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चुनाव से पहले RJD को झटका, विधायक का BJP में शामिल होना मचा रहा हलचल

पटना राष्ट्रीय जनता दल (RJD) विधायक भरत बिंद मंगलवार को अपने सैकड़ों समर्थकों के साथ भारतीय जनता पार्टी में शामिल हो गए।       भाजपा प्रदेश मीडिया सेंटर में आयोजित मिलन समारोह में आज भरत बिंद पार्टी में शामिल हो गये। चर्चित लोकगायिका मैथिली ठाकुर ने भी भाजपा की सदस्यता ग्रहण की। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. दिलीप जायसवाल ने दोनों को पार्टी की सदस्यता ग्रहण कराई और उनका स्वागत किया। इस अवसर पर डॉ. जायसवाल ने कहा कि बिहार के मतदाता फिर से राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग)की सरकार बनाने को तैयार हैं। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व में बिहार विकास कर रहा है। विपक्ष के पास आज कोई मुद्दा नहीं है। विपक्ष विकास को लेकर कोई बात नहीं कर सकता है। भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने कहा, 'विपक्ष आज परेशान है कि राजग सौहार्दपूर्ण तरीके से सीट बंटवारे की घोषणा कर दी और आज से उम्मीदवारों की भी घोषणा शुरू हो गई है। विपक्ष हताशा में है और मीडिया को कुछ शिगूफा देने की कोशिश कर रहा है।' उन्होंने दावा करते हुए कहा कि राजग में शामिल पांचों दल चट्टानी एकता के साथ चुनावी मैदान में चल दिए हैं। डा. जायसवाल ने कहा कि 'हम नीतीश कुमार के नेतृत्व में चुनाव लड़ेंगे और विजयी भी होंगे।"  

सोशल मीडिया निगरानी बढ़ी: चुनाव आयोग ने सियासी विज्ञापनों व प्रत्याशियों के खातों के लिए दिए निर्देश

 नई दिल्ली चुनाव आयोग ने बिहार विधानसभा के आम चुनाव और जम्मू-कश्मीर समेत छह राज्यों की आठ विधानसभा सीटों पर उपचुनाव की तारीखों की घोषणा कर दी है। इसी बीच आयोग ने राजनीतिक दलों और प्रत्याशियों के लिए नए दिशा-निर्देश भी जारी किए हैं। चुनाव आयोग ने 9 अक्टूबर 2025 को आदेश दिए हैं कि सभी राष्ट्रीय और राज्य राजनीतिक दल, साथ ही चुनाव में भाग लेने वाले प्रत्याशी, किसी भी इलेक्ट्रॉनिक मीडिया या सोशल मीडिया पर प्रचार करने से पहले मीडिया सर्टिफिकेशन और मॉनिटरिंग कमेटी (एमसीएमसी) से अपने राजनीतिक विज्ञापनों का पूर्व-सत्यापन कराएं। विज्ञापन और सोशल खातों का पूर्व-सत्यापन चुनाव आयोग के निर्देश के अनुसार, किसी भी राजनीतिक विज्ञापन को इंटरनेट या सोशल मीडिया पर जारी करने से पहले एमसीएमसी की मंजूरी लेना अनिवार्य होगा। बता दें कि, सभी राज्य और जिले में एमसीएमसी बनाई गई है जो विज्ञापनों की जांच करेगी और दिशानिर्देशों के अनुसार पूर्व-सत्यापन करेगी। भ्रामक समाचार पर निगरानी मीडिया सर्टिफिकेशन और मॉनिटरिंग कमेटी संदिग्ध मामलों जैसे 'पेड न्यूज' पर भी कड़ी नजर रखेगी और आवश्यक कार्रवाई करेगी। वहीं चुनाव लड़ने वाले सभी प्रत्याशियों को अपने सत्यापित सोशल मीडिया अकाउंट्स की जानकारी नामांकन दाखिल करते समय चुनाव आयोग को देना होगा। चुनावी खर्च का विवरण भी साझा करना अनिवार्य इसके साथ ही चुनावी खर्च का विवरण भी साझा किया जाना अनिवार्य कर दिया गया है। जनप्रतिनिधित्व अधिनियम, 1951 की धारा 77(1) और सुप्रीम कोर्ट के निर्देशों के अनुसार, राजनीतिक दलों को सोशल मीडिया और इंटरनेट प्रचार पर हुए खर्च का विवरण चुनाव आयोग को विधानसभा चुनाव समाप्त होने के 75 दिनों के अंदर देना होगा। इसमें इंटरनेट कंपनियों को भुगतान, विज्ञापन सामग्री तैयार करने का खर्च और सोशल मीडिया अकाउंट के संचालन का खर्च शामिल होगा। कुल मिलाकर चुनाव आयोग का यह कदम डिजिटल प्रचार और सोशल मीडिया में पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए उठाया गया है। आयोग का उद्देश्य है कि राजनीतिक प्रचार ईमानदारी और नियमों के अनुरूप हो।

मांझी की पार्टी और HAM के बीच सीट बंटवारे पर फैसला, उम्मीदवारों की घोषणा जल्द

पटना बिहार विधानसभा चुनाव के मद्देनडर एनडीए में सीट शेयरिंग पर जारी खींचतान के बीच बड़ी खबर सामने आ रही है। बताया जा रहा है कि एनडीए (राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन) और उसकी सहयोगी पार्टी हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा (HAM) के बीच सीट बंटवारे को लेकर सहमति बन गई है। इसी बीच जीतनराम मांझी ने बड़ा बयान देते हुए कहा कि मैं अपनी अंतिम सांस तक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ रहूंगा। सूत्रों के मुताबिक, जीतन राम मांझी की पार्टी HAM को 6 विधानसभा सीटें दी जाएंगी। इसके साथ ही भविष्य में एक विधान परिषद (MLC) सीट देने पर भी बातचीत हुई है। मांझी ने स्पष्ट किया कि वे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ पूरी मजबूती से खड़े हैं। उन्होंने X पर पोस्ट कर लिखा, 'अभी मैं पटना निकल रहा हूं..वैसे एक बात बता दूं, मैंने पहले भी कहा था और आज फिर से कह रहा हूं। मैं जीतन राम मांझी अपने अंतिम सांस तक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के साथ रहूंगा।' उन्होंने कहा- 'बिहार में बहार होगी, नीतीश संग मोदी जी की सरकार होगी।' बता दें कि यह फैसला शनिवार को दिल्ली में हुई एनडीए की मैराथन बैठक के बाद आया है, जो लगभग 8 घंटे चली। बैठक में सीट शेयरिंग को लेकर लंबी चर्चा हुई थी। रिपोर्ट्स के अनुसार मांझी भाजपा से नाराज चल रहे थे, लेकिन अब बात बन गई है। HAM सूत्रों के अनुसार, सीटों पर अंतिम सहमति के बाद जीतन राम मांझी पटना के लिए रवाना हो गए हैं और जल्द ही उम्मीदवारों की सूची जारी की जा सकती है।

BJP को चुनावी झटका: मिश्री लाल यादव ने छोड़ी पार्टी, RJD में एंट्री तय

पटना  भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को एक और तगड़ा झटका लगा है। दरअसल, अब दरभंगा की अलीनगर विधानसभा सीट से विधायक मिश्रीलाल यादव ने बीजेपी से इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने आरोप लगाया कि संगठन में दलितों और अन्य पिछड़े समुदायों को उनका हक नहीं मिल रहा है। दरअसल, मिश्री लाल यादव ने शनिवार को पार्टी से इस्तीफा देने की घोषणा की और आरोप लगाया कि संगठन में दलितों और अन्य पिछड़े समुदायों को उनका हक नहीं मिल रहा है। दरभंगा ज़िले की अलीनगर सीट से विधायक यादव ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि वह पार्टी की राज्य इकाई के अध्यक्ष दिलीप जायसवाल को अपना इस्तीफ़ा सौंपेंगे। पार्टी ने तुरंत कोई प्रतिक्रिया नहीं दी, लेकिन सूत्रों ने बताया कि यादव इन अटकलों से नाराज हैं कि इस बार उन्हें टिकट नहीं दिया जाएगा और भाजपा अलीनगर से गायिका मैथिली ठाकुर को मैदान में उतार सकती है। राजद में होंगे शामिल! विकासशील इंसान पार्टी (वीआईपी) के टिकट पर 2020 का चुनाव लड़ने वाले मिश्री लाल यादव ने कहा, "मैंने पहली बार एनडीए के लिए अलीनगर सीट जीती है। पहले, कई अन्य उम्मीदवार, जिनके पास बहुत पैसा और बाहुबल था, ऐसा करने में नाकाम रहे थे।" यादव ने अपनी भविष्य की योजनाओं का खुलासा नहीं किया, लेकिन समझा जाता है कि वह राजद नीत विपक्षी दल इंडिया ब्लॉक के संपर्क में हैं।

मैथिली ठाकुर की राजनीतिक संभावनाएँ: BJP नेता विनोद तावड़े से की मुलाकात

पटना बिहार को लोकप्रिय गायिका मैथिली ठाकुर को लेकर चर्चा है कि वे 2025 का विधानसभा चुनाव लड़ सकती हैं। यह चर्चा इसलिए हो रही है, क्योंकि उन्होंने बीजेपी के नेताओं से मुलाकात की है। इस मुलाकात के दौरान उनके पिता भी साथ में थे। विनोद तावड़े और नित्यानंद राय के साथ जब से उनकी तस्वीर सामने आई है चुनाव लड़ने को लेकर अटकलें लगाई जा रही हैं। दरअसल, विनोद तावड़े ने बीते रविवार को अपने एक्स हैंडल से तस्वीरें शेयर कर लिखा कि वर्ष 1995 में बिहार में लालू राज आने पर जो परिवार बिहार छोड़कर चले गए, उस परिवार की बिटिया सुप्रसिद्ध गायिका मैथिली ठाकुर जी बदलते बिहार की रफ्तार को देखकर फिर से बिहार आना चाहती हैं। आज गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय जी और मैंने उनसे आग्रह किया कि बिहार की जनता के लिए और बिहार के विकास के लिए उनका योगदान बिहार का सामान्य आदमी अपेक्षित करता है और वे उनकी अपेक्षाओं को पूरा करें। बिहार की बिटिया मैथिली ठाकुर जी को अनंत शुभकामनाएं! मैथिली ठाकुर ने क्या कहा? विनोद तावड़े के इस पोस्ट से संकेत मिल रहा है कि मैथिली चुनाव लड़ सकती हैं। मैथिली ठाकुर ने भी एक्स पर पोस्ट किया है। उन्होंने लिखा है, "जो लोग बिहार के लिए बड़े सपने देखते हैं, उनके साथ हर बातचीत मुझे दूर दृष्टि और सेवा की शक्ति की याद दिलाती है। हृदय से सम्मानित और आभारी हूं. श्री नित्यानंद राय जी एवं श्री विनोद श्रीधर तावड़े जी।" कौन हैं मैथिली ठाकुर? मैथिली ठाकुर मधुबनी के बेनीपट्टी की रहने वाली हैं। चुनाव आयोग द्वारा मैथिली ठाकुर को बिहार का 'स्टेट आइकॉन' भी नियुक्त किया गया था। भारतीय शास्त्रीय और लोक संगीत में प्रशिक्षित मैथिली ठाकुर को 2021 के लिए बिहार के लोक संगीत में उनके योगदान के लिए संगीत नाटक अकादमी के उस्ताद बिस्मिल्लाह खान युवा पुरस्कार के लिए चुना गया था। मैथिली ठाकुर अपने दो भाइयों के साथ लोक, हिंदुस्तानी शास्त्रीय संगीत, हारमोनियम और तबला में अपने दादा और पिता द्वारा प्रशिक्षित की गई हैं।  

शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद बोले – बिहार की हर सीट पर होगा गौ भक्त उम्मीदवार

छपरा जगद्गुरु शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती  ने बिहार में सनातनी राजनीति का शंखनाद कर दिया है। गौ मतदाता संकल्प यात्रा के दौरान उन्होंने घोषणा की कि बिहार की सभी विधानसभा क्षेत्रों में गौ भक्तों को चुनाव लड़ाया जाएगा और उनके लिए व्यापक स्तर पर प्रचार भी किया जाएगा। साथ ही सनातनी हिन्दुओं से अपील की गई कि वे गौ माता को राष्ट्र माता घोषित कराने के लिए मतदान करें। छपरा में गौ सेवकों और गौ रक्षकों को संबोधित करते हुए शंकराचार्य ने कहा कि “आप जो कर रहे हैं वही धर्म है और वही अधर्म भी हो सकता है। यदि आपका वोट धर्म हो सकता है, तो अधर्म भी हो सकता है। अगर आपने गौ हत्या समर्थकों को वोट दिया तो वह अधर्म होगा।” उन्होंने उदाहरण देते हुए कहा कि वोट की ताकत से देश में गौ हत्या पर रोक लग सकती है। अपने संबोधन में शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर भी तीखा हमला बोला। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री के लिए आठ हजार करोड़ का विमान खरीदा गया है और यह उनकी चाय बेचने की कमाई से नहीं आया, बल्कि जनता के वोट की ताकत से आया है। “हमारी ही मां (गौ माता) के हत्यारों को सत्ता दिलाकर हम खुद शर्मिंदा हैं।” शंकराचार्य ने कहा कि सनातन धर्म की रक्षा तभी संभव है जब गौ माता का संरक्षण होगा। गौ रक्षा सिर्फ आस्था का विषय नहीं है, बल्कि समाज और संस्कृति की आधारशिला है। मीडिया से बातचीत में उन्होंने कहा कि बिहार की वास्तविक समस्याओं से ध्यान भटकाने के लिए “आई लव मोहम्मद” और “आई लव महादेव” जैसी बयानबाजी कराई जा रही है। इससे जागरूक मतदाताओं का ध्यान भटकाने की कोशिश हो रही है। उन्होंने आरोप लगाया कि जब नरेंद्र मोदी सत्ता में आने से पहले देशभर में गौ हत्या पर रोक की बातें करते थे, तो लोग उनसे उम्मीद करते थे। लेकिन बीते 12 वर्षों में गौ हत्या पर पाबंदी लगाने की दिशा में कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया। शंकराचार्य ने कहा कि प्रधानमंत्री की कथनी और करनी में बड़ा अंतर साफ झलक रहा है।