा की. जहां-जहां राहुल गांधी गए, वहां से साफ हो गए.

प्रशांत किशोर पर निशाना साधते हुए चिराग पासवान बोले, उनके आरोप तात्कालिक राजनीति में हैं

पटना केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने मंगलवार को कहा कि जन सुराज पार्टी के संस्थापक प्रशांत किशोर की राजनीति की शैली आम आदमी पार्टी के संस्थापक अरविंद केजरीवाल जैसी है। यहां पत्रकारों से बात करते हुए, लोक जनशक्ति (रामविलास) के अध्यक्ष ने याद दिलाया कि केजरीवाल भी किशोर की तरह राजनीति में पैर जमाने की कोशिश में "एक के बाद एक आरोप" लगाते रहे, लेकिन "दिल्ली का मुख्यमंत्री बनने के बाद चुप हो गए"। उन्होंने कहा कि प्रशांत किशोर पिछले कुछ समय से एक के बाद एक आरोप लगा रहे हैं। केवल एक जांच ही बता सकती है कि उनके आरोप तथ्यों पर आधारित हैं या केवल बदनामी हैं। केंद्रीय मंत्री ने कहा, "जो भी हो, मेरा मानना ​​है कि बिहार में जिन लोगों पर आरोप लगे हैं, वे अपना बचाव करने में पूरी तरह सक्षम हैं। उनमें से एक ने तो मानहानि का नोटिस भी दिया है। समय आने पर सच्चाई सामने आ जाएगी।" इशारा जेडी(यू) के राष्ट्रीय महासचिव और मंत्री अशोक चौधरी की ओर था, जिन्होंने हाल ही में किशोर को 200 करोड़ रुपये के बेनामी ज़मीन लेनदेन के आरोप में मानहानि का नोटिस भेजा था।  

छात्रसंघ चुनाव की उठाई मांग, जॉस्लिन नंदिता चौधरी ने महिलाओं को राजनीति में सक्रिय होने की दी अपील

जोधपुर जोधपुर में पहुंचीं दिल्ली विश्वविद्यालय की छात्र नेता जोस्लिन नंदिता चौधरी ने कहा कि महिलाओं को राजनीति में बढ़-चढ़कर हिस्सा लेना चाहिए क्योंकि यह निर्णय लेने की प्रक्रिया का महत्वपूर्ण स्थान है। जॉस्लिन रविवार को जोधपुर पहुंचीं, जहां एयरपोर्ट पर बड़ी संख्या में लोगों ने उनका स्वागत किया। पत्रकारों से बातचीत में उन्होंने कहा कि अभिभावकों को भी चाहिए कि वे बच्चों को सपोर्ट करें, चाहे वे लड़के हों या लड़कियां। उन्होंने अपने चुनावी अनुभव को साझा करते हुए कहा कि उन्हें लोगों का बहुत प्यार और समर्थन मिला, जिससे काफी कुछ सीखने को भी मिला। जॉस्लिन ने कहा, “यह पहली बार हुआ जब राजस्थान से दिल्ली विश्वविद्यालय के चुनाव में टिकट आई। इतनी दूर जाकर चुनाव लड़ने का अनुभव काफी प्रेरणादायक रहा। मैं ऐसे क्षेत्र से आती हूं, जहां वर्षा भी ठीक से नहीं होती, लेकिन वहां के किसान कभी आत्महत्या नहीं करते। यह अपने आप में बड़ी सीख है।” उन्होंने आगे कहा कि राजस्थान में भी छात्र संघ चुनाव होने चाहिए क्योंकि यहां के छात्र-छात्राएं राजनीति में सक्रिय हैं और मध्यम वर्ग से आने वाले छात्र छात्र राजनीति के जरिए आगे बढ़ सकते हैं। जॉस्लिन ने बताया कि सभी नेता उनके प्रेरणा स्रोत हैं और उन्होंने उनसे सीखकर ही आगे बढ़ने का प्रयास किया है। चुनाव के दौरान संसाधनों और अन्य समस्याओं का सामना करना पड़ा, लेकिन उन्होंने उन पर ज्यादा ध्यान नहीं दिया। मारवाड़ के लोगों ने हमेशा सहयोग किया और किसी भी कमी को महसूस नहीं होने दिया। उन्होंने अंत में कहा कि वे हमेशा छात्र हितों के लिए काम करती रहेंगी और मेहनत के साथ आगे बढ़ती रहेंगी।  

ओवैसी का हमला: बराबरी चाहिए थी, मंत्री पद नहीं — बिहार की सियासत में मुस्लिम प्रतिनिधित्व पर उठाए सवाल

पटना ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने गुरुवार को राष्ट्रीय जनता दल (RJD) के अध्यक्ष लालू प्रसाद और उनके पुत्र तेजस्वी यादव  पर आरोप लगाया कि बिहार विधानसभा चुनाव से पहले गठबंधन को लेकर उनकी पार्टी की ओर से किए गए आग्रहों पर उन्होंने कोई जवाब नहीं दिया। उन्होंने कहा कि एआईएमआईएम ने केवल बराबरी का दर्जा मांगा था, मंत्री पद की कोई इच्छा जाहिर नहीं की थी। हमारी केवल यही मांग थी कि हमें बराबरी का दर्जा मिले… हैदराबाद के सांसद ओवैसी किशनगंज जिले में एक रैली को संबोधित कर रहे थे। यह रैली उनके चार दिवसीय ‘‘सीमांचल न्याय यात्रा'' का हिस्सा है। सीमांचल क्षेत्र में अच्छी खासी मुस्लिम आबादी है। ओवैसी ने कहा, ‘‘हमारे बिहार प्रदेश अध्यक्ष अख्तरुल इमान ने लालू प्रसाद और तेजस्वी यादव को तीन पत्र लिखकर ‘इंडिया' गठबंधन में शामिल होने की इच्छा जताई थी। उन्होंने कहा कि हमने केवल छह सीट की मांग की थी, हमें किसी मंत्री पद की चाहत नहीं थी।'' ओवैसी ने कहा, ‘‘हमारी केवल यही मांग थी कि हमें बराबरी का दर्जा मिले, गुलाम की तरह व्यवहार न किया जाए। लेकिन अब तक उनकी ओर से कोई जवाब नहीं आया।'' राजद की ‘‘उपेक्षा'' को दोषी ठहराते हुए ओवैसी ने कहा कि बिहार में मुस्लिम समुदाय के पास अपनी कोई ठोस नेतृत्वकारी ताकत नहीं है। उन्होंने कहा, ‘‘यादव, कुशवाहा, कुर्मी, मांझी, राजपूत और पासवान यानी हर जाति के अपने नेता हैं। लेकिन मुसलमानों का कोई अपना नेता नहीं है।'' उन्होंने सवाल किया, ‘‘जब तेजस्वी मुख्यमंत्री बनने का सपना देख सकते हैं तो सीमांचल का कोई युवा नेता क्यों नहीं बन सकता? ओवैसी ने कहा कि उनकी पार्टी ने यह पहल इसलिए की ताकि उसपर भाजपा की मदद करने के आरोप न लगें। उन्होंने कहा, ‘‘राजद की ओर से सही प्रतिक्रिया नहीं आने से यह साफ हो जाएगा कि वास्तव में भाजपा की मदद कौन कर रहा है।'' एआईएमआईएम ने पिछला विधानसभा चुनाव 20 सीट पर लड़ा था और पांच सीट पर जीत हासिल की थी। हालांकि बाद में पांच में से चार विधायक राजद में शामिल हो गए और केवल अख्तरुल इमान ही पार्टी के साथ बने रहे। सीमांचल क्षेत्र में पूर्णिया, अररिया, किशनगंज और कटिहार जिले आते हैं। इस क्षेत्र में अच्छी खासी मुस्लिम आबादी है। ओवैसी दिन में बाद में अररिया जिले में भी जनसभाओं को संबोधित करेंगे।